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ME/क्रोनिक फटीग सिंड्रोम और सामान्य विज्ञान: परीक्षा के लिए महत्वपूर्ण प्रश्न

ME/क्रोनिक फटीग सिंड्रोम और सामान्य विज्ञान: परीक्षा के लिए महत्वपूर्ण प्रश्न

परिचय:** किसी भी प्रतियोगी परीक्षा में सफलता प्राप्त करने के लिए सामान्य विज्ञान की ठोस समझ आवश्यक है। हाल के वैज्ञानिक अध्ययनों से पता चलता है कि ME/क्रोनिक फटीग सिंड्रोम (CFS) जैसे जटिल रोगों के संभावित आनुवंशिक सुरागों की पहचान की जा रही है। यह प्रगति जीव विज्ञान, रसायन विज्ञान और भौतिकी जैसे क्षेत्रों में आपकी पकड़ को और मजबूत करने के महत्व को रेखांकित करती है। अपनी तैयारी को परखें और इन महत्वपूर्ण MCQs के साथ अपने ज्ञान को गहरा करें!


सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)

  1. ME/क्रोनिक फटीग सिंड्रोम (CFS) के अध्ययन में निम्नलिखित में से कौन सा आनुवंशिक पहलू मुख्य रूप से प्रासंगिक हो सकता है?

    • (a) माइटोकॉन्ड्रियल डीएनए (mtDNA)
    • (b) गुणसूत्रों की संख्या
    • (c) जीन का उत्परिवर्तन (Gene mutation)
    • (d) उपरोक्त सभी

    उत्तर: (d)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आनुवंशिक अध्ययन विभिन्न स्तरों पर डीएनए में परिवर्तन की जांच करते हैं। माइटोकॉन्ड्रियल डीएनए, गुणसूत्रों की संरचना और जीन अनुक्रम में परिवर्तन (उत्परिवर्तन) सभी रोगों के आनुवंशिक आधार को समझने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

    व्याख्या (Explanation): ME/CFS जैसे जटिल रोगों के आनुवंशिक आधार को समझने के लिए, वैज्ञानिक विभिन्न पहलुओं की जांच करते हैं। माइटोकॉन्ड्रियल डीएनए, जो ऊर्जा उत्पादन में महत्वपूर्ण है, CFS के लक्षणों से जुड़ा हो सकता है। गुणसूत्रों की संख्या या संरचना में असामान्यताएं भी आनुवंशिक विकार पैदा कर सकती हैं। सबसे महत्वपूर्ण, विशिष्ट जीन में उत्परिवर्तन (जैसे, प्रतिरक्षा प्रणाली या ऊर्जा चयापचय से संबंधित जीन) CFS के विकास में योगदान कर सकते हैं। इसलिए, उपरोक्त सभी आनुवंशिक पहलू प्रासंगिक हैं।

    अतः, सही उत्तर (d) है।

  2. CFS के रोगियों में ऊर्जा उत्पादन के लिए कोशिका का कौन सा अंगिका (organelle) अक्सर प्रभावित हो सकता है?

    • (a) नाभिक (Nucleus)
    • (b) एंडोप्लाज्मिक रेटिकुलम (Endoplasmic Reticulum)
    • (c) राइबोसोम (Ribosome)
    • (d) माइटोकॉन्ड्रिया (Mitochondria)

    उत्तर: (d)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): माइटोकॉन्ड्रिया कोशिका के ‘पावरहाउस’ के रूप में जाने जाते हैं, जो सेलुलर श्वसन के माध्यम से अधिकांश एडेनोसिन ट्राइफॉस्फेट (ATP) का उत्पादन करते हैं। CFS में देखी जाने वाली थकान और ऊर्जा की कमी अक्सर माइटोकॉन्ड्रियल डिसफंक्शन से जुड़ी होती है।

    व्याख्या (Explanation): क्रोनिक फटीग सिंड्रोम (CFS) वाले व्यक्तियों में अक्सर ऊर्जा की कमी के लक्षण दिखाई देते हैं। यह थकान अक्सर कोशिकाओं के ऊर्जा उत्पादन तंत्र में गड़बड़ी से जुड़ी होती है। माइटोकॉन्ड्रिया वह अंगिका है जो कोशिका श्वसन द्वारा ऊर्जा (ATP) उत्पन्न करने के लिए जिम्मेदार है। CFS के कई अध्ययनों ने माइटोकॉन्ड्रियल कार्य में असामान्यताएं पाई हैं, जो इन रोगियों में ऊर्जा की कमी के लक्षणों की व्याख्या कर सकती हैं।

    अतः, सही उत्तर (d) है।

  3. डीएनए (DNA) की मूल संरचनात्मक इकाई क्या है?

    • (a) अमीनो एसिड
    • (b) न्यूक्लियोटाइड
    • (c) फैटी एसिड
    • (d) शर्करा

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): डीएनए (Deoxyribonucleic acid) एक पॉलीमर है जो न्यूक्लियोटाइड्स से बना होता है। प्रत्येक न्यूक्लियोटाइड में एक डीऑक्सीराइबोस शर्करा, एक फॉस्फेट समूह और एक नाइट्रोजनस बेस (एडेनिन, गुआनिन, साइटोसिन या थाइमिन) होता है।

    व्याख्या (Explanation): डीएनए, जो हमारे आनुवंशिक पदार्थ का निर्माण करता है, न्यूक्लियोटाइड्स की लंबी श्रृंखलाओं से बना होता है। ये न्यूक्लियोटाइड तीन मुख्य घटकों से मिलकर बने होते हैं: एक शर्करा (डीऑक्सीराइबोस), एक फॉस्फेट समूह, और एक नाइट्रोजनस बेस (A, T, C, या G)। इन न्यूक्लियोटाइडों की विशिष्ट क्रमबद्धता ही जीन को परिभाषित करती है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  4. यदि किसी व्यक्ति के डीएनए में एक जीन में उत्परिवर्तन (mutation) होता है, तो यह सीधे तौर पर क्या बदल सकता है?

    • (a) कोशिका की बाहरी झिल्ली (Cell membrane)
    • (b) प्रोटीन का अनुक्रम (Sequence of a protein)
    • (c) कोशिका विभाजन की दर (Rate of cell division)
    • (d) कोशिका के चारों ओर का वातावरण (Environment around the cell)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): डीएनए में जीन प्रोटीन के निर्माण के लिए कोड प्रदान करते हैं। जीन में उत्परिवर्तन उस प्रोटीन के अमीनो एसिड अनुक्रम में परिवर्तन का कारण बन सकता है, जो इसके कार्य को प्रभावित कर सकता है।

    व्याख्या (Explanation): जीन डीएनए के खंड होते हैं जो विशिष्ट प्रोटीन बनाने के लिए निर्देश रखते हैं। ये निर्देश एमिनो एसिड के क्रम के रूप में होते हैं जो प्रोटीन बनाते हैं। जब डीएनए में कोई उत्परिवर्तन होता है, तो यह उस प्रोटीन के लिए एमिनो एसिड के अनुक्रम को बदल सकता है। इस परिवर्तन से प्रोटीन की संरचना और कार्यप्रणाली में बदलाव आ सकता है, जो विभिन्न जैविक प्रक्रियाओं को प्रभावित कर सकता है, जिसमें CFS जैसे रोगों का विकास भी शामिल है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  5. ऑक्सीजन (O2) और ग्लूकोज (C6H12O6) का उपयोग करके ATP का उत्पादन करने की प्रक्रिया को क्या कहते हैं?

    • (a) प्रकाश संश्लेषण (Photosynthesis)
    • (b) श्वसन (Respiration)
    • (c) किण्वन (Fermentation)
    • (d) चयापचय (Metabolism)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): सेलुलर श्वसन एक चयापचय प्रक्रिया है जो कोशिकाओं को ऑक्सीजन और पोषक तत्वों (जैसे ग्लूकोज) का उपयोग करके ऊर्जा (ATP) उत्पन्न करने की अनुमति देती है। CFS में माइटोकॉन्ड्रियल कार्यप्रणाली को समझना इस प्रक्रिया के महत्व पर प्रकाश डालता है।

    व्याख्या (Explanation): सेलुलर श्वसन वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा कोशिकाएं ऊर्जा प्राप्त करती हैं। यह मुख्य रूप से माइटोकॉन्ड्रिया में होती है, जहां ऑक्सीजन और ग्लूकोज जैसे ईंधन अणुओं का उपयोग करके ATP (ऊर्जा की मुद्रा) का उत्पादन किया जाता है। CFS के संदर्भ में, श्वसन मार्ग में कोई भी व्यवधान ऊर्जा की कमी के लक्षणों में योगदान कर सकता है। प्रकाश संश्लेषण पौधों द्वारा किया जाता है, किण्वन ऑक्सीजन की अनुपस्थिति में होता है, और चयापचय एक व्यापक शब्द है जिसमें सभी रासायनिक प्रक्रियाएं शामिल हैं, लेकिन विशेष रूप से ऊर्जा उत्पादन के लिए श्वसन का वर्णन किया गया है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  6. CFS के अध्ययन में “बड़े अध्ययन” (massive study) का क्या अर्थ हो सकता है?

    • (a) केवल एक रोगी का विस्तृत अध्ययन
    • (b) छोटे नमूनों के साथ कई छोटे अध्ययन
    • (c) बड़ी संख्या में प्रतिभागियों के साथ अध्ययन
    • (d) केवल प्रयोगशाला में किए गए अध्ययन

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): चिकित्सा अनुसंधान में, “बड़े अध्ययन” या “बड़े पैमाने पर अध्ययन” का अर्थ आम तौर पर उन अध्ययनों से होता है जिनमें बड़ी संख्या में प्रतिभागियों (लोग या नमूने) शामिल होते हैं। इससे परिणामों की विश्वसनीयता बढ़ती है और छोटे प्रभावों का पता लगाने में मदद मिलती है।

    व्याख्या (Explanation): जब वैज्ञानिक अनुसंधान में “बड़े अध्ययन” का उल्लेख किया जाता है, तो इसका मतलब अक्सर प्रतिभागियों की एक बड़ी संख्या के साथ किए गए अध्ययन से होता है। एक बड़ी आबादी का विश्लेषण करने से शोधकर्ताओं को आनुवंशिक रुझानों, रोग पैटर्न और संभावित उपचारों के बारे में अधिक मजबूत और विश्वसनीय निष्कर्ष निकालने की अनुमति मिलती है। ME/CFS जैसे जटिल सिंड्रोम के लिए, एक बड़ी संख्या में व्यक्तियों से आनुवंशिक डेटा एकत्र करना छोटे, आनुवंशिक अंतरों की पहचान करने के लिए महत्वपूर्ण है जो रोग के विकास में योगदान कर सकते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  7. प्रोटीन संश्लेषण (protein synthesis) कोशिका के किस अंगिका में मुख्य रूप से होता है?

    • (a) गॉल्जी बॉडी (Golgi Body)
    • (b) एंडोप्लाज्मिक रेटिकुलम (Endoplasmic Reticulum)
    • (c) राइबोसोम (Ribosome)
    • (d) लाइसोसोम (Lysosome)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): राइबोसोम वे कोशिकांगिकाएं हैं जो mRNA टेम्पलेट से प्रोटीन बनाने के लिए जिम्मेदार हैं। वे प्रोटीन संश्लेषण की साइटें हैं।

    व्याख्या (Explanation): प्रोटीन कोशिका के कार्य के लिए आवश्यक अणु हैं। उनका निर्माण राइबोसोम नामक कोशिकांगिकाओं में होता है। राइबोसोम mRNA (मैसेंजर आरएनए) पर मौजूद आनुवंशिक कोड को डिकोड करते हैं और एमिनो एसिड को एक विशिष्ट क्रम में जोड़कर प्रोटीन का निर्माण करते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  8. मानव जीनोम में कुल कितने जीन होने का अनुमान है?

    • (a) लगभग 10,000 – 20,000
    • (b) लगभग 20,000 – 25,000
    • (c) लगभग 50,000 – 60,000
    • (d) लगभग 100,000 से अधिक

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मानव जीनोम प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद, अनुमान लगाया गया है कि मानव जीनोम में लगभग 20,000 से 25,000 प्रोटीन-कोडिंग जीन होते हैं।

    व्याख्या (Explanation): मानव जीनोम, जिसमें मानव डीएनए के सभी जीन शामिल हैं, लगभग 20,000 से 25,000 प्रोटीन-कोडिंग जीन का एक सेट होता है। ये जीन विभिन्न प्रकार के प्रोटीन बनाने के लिए कोड प्रदान करते हैं, जो शरीर के लगभग हर कार्य में शामिल होते हैं। CFS जैसे आनुवंशिक अध्ययनों का उद्देश्य इन जीनों और रोग के विकास के बीच संबंधों का पता लगाना है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  9. ATP का पूर्ण रूप क्या है?

    • (a) एडिनोसिन टेट्राफॉस्फेट (Adenosine Tetraphosphate)
    • (b) एडेनाइन ट्राइफॉस्फेट (Adenine Triphosphate)
    • (c) एडेनोसिन ट्राइफॉस्फेट (Adenosine Triphosphate)
    • (d) एडेनाइन टेट्राफॉस्फेट (Adenine Tetraphosphate)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ATP (Adenosine Triphosphate) कोशिका का प्राथमिक ऊर्जा मुद्रा है। यह एडिनोसिन और तीन फॉस्फेट समूहों से बना एक न्यूक्लियोटाइड है।

    व्याख्या (Explanation): ATP (Adenosine Triphosphate) कोशिका की ऊर्जा का मुख्य स्रोत है। जब कोशिका को ऊर्जा की आवश्यकता होती है, तो ATP के तीसरे फॉस्फेट समूह को तोड़कर ऊर्जा जारी की जाती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  10. CFS के आनुवंशिक अध्ययन में, “क्लिनिकल लक्षण” (clinical manifestations) का क्या अर्थ है?

    • (a) रोगी के शरीर में मौजूद बैक्टीरिया
    • (b) रोग के अवलोकन योग्य संकेत और लक्षण
    • (c) जीन अनुक्रम में परिवर्तन
    • (d) दवा का प्रभाव

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): चिकित्सा में, क्लिनिकल लक्षण (Clinical manifestations) वे सभी संकेत (objective evidence) और लक्षण (subjective feelings) हैं जो एक बीमारी के कारण व्यक्ति अनुभव करता है या दिखाता है।

    व्याख्या (Explanation): CFS के अध्ययन में, “क्लिनिकल लक्षण” का तात्पर्य उन विशिष्ट संकेतों और लक्षणों से है जो रोगी अनुभव करते हैं, जैसे कि अत्यधिक थकान, मांसपेशियों में दर्द, संज्ञानात्मक समस्याएं (brain fog), नींद न आना, आदि। इन लक्षणों का आनुवंशिक या अन्य जैविक कारकों से संबंध खोजने का प्रयास किया जाता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  11. जीवित कोशिका में होने वाली सभी रासायनिक अभिक्रियाओं के योग को क्या कहते हैं?

    • (a) एनाबॉलिज्म (Anabolism)
    • (b) कैटाबॉलिज्म (Catabolism)
    • (c) चयापचय (Metabolism)
    • (d) होमोस्टेसिस (Homeostasis)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): चयापचय (Metabolism) वह समग्र शब्द है जो जीवन को बनाए रखने के लिए कोशिकाओं और जीवों के भीतर होने वाली सभी रासायनिक प्रक्रियाओं का वर्णन करता है। इसमें ऊर्जा का उत्पादन और उपयोग शामिल है।

    व्याख्या (Explanation): चयापचय (Metabolism) वह प्रक्रिया है जिसमें जीवित जीव पोषक तत्वों को ऊर्जा में परिवर्तित करते हैं और उस ऊर्जा का उपयोग करके शरीर के कार्यों को करते हैं। इसमें दो मुख्य प्रक्रियाएं शामिल हैं: एनाबॉलिज्म (ऊर्जा का उपयोग करके अणुओं का निर्माण) और कैटाबॉलिज्म (जटिल अणुओं को तोड़कर ऊर्जा जारी करना)। CFS में ऊर्जा से संबंधित समस्याएं चयापचय में गड़बड़ी का संकेत दे सकती हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  12. आनुवंशिक अध्ययन में “जीनोटाइप” (genotype) शब्द का क्या अर्थ है?

    • (a) किसी जीव की शारीरिक विशेषताएं
    • (b) किसी जीव के जीन की संरचना
    • (c) एक विशिष्ट जीन का उत्परिवर्तन
    • (d) पर्यावरण का प्रभाव

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): जीनोटाइप (Genotype) किसी जीव के आनुवंशिक श्रृंगार का वर्णन करता है, विशेष रूप से उसके जीन की संरचना। यह फेनोटाइप (phenotype) से अलग है, जो देखे जाने वाले लक्षण हैं।

    व्याख्या (Explanation): जीनोटाइप किसी जीव के डीएनए में मौजूद जीन की कुल राशि को संदर्भित करता है। यह उस आनुवंशिक कोड को दर्शाता है जो एक व्यक्ति को अपने माता-पिता से विरासत में मिला है। CFS के आनुवंशिक अध्ययनों में, शोधकर्ता विशिष्ट जीनोटाइप और रोग के जोखिम या गंभीरता के बीच संबंध खोजने की कोशिश करते हैं।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  13. मानव शरीर में ऑक्सीजन का परिवहन मुख्य रूप से किस प्रोटीन द्वारा किया जाता है?

    • (a) कोलेजन (Collagen)
    • (b) हीमोग्लोबिन (Hemoglobin)
    • (c) मायोसिन (Myosin)
    • (d) एल्ब्यूमिन (Albumin)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): हीमोग्लोबिन लाल रक्त कोशिकाओं में पाया जाने वाला एक प्रोटीन है जो फेफड़ों से शरीर के ऊतकों तक ऑक्सीजन ले जाने के लिए जिम्मेदार है।

    व्याख्या (Explanation): हीमोग्लोबिन वह प्रोटीन है जो हमारे रक्त के लाल रक्त कोशिकाओं में पाया जाता है। इसका मुख्य कार्य फेफड़ों से ऑक्सीजन को लेना और उसे पूरे शरीर में विभिन्न ऊतकों और अंगों तक पहुंचाना है, जहां यह सेलुलर श्वसन के लिए उपयोग की जाती है। CFS में ऊर्जा उत्पादन की समस्या को देखते हुए, ऑक्सीजन परिवहन का महत्व भी बढ़ जाता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  14. CFS के आनुवंशिक अध्ययन में, “पॉलीमोर्फिज्म” (polymorphism) का क्या अर्थ हो सकता है?

    • (a) एक ही जीन के विभिन्न रूप
    • (b) क्रोमोसोम की असामान्य संख्या
    • (c) प्रोटीन की एक ही संरचना
    • (d) आरएनए का टूटना

    उत्तर: (a)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आनुवंशिकी में, पॉलीमोर्फिज्म (Polymorphism) एक ही जीन के विभिन्न अनुक्रम रूपों को संदर्भित करता है जो एक आबादी में मौजूद हो सकते हैं। ये सामान्य भिन्नताएं हो सकती हैं।

    व्याख्या (Explanation): जीन पॉलीमोर्फिज्म का अर्थ है कि एक ही जीन के विभिन्न संस्करण (alleles) एक जनसंख्या में मौजूद होते हैं। ये भिन्नताएं अक्सर हानिरहित होती हैं, लेकिन कुछ कभी-कभी रोग के जोखिम को बढ़ा सकती हैं या किसी विशेष स्थिति के प्रति प्रतिक्रिया को प्रभावित कर सकती हैं। CFS के अध्ययनों में, इन पॉलीमोर्फिज्म का विश्लेषण करके यह देखा जा सकता है कि क्या वे रोग से जुड़े हैं।

    अतः, सही उत्तर (a) है।

  15. कोशिका में ऊर्जा के उत्पादन से संबंधित कौन सा खनिज महत्वपूर्ण है?

    • (a) सोडियम (Sodium)
    • (b) पोटेशियम (Potassium)
    • (c) मैग्नीशियम (Magnesium)
    • (d) कैल्शियम (Calcium)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मैग्नीशियम (Mg) कई एंजाइमेटिक प्रतिक्रियाओं में एक सह-कारक (cofactor) है, जिसमें ATP उत्पादन सहित ऊर्जा चयापचय से संबंधित प्रतिक्रियाएं शामिल हैं।

    व्याख्या (Explanation): मैग्नीशियम एक महत्वपूर्ण खनिज है जो शरीर में 300 से अधिक एंजाइमेटिक प्रतिक्रियाओं में भाग लेता है, जिनमें से कई ऊर्जा उत्पादन (ATP संश्लेषण) से संबंधित हैं। CFS के रोगियों में मैग्नीशियम के निम्न स्तर पाए गए हैं, जो उनकी थकान और ऊर्जा की कमी में योगदान कर सकते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  16. डीएनए (DNA) में एडिनिन (A) किस बेस के साथ जोड़ा बनाता है?

    • (a) ग्वानिन (G)
    • (b) साइटोसिन (C)
    • (c) थाइमिन (T)
    • (d) यूरेसिल (U)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): डीएनए में, प्यूरीन बेस एडिनिन (A) हमेशा पिरिमिडीन बेस थाइमिन (T) के साथ दो हाइड्रोजन बॉन्ड द्वारा जुड़ा होता है (A-T)। इसी तरह, ग्वानिन (G) हमेशा साइटोसिन (C) के साथ तीन हाइड्रोजन बॉन्ड द्वारा जुड़ा होता है (G-C)।

    व्याख्या (Explanation): डीएनए डबल हेलिक्स की संरचना में, बेस पेयरिंग बहुत विशिष्ट होती है। एडिनिन (A) हमेशा थाइमिन (T) के साथ जुड़ता है, और ग्वानिन (G) हमेशा साइटोसिन (C) के साथ जुड़ता है। यह बेस पेयरिंग डीएनए की स्थिरता और आनुवंशिक जानकारी के सटीक प्रतिकृति के लिए महत्वपूर्ण है। CFS के आनुवंशिक अध्ययनों में, इस सटीक संरचना को बनाए रखना महत्वपूर्ण है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  17. CFS से जुड़े संभावित “आनुवंशिक सुराग” (genetic clues) का पता लगाने के लिए किस प्रकार की वैज्ञानिक तकनीक का उपयोग किया जा सकता है?

    • (a) केवल शारीरिक परीक्षण
    • (b) जीनोमिक अनुक्रमण (Genomic sequencing)
    • (c) केवल रोगी का साक्षात्कार
    • (d) रक्तचाप मापन

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): जीनोमिक अनुक्रमण (Genomic sequencing) डीएनए के पूरे या आंशिक अनुक्रम को निर्धारित करने की एक विधि है। यह आनुवंशिक भिन्नताओं, उत्परिवर्तन और पॉलीमोर्फिज्म की पहचान करने के लिए एक आवश्यक उपकरण है।

    व्याख्या (Explanation): जीनोमिक अनुक्रमण वह तकनीक है जो किसी व्यक्ति के डीएनए के सटीक आनुवंशिक कोड को पढ़ती है। CFS जैसे रोगों के अध्ययन में, जीनोमिक अनुक्रमण शोधकर्ताओं को उन जीन या डीएनए अनुक्रमों की पहचान करने में मदद करता है जो रोग के विकास में योगदान दे सकते हैं। यह “आनुवंशिक सुराग” को उजागर करने का सबसे सीधा तरीका है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  18. कोशिका में ऑक्सीजन का उपयोग करके ऊर्जा (ATP) बनाने की प्रक्रिया को क्या कहते हैं, जिसमें कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) और पानी (H2O) उप-उत्पाद के रूप में बनते हैं?

    • (a) अवायवीय श्वसन (Anaerobic Respiration)
    • (b) वायवीय श्वसन (Aerobic Respiration)
    • (c) किण्वन (Fermentation)
    • (d) प्रकाश संश्लेषण (Photosynthesis)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): वायवीय श्वसन (Aerobic Respiration) वह प्रक्रिया है जो ऑक्सीजन की उपस्थिति में होती है और उच्च मात्रा में ATP उत्पन्न करती है, साथ ही CO2 और H2O को उप-उत्पादों के रूप में छोड़ती है।

    व्याख्या (Explanation): वायवीय श्वसन वह प्रक्रिया है जो जीवित कोशिकाओं में ऑक्सीजन का उपयोग करके ग्लूकोज को तोड़कर बड़ी मात्रा में ऊर्जा (ATP) उत्पन्न करती है। इस प्रक्रिया का सामान्य समीकरण C6H12O6 + 6O2 → 6CO2 + 6H2O + ऊर्जा (ATP) है। CFS के रोगियों में, यह कुशल ऊर्जा उत्पादन मार्ग प्रभावित हो सकता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  19. CFS के अध्ययन में, “आनुवंशिक विचलन” (genetic variation) का क्या अर्थ है?

    • (a) सभी व्यक्तियों में समान जीन अनुक्रम
    • (b) व्यक्तियों के डीएनए अनुक्रम में अंतर
    • (c) जीन की पूर्ण अनुपस्थिति
    • (d) कोशिका झिल्ली की मोटाई

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आनुवंशिक विचलन (Genetic variation) किसी प्रजाति की आबादी में व्यक्तियों के बीच जीन की संरचना में अंतर को संदर्भित करता है। यह उत्परिवर्तन, जीन प्रवाह और पुनर्संयोजन जैसी प्रक्रियाओं से उत्पन्न होता है।

    व्याख्या (Explanation): आनुवंशिक विचलन आबादी के भीतर व्यक्तियों के डीएनए अनुक्रमों में अंतर को संदर्भित करता है। यह अंतर छोटा हो सकता है (जैसे एक एकल न्यूक्लियोटाइड में परिवर्तन) या बड़ा (जैसे जीन की डुप्लीकेशन या विलोपन)। CFS जैसे जटिल रोगों के लिए, इन विविधताओं की जांच करके रोग के प्रति संवेदनशीलता को समझा जा सकता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  20. यदि कोशिका का माइटोकॉन्ड्रिया ठीक से काम नहीं कर रहा है, तो शरीर में सबसे अधिक संभावना क्या कमी होगी?

    • (a) पानी
    • (b) प्रोटीन
    • (c) ATP (ऊर्जा)
    • (d) वसा

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): माइटोकॉन्ड्रिया कोशिका के मुख्य ऊर्जा उत्पादक हैं। वे सेलुलर श्वसन के माध्यम से ATP का संश्लेषण करते हैं। यदि वे ठीक से काम नहीं करते हैं, तो ATP का उत्पादन कम हो जाता है।

    व्याख्या (Explanation): जैसा कि पहले उल्लेख किया गया है, माइटोकॉन्ड्रिया को कोशिका का पावरहाउस कहा जाता है क्योंकि वे ATP का उत्पादन करते हैं। CFS के रोगियों में देखी जाने वाली थकान का एक मुख्य कारण माइटोकॉन्ड्रिया की अपर्याप्त कार्यक्षमता है, जिसके परिणामस्वरूप शरीर में ATP की कमी होती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  21. CFS के अध्ययन में, “फैलाव” (prevalence) शब्द का क्या अर्थ है?

    • (a) किसी बीमारी से ठीक होने वाले लोगों की संख्या
    • (b) एक निश्चित समय अवधि में एक निश्चित क्षेत्र में किसी बीमारी से पीड़ित लोगों का अनुपात
    • (c) एक नई बीमारी का निदान
    • (d) रोग का कारण बनने वाला विशिष्ट जीन

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): महामारी विज्ञान (Epidemiology) में, फैलाव (Prevalence) एक निश्चित समय पर एक निश्चित आबादी में रोग या स्थिति के मामलों की कुल संख्या को संदर्भित करता है।

    व्याख्या (Explanation): CFS के अध्ययन में, “फैलाव” यह बताता है कि जनसंख्या में कितने प्रतिशत लोग किसी विशेष समय पर इस सिंड्रोम से प्रभावित हैं। यह रोग की व्यापकता और सार्वजनिक स्वास्थ्य पर इसके प्रभाव को समझने में मदद करता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  22. कौन सा सेलुलर घटक आनुवंशिक जानकारी को नाभिक (nucleus) से साइटोप्लाज्म (cytoplasm) तक ले जाता है?

    • (a) tRNA (ट्रांसफर आरएनए)
    • (b) rRNA (राइबोसोमल आरएनए)
    • (c) mRNA (मैसेंजर आरएनए)
    • (d) DNA (डीऑक्सीराइबोन्यूक्लिक एसिड)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मैसेंजर आरएनए (mRNA) डीएनए में संग्रहीत आनुवंशिक जानकारी की एक प्रतिलिपि बनाता है और इसे नाभिक से साइटोप्लाज्म में ले जाता है, जहां राइबोसोम इस जानकारी का उपयोग करके प्रोटीन का संश्लेषण करते हैं।

    व्याख्या (Explanation): डीएनए, जो नाभिक में स्थित है, में प्रोटीन बनाने के निर्देश होते हैं। mRNA इन निर्देशों को नाभिक से साइटोप्लाज्म तक ले जाने का काम करता है। साइटोप्लाज्म में, राइबोसोम mRNA पर मौजूद कोड को पढ़ते हैं और एमिनो एसिड को जोड़कर एक विशिष्ट प्रोटीन बनाते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  23. CFS के अध्ययन में, “संभावित आनुवंशिक सुराग” (potential genetic clues) का पता लगाना क्यों महत्वपूर्ण है?

    • (a) केवल यह जानने के लिए कि रोग कैसे फैलता है
    • (b) रोग के अंतर्निहित कारणों को समझने और लक्षित उपचार विकसित करने के लिए
    • (c) केवल रोगी के परिवार के इतिहास का दस्तावेजीकरण करने के लिए
    • (d) रोग की घटनाओं को बढ़ाने के लिए

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आनुवंशिक सुरागों की पहचान रोग के अंतर्निहित जैविक तंत्र को समझने की कुंजी है। यह समझ व्यक्तिगत उपचारों और प्रभावी दवाओं के विकास की ओर ले जा सकती है।

    व्याख्या (Explanation): CFS जैसे जटिल रोगों में, आनुवंशिक सुरागों की पहचान करके, शोधकर्ता यह समझ सकते हैं कि कौन से जीन या आनुवंशिक मार्ग रोग के विकास या तीव्रता में योगदान करते हैं। इस ज्ञान का उपयोग तब नई दवाओं या उपचार रणनीतियों को विकसित करने के लिए किया जा सकता है जो सीधे इन अंतर्निहित तंत्रों को लक्षित करते हैं, जिससे रोगियों के लिए अधिक प्रभावी परिणाम प्राप्त होते हैं।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  24. शरीर के विभिन्न कार्यों को नियंत्रित करने वाले रासायनिक संदेशवाहक कौन से अणु हैं?

    • (a) एंजाइम (Enzymes)
    • (b) हार्मोन (Hormones)
    • (c) एंटीबॉडी (Antibodies)
    • (d) विटामिन (Vitamins)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): हार्मोन रासायनिक संदेशवाहक हैं जो रक्तप्रवाह द्वारा शरीर के विभिन्न हिस्सों में ले जाए जाते हैं, जहां वे विशिष्ट ऊतकों या अंगों पर कार्य करते हैं और शारीरिक प्रक्रियाओं को विनियमित करते हैं।

    व्याख्या (Explanation): हार्मोन, जो अंतःस्रावी ग्रंथियों द्वारा स्रावित होते हैं, शरीर के विभिन्न कार्यों, जैसे चयापचय, विकास, मूड और प्रजनन को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। CFS के अध्ययन में, हार्मोनल असंतुलन की भी जांच की जा सकती है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  25. CFS के अध्ययन में, “लक्षणों की गंभीरता” (severity of symptoms) का मूल्यांकन क्यों महत्वपूर्ण है?

    • (a) यह सुनिश्चित करने के लिए कि रोगी को ठीक होने के लिए अधिक दवाएं दी जाएं
    • (b) रोगी के दैनिक जीवन की गुणवत्ता और उपचार की प्रभावशीलता का आकलन करने के लिए
    • (c) आनुवंशिक अध्ययन के परिणामों को अनदेखा करने के लिए
    • (d) केवल यह देखने के लिए कि रोगी कितनी बार डॉक्टर को देखता है

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): लक्षणों की गंभीरता का मूल्यांकन रोग के व्यक्ति पर पड़ने वाले समग्र प्रभाव को समझने और विभिन्न उपचारों की प्रभावकारिता की तुलना करने के लिए महत्वपूर्ण है।

    व्याख्या (Explanation): CFS के रोगियों के लिए, लक्षणों की गंभीरता का आकलन करना यह समझने के लिए आवश्यक है कि रोग उनके दैनिक जीवन को कितना प्रभावित कर रहा है। यह जानकारी डॉक्टरों को सबसे उपयुक्त उपचार योजनाएं बनाने, उपचार की प्रभावशीलता की निगरानी करने और रोग प्रबंधन में सुधार करने में मदद करती है। आनुवंशिक अध्ययनों में, कुछ आनुवंशिक भिन्नताओं को लक्षणों की बढ़ी हुई गंभीरता से जोड़ा जा सकता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

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