History Of India 1757 to 1857 AD
भारत का इतिहास: 1757 से 1857 ई.
1757 से 1857 ई. तक का समय भारत के इतिहास में अत्यंत महत्वपूर्ण था। इस कालखंड में भारत ने न केवल राजनीतिक और सामाजिक बदलाव देखे, बल्कि ब्रिटिश शासन की स्थापना और उसके प्रभावों का भी सामना किया। इस अवधि ने भारत के स्वतंत्रता संग्राम की नींव रखी।
1757: प्लासी का युद्ध और ब्रिटिश शासन की शुरुआत
1757 में हुए प्लासी के युद्ध में ईस्ट इंडिया कंपनी ने बंगाल के नवाब सिराजुद्दौला को हराया। यह ब्रिटिश शासन की भारत में शुरुआत का प्रतीक बना। कंपनी ने इस युद्ध के बाद बंगाल के राजस्व पर अधिकार कर लिया और अपनी पकड़ को मजबूत किया।
1764: बक्सर का युद्ध
बक्सर का युद्ध (1764) ईस्ट इंडिया कंपनी और संयुक्त भारतीय सेना (मुगल सम्राट शाह आलम द्वितीय, अवध के नवाब शुजाउद्दौला, और बंगाल के मीर कासिम) के बीच हुआ। इस युद्ध में ब्रिटिश विजय ने उन्हें बिहार, बंगाल और उड़ीसा का दीवानी अधिकार दिया।
स्थायी बंदोबस्त और आर्थिक प्रभाव
1793 में लॉर्ड कॉर्नवालिस ने स्थायी बंदोबस्त प्रणाली लागू की। इसने जमींदारी व्यवस्था को बढ़ावा दिया और किसानों को आर्थिक रूप से कमजोर बना दिया। कर प्रणाली ने किसानों की स्थिति को और खराब कर दिया, जिससे ग्रामीण समाज में असंतोष बढ़ा।
टीपू सुल्तान और मैसूर का संघर्ष
मैसूर के शासक टीपू सुल्तान ने अंग्रेजों का डटकर मुकाबला किया। चार बार हुए एंग्लो-मैसूर युद्धों में टीपू सुल्तान ने भारतीय स्वतंत्रता का प्रतीक बनकर संघर्ष किया, लेकिन 1799 में श्रीरंगपट्टनम की लड़ाई में उनकी हार हुई।
मराठा और ब्रिटिश संघर्ष
मराठा साम्राज्य ने भी अंग्रेजों का विरोध किया। तीन एंग्लो-मराठा युद्ध (1775-1818) के बाद मराठा साम्राज्य ब्रिटिश नियंत्रण में आ गया। यह घटनाक्रम भारत में ब्रिटिश साम्राज्य के विस्तार की बड़ी वजह बना।
डलहौजी की विलय नीति (Doctrine of Lapse)
लॉर्ड डलहौजी ने विलय की नीति लागू की, जिसके तहत बिना उत्तराधिकारी वाले राज्यों को ब्रिटिश साम्राज्य में मिला लिया गया। सतारा, झांसी, और नागपुर जैसे राज्यों को ब्रिटिश शासन में शामिल किया गया। यह नीति भारतीय राजाओं और जनता के असंतोष का कारण बनी।
सामाजिक सुधार और शिक्षा
इस काल में राजा राममोहन राय ने सामाजिक सुधारों के माध्यम से सती प्रथा का उन्मूलन करवाया। 1829 में लॉर्ड विलियम बेंटिंक ने इसे कानूनी रूप से समाप्त कर दिया। 1854 के वुड डिस्पैच के तहत आधुनिक शिक्षा प्रणाली की शुरुआत हुई, जिससे अंग्रेजी शिक्षा का प्रसार हुआ।
1857 का विद्रोह: भारतीय स्वतंत्रता का पहला संग्राम
1857 का विद्रोह इस काल का सबसे महत्वपूर्ण घटना थी। इसे “सिपाही विद्रोह” भी कहा जाता है। मेरठ, दिल्ली, कानपुर, झांसी और अवध जैसे स्थान इस विद्रोह के मुख्य केंद्र थे। रानी लक्ष्मीबाई, तात्या टोपे, नाना साहेब, और बहादुर शाह जफर जैसे नेताओं ने विद्रोह का नेतृत्व किया। यह विद्रोह भले ही असफल रहा, लेकिन इसने भारतीय जनता में स्वतंत्रता की भावना को जीवित रखा।
निष्कर्ष
1757 से 1857 ई. तक का समय भारत में ब्रिटिश शासन की स्थापना, विस्तार और भारतीय समाज पर उसके गहरे प्रभाव का काल था। इसने भारतीय जनता में असंतोष, सामाजिक जागरूकता और स्वतंत्रता की चाह को जन्म दिया। यह अवधि आधुनिक भारत के इतिहास का आधार बनी और स्वतंत्रता संग्राम की दिशा तय की।
1. 1757 का प्लासी का युद्ध क्यों महत्वपूर्ण है?
- 1757 में प्लासी का युद्ध ब्रिटिश और सिराजुद्दौला के बीच हुआ।
- युद्ध की तिथि: 23 जून 1757।
- ईस्ट इंडिया कंपनी की विजय।
- मीर जाफर की गद्दारी।
- ब्रिटिश का बंगाल पर नियंत्रण।
- भारत में ब्रिटिश साम्राज्य की नींव।
- सिराजुद्दौला की हार।
- युद्ध में रॉबर्ट क्लाइव की भूमिका।
- व्यापारिक से राजनीतिक शक्ति में परिवर्तन।
- ईस्ट इंडिया कंपनी का प्रभाव बढ़ा।
- भारत के स्वतंत्रता संग्राम की शुरुआत।
2. 1764 का बक्सर का युद्ध क्यों हुआ?
- तिथि: 22 अक्टूबर 1764।
- ब्रिटिश और शुजाउद्दौला, मीर कासिम व शाह आलम II के बीच।
- अंग्रेजों की जीत।
- भारत के बड़े क्षेत्र पर नियंत्रण।
- बंगाल, बिहार और उड़ीसा पर कब्जा।
- शाह आलम II से दीवानी अधिकार।
- रॉबर्ट क्लाइव का प्रभाव।
- भारतीय सेनाओं में असंगठितता।
- ब्रिटिश प्रशासन की मजबूती।
- ब्रिटिश साम्राज्य की जड़ें गहरी हुईं।
3. स्थायी बंदोबस्त क्या था?
- 1793 में लॉर्ड कॉर्नवालिस द्वारा शुरू।
- किसानों से राजस्व वसूली की नई नीति।
- जमींदारों को स्थायी कर निर्धारण।
- किसान उत्पीड़न बढ़ा।
- अंग्रेजों की राजस्व आय सुनिश्चित हुई।
- जमींदारी व्यवस्था लागू हुई।
- किसानों की गरीबी बढ़ी।
- बंगाल और बिहार में लागू।
- स्थायी बंदोबस्त से ब्रिटिश शक्ति मजबूत।
- भारतीय कृषि व्यवस्था पर नकारात्मक प्रभाव।
4. डलहौजी की विलय नीति क्या थी?
- 1848 में लॉर्ड डलहौजी द्वारा शुरू।
2.Doctrine of Lapse का उपयोग। - उत्तराधिकारी न होने पर राज्य ब्रिटिश नियंत्रण में।
- झांसी, सतारा, नागपुर जैसे राज्यों का विलय।
- भारतीय राजाओं में असंतोष।
- 1857 के विद्रोह का कारण।
- ब्रिटिश साम्राज्य का विस्तार।
- राजाओं की शक्ति कमजोर।
- भारतीय जनता में आक्रोश।
- राष्ट्रीय आंदोलन को बढ़ावा।
5. 1818 का तीसरा आंग्ल-मराठा युद्ध क्यों महत्वपूर्ण है?
- ब्रिटिश और पेशवा बाजीराव II के बीच।
- मराठा शक्ति का पतन।
- ब्रिटिश का पूरे भारत पर नियंत्रण।
- 1818 में पेशवा का आत्मसमर्पण।
- मराठा संघ का विघटन।
- ब्रिटिश प्रशासन का विस्तार।
- पेशवा को बनारस निर्वासित किया गया।
- मराठा सैनिक शक्ति खत्म।
- भारतीय स्वतंत्रता संघर्ष को प्रेरणा।
- अंग्रेजों की सेना मजबूत।
6. 1829 में सती प्रथा पर प्रतिबंध क्यों लगाया गया?
- ब्रिटिश गवर्नर विलियम बेंटिक का योगदान।
- राजा राममोहन राय का समर्थन।
- सती प्रथा अमानवीय परंपरा।
- महिलाओं के अधिकारों की रक्षा।
- बंगाल सती रेगुलेशन, 1829 लागू।
- ब्रिटिश समाज सुधार नीति।
- भारतीय महिलाओं में जागरूकता।
- धार्मिक रूढ़िवादियों का विरोध।
- सामाजिक सुधार का आधार।
- महिला सशक्तिकरण का आरंभ।
7. 1857 के विद्रोह के प्रमुख कारण क्या थे?
- ब्रिटिश शासन का शोषण।
- सामाजिक और धार्मिक हस्तक्षेप।
- सैनिकों की नाराजगी।
- चर्बी वाले कारतूस का मुद्दा।
- डलहौजी की विलय नीति।
- किसानों का उत्पीड़न।
- भारतीय राजाओं का असंतोष।
- आर्थिक शोषण।
- सांस्कृतिक अपमान।
- नेतृत्व की कमी।
8. 1857 का विद्रोह क्यों असफल हुआ?
- नेतृत्व की कमी।
- योजना का अभाव।
- अंग्रेजों की आधुनिक तकनीक।
- भारतीय सेनाओं में एकता नहीं।
- सामूहिक उद्देश्य की कमी।
- सीमित भौगोलिक क्षेत्र।
- देशी राजाओं का समर्थन नहीं।
- अंग्रेजों का संगठित प्रशासन।
- विद्रोहियों का कमजोर रणनीतिक आधार।
- ब्रिटिश सेना का बल।
9. 1853 में भारतीय रेलवे की शुरुआत का महत्व क्या था?
- पहली ट्रेन मुंबई से ठाणे।
- ब्रिटिश व्यापार का विस्तार।
- औपनिवेशिक शोषण का साधन।
- भारतीय जनता की सुविधा।
- सैनिकों की त्वरित आवाजाही।
- भारतीय अर्थव्यवस्था में बदलाव।
- अंग्रेजों की कनेक्टिविटी मजबूत।
- औद्योगिक क्रांति का प्रभाव।
- भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन को बढ़ावा।
- शहरीकरण में योगदान।
10. चार्टर एक्ट 1833 का महत्व क्या था?
- गवर्नर जनरल का अधिकार बढ़ा।
- विधायी शक्तियों का केंद्रीकरण।
- ईस्ट इंडिया कंपनी का व्यापार समाप्त।
- भारत में कानून निर्माण।
- प्रेस पर नियंत्रण।
- ब्रिटिश शासन की नीतियों का विस्तार।
- भारतीय प्रशासन में बदलाव।
- भारत के लिए नई औद्योगिक नीतियां।
- सामाजिक सुधारों की शुरुआत।
- आधुनिक भारत के प्रशासन का आधार।
11. रियोटवारी प्रणाली क्या थी?
- किसानों और ब्रिटिश सरकार के बीच सीधा संपर्क।
- मद्रास और बॉम्बे में लागू।
- थॉमस मुनरो का योगदान।
- भूमि कर की सीधी वसूली।
- किसानों पर भारी कर।
- भारतीय कृषि में गिरावट।
- कृषकों की गरीबी।
- मध्यस्थों का उन्मूलन।
- राजस्व आय में वृद्धि।
- कृषि उत्पादन में गिरावट।
12. वारेन हेस्टिंग्स की न्यायिक सुधार नीति क्या थी?
- दोहरी शासन प्रणाली समाप्त।
- फौजदारी अदालतों की स्थापना।
- न्यायालय में वकीलों की नियुक्ति।
- मुगल कानून का उपयोग।
- पंचायतों की स्थापना।
- भारतीय परंपराओं का सम्मान।
- न्याय में देरी की समस्या।
- आर्थिक सुधारों के प्रयास।
- कानून व्यवस्था में सुधार।
- ब्रिटिश प्रशासन को मजबूती।
यहाँ 13 और प्रश्नों और उत्तरों को शामिल किया गया है, जो 1757 से 1857 ई. के भारतीय इतिहास पर आधारित हैं। यह सरल, गुणवत्तापूर्ण और MA छात्रों के लिए उपयुक्त हैं।
13. 1813 का चार्टर एक्ट क्यों महत्वपूर्ण है?
- ब्रिटिश व्यापार पराधिकार समाप्त।
- ईसाई मिशनरियों को भारत में अनुमति।
- भारतीय शिक्षा के लिए 1 लाख रुपए का प्रावधान।
- भारतीय कपड़ा उद्योग पर प्रभाव।
- भारतीय अर्थव्यवस्था में बदलाव।
- व्यापारिक प्रतिस्पर्धा का आरंभ।
- कंपनी की प्रशासनिक शक्तियाँ जारी।
- भारतीय समाज में धर्मांतरण का प्रयास।
- प्रेस स्वतंत्रता पर प्रभाव।
- ब्रिटिश शासन का विस्तार।
14. वॉरेन हेस्टिंग्स की ‘दोहरी शासन प्रणाली’ क्या थी?
- 1765 में शुरू।
- बंगाल में लागू।
- प्रशासन ब्रिटिश के हाथों में।
- राजस्व वसूली स्थानीय जमींदारों द्वारा।
- जनता पर दोहरी जिम्मेदारी।
- भ्रष्टाचार बढ़ा।
- प्रशासनिक अराजकता।
- जनता का शोषण।
- ब्रिटिश राजस्व आय में वृद्धि।
- 1772 में समाप्त।
15. हेस्टिंग्स के बाद सुधारों के लिए लॉर्ड कॉर्नवालिस ने क्या किया?
- स्थायी बंदोबस्त लागू किया।
- प्रशासनिक सुधार।
- न्यायिक प्रणाली की स्थापना।
- सिविल सेवा सुधार।
- पुलिस व्यवस्था लागू।
- भ्रष्टाचार पर नियंत्रण।
- भारतीय अधिकारियों का बहिष्कार।
- ईस्ट इंडिया कंपनी को मजबूत किया।
- सेना में अनुशासन।
- सामाजिक सुधारों पर ध्यान।
16. 1824 का प्रथम आंग्ल-बर्मा युद्ध क्यों हुआ?
- असम और बर्मा का संघर्ष।
- ब्रह्मपुत्र घाटी पर नियंत्रण।
- ब्रिटिश विस्तारवाद।
- युद्ध 1824-1826 तक चला।
- ब्रिटिश की जीत।
- यांडाबू की संधि पर हस्ताक्षर।
- असम और मणिपुर ब्रिटिश नियंत्रण में।
- व्यापार मार्गों पर नियंत्रण।
- भारतीय उपमहाद्वीप की सुरक्षा।
- ब्रिटिश सैन्य ताकत का प्रदर्शन।
17. जलियांवाला बाग हत्याकांड से पहले 1835 का शिक्षा का सुधार क्या था?
- मैकाले का योगदान।
- अंग्रेजी शिक्षा का प्रसार।
- भारतीय समाज में आधुनिकता।
- भारतीय भाषाओं की उपेक्षा।
- प्रशासनिक अधिकारियों की शिक्षा।
- सामाजिक सुधार के लिए शिक्षा।
- ब्रिटिश विचारधारा का प्रचार।
- शिक्षा के माध्यम से भारतीय समाज पर नियंत्रण।
- नई शिक्षा नीति का आरंभ।
- भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन पर प्रभाव।
18. चतुर्थ आंग्ल-मैसूर युद्ध के परिणाम क्या थे?
- टीपू सुल्तान की हार।
- मैसूर पर ब्रिटिश कब्जा।
- टीपू सुल्तान की मृत्यु।
- 1799 में श्रीरंगपट्टनम का पतन।
- मैसूर राज्य का विभाजन।
- ब्रिटिश सैन्य ताकत की विजय।
- हैदर अली का वंश समाप्त।
- ब्रिटिश राजनीतिक नियंत्रण।
- भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में प्रेरणा।
- भारतीय जनता में रोष।
19. भारतीय प्रेस की स्वतंत्रता पर 1823 का अधिनियम क्या था?
- प्रेस पर नियंत्रण।
- प्रेस लाइसेंसिंग का प्रावधान।
- भारतीय पत्रकारों पर प्रतिबंध।
- ब्रिटिश सरकार की नीतियों का प्रचार।
- अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का दमन।
- राष्ट्रवादी विचारों का दमन।
- पत्रकारों में असंतोष।
- प्रेस की भूमिका सीमित।
- राष्ट्रीय आंदोलन पर प्रभाव।
- भारतीय समाज में जागरूकता।
20. 1837-38 का अकाल क्यों हुआ?
- खराब मानसून।
- फसल का नष्ट होना।
- किसानों का कर्ज बढ़ना।
- ब्रिटिश नीतियों का शोषण।
- राजस्व कर की वसूली।
- लाखों लोगों की मृत्यु।
- राहत कार्यों की कमी।
- भारतीय कृषि पर संकट।
- ब्रिटिश प्रशासन की असफलता।
- भारतीय जनता में रोष।
21. 1845-46 का प्रथम आंग्ल-सिख युद्ध क्यों हुआ?
- सिख साम्राज्य की कमजोरी।
- ब्रिटिश विस्तारवाद।
- पंजाब की राजनीतिक अस्थिरता।
- युद्ध 1845-1846 तक चला।
- ब्रिटिश की विजय।
- लाहौर की संधि।
- पंजाब ब्रिटिश प्रभाव में।
- महाराजा रणजीत सिंह का निधन।
- सिख सेना का पतन।
- ब्रिटिश सैन्य ताकत मजबूत।
22. 1849 का द्वितीय आंग्ल-सिख युद्ध के परिणाम क्या थे?
- पंजाब पर ब्रिटिश कब्जा।
- महाराजा दिलीप सिंह का निर्वासन।
- खालसा सेना का विघटन।
- ब्रिटिश साम्राज्य का विस्तार।
- सिखों का आक्रोश।
- भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन को प्रेरणा।
- लाहौर दरबार समाप्त।
- ब्रिटिश प्रशासन की स्थापना।
- भारतीय जनता में असंतोष।
- ब्रिटिश राजनीतिक प्रभुत्व।
23. 1856 का अवध विलय क्यों हुआ?
- नवाब वाजिद अली शाह की प्रशासनिक असफलता।
- डलहौजी की विलय नीति।
- भ्रष्टाचार का आरोप।
- सामाजिक और आर्थिक शोषण।
- ब्रिटिश साम्राज्य का विस्तार।
- भारतीय जनता में असंतोष।
- 1857 के विद्रोह का कारण।
- भारतीय राजाओं में रोष।
- अंग्रेजों की सैन्य शक्ति मजबूत।
- राजनीतिक अस्थिरता।
24. 1853 में लोक सेवा परीक्षा का क्या महत्व था?
- प्रतियोगी परीक्षा का आरंभ।
- भारतीयों के लिए नौकरियों के अवसर।
- ब्रिटिश प्रशासन में सुधार।
- भारतीयों का आत्मविश्वास बढ़ा।
- आधुनिक शिक्षा का प्रभाव।
- प्रशासनिक दक्षता।
- सामाजिक समानता का आधार।
- राष्ट्रीय आंदोलन को प्रेरणा।
- भारतीय समाज में जागरूकता।
- ब्रिटिश प्रभाव को चुनौती।
25. 1857 का विद्रोह भारतीय स्वतंत्रता संग्राम का पहला चरण क्यों है?
- पूरे भारत में फैला।
- अंग्रेजी शासन के खिलाफ विद्रोह।
- जनता का व्यापक समर्थन।
- भारतीय नेताओं का योगदान।
- ब्रिटिश प्रशासन के खिलाफ आक्रोश।
- नेतृत्व की कमी के बावजूद संघर्ष।
- सामाजिक और राजनीतिक प्रभाव।
- राष्ट्रीय आंदोलन को प्रेरणा।
- भारतीय जनता में एकता।
- भारत में ब्रिटिश शासन को चुनौती।
यहाँ 10 और प्रश्नों और उत्तरों को शामिल किया गया है, जो 1757 से 1857 ई. के भारतीय इतिहास पर आधारित हैं। यह सरल और MA छात्रों के लिए उपयोगी हैं।
26. 1793 का स्थायी बंदोबस्त (Permanent Settlement) क्या था?
- लॉर्ड कॉर्नवालिस द्वारा लागू।
- बंगाल, बिहार और उड़ीसा में प्रभावी।
- जमींदारी व्यवस्था की शुरुआत।
- किसानों पर स्थायी कर का बोझ।
- राजस्व तय किया गया।
- जमींदारों को स्थायी अधिकार।
- किसान आर्थिक रूप से कमजोर।
- उत्पादन में कमी।
- ब्रिटिश राजस्व आय स्थिर।
- ग्रामीण समाज में असंतोष।
27. 1784 का पिट्स इंडिया एक्ट क्यों महत्वपूर्ण है?
- ब्रिटिश सरकार का नियंत्रण बढ़ा।
- गवर्नर-जनरल की नियुक्ति।
- बोर्ड ऑफ कंट्रोल की स्थापना।
- कंपनी की दोहरी प्रशासन प्रणाली।
- भारत में ब्रिटिश शासन की मजबूती।
- सैन्य और प्रशासनिक सुधार।
- भ्रष्टाचार पर अंकुश।
- भारतीय राज्यों में हस्तक्षेप।
- ब्रिटिश साम्राज्य का विस्तार।
- कंपनी के अधिकार सीमित।
28. टीपू सुल्तान की आर्थिक नीतियाँ क्या थीं?
- सिल्क और मसालों का उत्पादन।
- व्यापारिक नीतियों में सुधार।
- यूरोपीय देशों से संबंध।
- औद्योगिक विकास का प्रयास।
- स्थानीय कारीगरों का संरक्षण।
- हथियार निर्माण में वृद्धि।
- कृषि कर में सुधार।
- मुद्रा प्रणाली में बदलाव।
- विदेशी व्यापार का विस्तार।
- आत्मनिर्भर अर्थव्यवस्था का निर्माण।
29. 1829 में सती प्रथा का उन्मूलन क्यों हुआ?
- राजा राममोहन राय का प्रयास।
- लॉर्ड विलियम बेंटिंक द्वारा कानून।
- महिलाओं की सुरक्षा।
- धार्मिक कट्टरता में कमी।
- ब्रिटिश प्रशासन का समर्थन।
- समाज सुधार का प्रयास।
- हिंदू विधवाओं के अधिकार।
- भारतीय समाज में जागरूकता।
- सामाजिक असमानता का अंत।
- प्राचीन परंपराओं का विरोध।
30. 1817 का पिंडारी युद्ध क्या था?
- पिंडारी डाकुओं का आतंक।
- मराठा संगठनों का समर्थन।
- ब्रिटिश प्रशासन को चुनौती।
- लॉर्ड हेस्टिंग्स की सैन्य कार्रवाई।
- पिंडारी गुटों का विनाश।
- ब्रिटिश सेना की शक्ति।
- मध्य भारत में शांति।
- मराठा प्रभाव का अंत।
- भारतीय समाज में स्थायित्व।
- ब्रिटिश साम्राज्य की मजबूती।
31. वेलेजली की सहायक संधि (Subsidiary Alliance) का उद्देश्य क्या था?
- भारतीय राज्यों पर नियंत्रण।
- राजाओं को ब्रिटिश सेना रखना अनिवार्य।
- राजाओं की स्वतंत्रता खत्म।
- राजस्व वसूली पर नियंत्रण।
- ब्रिटिश सैन्य शक्ति का प्रदर्शन।
- मराठों और हैदराबाद पर प्रभाव।
- भारतीय राज्यों की आर्थिक कमजोरी।
- विदेशी हमलों से सुरक्षा।
- ब्रिटिश साम्राज्य का विस्तार।
- भारत में औपनिवेशिक शासन मजबूत।
32. 1833 का चार्टर एक्ट का क्या प्रभाव था?
- ईस्ट इंडिया कंपनी का व्यापार अधिकार समाप्त।
- भारत में ब्रिटिश सरकार का पूर्ण नियंत्रण।
- एक गवर्नर-जनरल का प्रावधान।
- विधायिका की स्थापना।
- भारतीय शिक्षा में सुधार।
- ब्रिटिश व्यापारियों को भारतीय व्यापार की अनुमति।
- भारतीय समाज में आधुनिकता।
- प्रशासनिक सुधार।
- भारतीय उद्योगों पर असर।
- भारतीय जनता में असंतोष।
33. भारतीय समाज पर 1854 के वुड डिस्पैच का क्या प्रभाव था?
- ब्रिटिश शिक्षा प्रणाली की शुरुआत।
- प्राथमिक, माध्यमिक और उच्च शिक्षा।
- महिला शिक्षा का प्रचार।
- अंग्रेजी भाषा का विस्तार।
- आधुनिक भारतीय बुद्धिजीवी का निर्माण।
- समाज सुधार आंदोलनों को प्रेरणा।
- औद्योगिक और तकनीकी शिक्षा।
- भारतीय जनता में जागरूकता।
- राष्ट्रीय आंदोलन को बल।
- परंपरागत शिक्षा का पतन।
34. 1801 में अवध का विलय क्यों हुआ?
- अवध के नवाब की असफलता।
- डलहौजी की विलय नीति।
- राजस्व वसूली में कठिनाई।
- भ्रष्टाचार का आरोप।
- ब्रिटिश साम्राज्य का विस्तार।
- सैनिकों की नियुक्ति का दबाव।
- जनता में असंतोष।
- विद्रोह का खतरा।
- आर्थिक और राजनीतिक अस्थिरता।
- ब्रिटिश प्रशासन की मजबूती।
35. 1848-1856 का डलहौजी का शासन क्यों विवादास्पद था?
- विलय नीति (Doctrine of Lapse)।
- भारतीय राज्यों का अधिग्रहण।
- भारतीय जनता में असंतोष।
- रेलवे और डाक प्रणाली का आरंभ।
- शिक्षा में सुधार।
- सैन्य सुधार।
- समाज सुधार के प्रयास।
- 1857 के विद्रोह का कारण।
- राजाओं और जमींदारों का विरोध।
- ब्रिटिश शासन का विस्तार।
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