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डायमंड पर दोगुना: सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न

डायमंड पर दोगुना: सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न

परिचय: प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता के लिए सामान्य विज्ञान एक महत्वपूर्ण स्तंभ है। भौतिकी, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के सिद्धांतों को समझना न केवल परीक्षा में अच्छे अंक लाने में मदद करता है, बल्कि हमारे आसपास की दुनिया को बेहतर ढंग से समझने में भी सहायक होता है। यह अभ्यास सेट विशेष रूप से आपको इन विषयों की गहरी समझ प्रदान करने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जो ‘Doubling Down on Diamond’ जैसे सामयिक संकेतों से प्रेरित है। आइए, अपनी विज्ञान की तैयारी को परखें और ज्ञान के इस सफर में आगे बढ़ें!


सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)

  1. हीरे की कठोरता का मुख्य कारण क्या है?

    • (a) आयनिक बंधन
    • (b) सहसंयोजक बंधन
    • (c) धात्विक बंधन
    • (d) वैन डेर वाल्स बल

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): क्रिस्टलीय ठोसों में परमाणुओं के बीच बंधन की प्रकृति उनकी भौतिक विशेषताओं को निर्धारित करती है।

    व्याख्या (Explanation): हीरा कार्बन परमाणुओं का एक नेटवर्क है जो प्रत्येक कार्बन परमाणु को अन्य चार कार्बन परमाणुओं से सहसंयोजक बंधनों (covalent bonds) द्वारा मजबूती से जोड़ा जाता है। यह त्रिविमीय (3D) सहसंयोजक नेटवर्क अत्यंत मजबूत होता है, जिसके कारण हीरा असाधारण रूप से कठोर होता है। आयनिक बंधन आयनों के बीच, धात्विक बंधन धातुओं में मुक्त इलेक्ट्रॉनों के कारण और वैन डेर वाल्स बल कमजोर अंतर-आणविक बल हैं, जो हीरे की कठोरता के लिए जिम्मेदार नहीं हैं।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  2. हीरा ऊष्मा और विद्युत का कुचालक क्यों होता है?

    • (a) इसमें आयनिक बंधन होते हैं।
    • (b) इसमें मुक्त इलेक्ट्रॉन नहीं होते हैं।
    • (c) इसमें अध्रुवीय सहसंयोजक बंधन होते हैं।
    • (d) इसके क्रिस्टल जालक बहुत सघन होते हैं।

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): विद्युत और ऊष्मा का प्रवाह इलेक्ट्रॉनों की गतिशीलता पर निर्भर करता है।

    व्याख्या (Explanation): विद्युत चालकता के लिए मुक्त इलेक्ट्रॉनों की उपस्थिति आवश्यक है। हीरे में, सभी संयोजी इलेक्ट्रॉन कार्बन परमाणुओं के बीच मजबूत सहसंयोजक बंधनों में बंधे होते हैं। कोई भी मुक्त इलेक्ट्रॉन उपलब्ध नहीं होता जो विद्युत धारा का संचालन कर सके। इसी प्रकार, ऊष्मा का संचालन मुख्य रूप से मुक्त इलेक्ट्रॉनों और जालक कंपन (phonons) द्वारा होता है। जबकि हीरे में उत्कृष्ट जालक कंपन होते हैं जो ऊष्मा चालन में योगदान करते हैं, फिर भी यह अन्य चालकों की तुलना में ऊष्मा का कुचालक माना जाता है क्योंकि इसमें मुक्त इलेक्ट्रॉनों की कमी होती है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  3. ग्रेफाइट (Graphite) और हीरा (Diamond) दोनों कार्बन के अपरूप (Allotropes) हैं। उनमें मुख्य संरचनात्मक अंतर क्या है?

    • (a) ग्रेफाइट में sp3 संकरण (hybridization) होता है, जबकि हीरे में sp2 संकरण होता है।
    • (b) ग्रेफाइट में sp2 संकरण होता है और परतों के बीच कमजोर वैन डेर वाल्स बल होते हैं, जबकि हीरे में sp3 संकरण होता है।
    • (c) ग्रेफाइट में आयनिक बंधन होते हैं, जबकि हीरे में सहसंयोजक बंधन होते हैं।
    • (d) ग्रेफाइट में कार्बन परमाणु एकल बंधों से जुड़े होते हैं, जबकि हीरे में दोहरे बंधों से।

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): कार्बन के अपरूपों की भौतिक और रासायनिक गुणधर्मों में भिन्नता उनके आणविक संरचना और बंधन प्रकार पर निर्भर करती है।

    व्याख्या (Explanation): हीरे में, प्रत्येक कार्बन परमाणु sp3 संकरित (hybridized) होता है और चार अन्य कार्बन परमाणुओं से चतुष्फलकीय (tetrahedral) रूप से जुड़ा होता है, जिससे एक कठोर त्रिविमीय नेटवर्क बनता है। इसके विपरीत, ग्रेफाइट में, प्रत्येक कार्बन परमाणु sp2 संकरित होता है और तीन अन्य कार्बन परमाणुओं से जुड़ा होता है, जिससे षट्कोणीय (hexagonal) परतें बनती हैं। इन परतों के बीच कमजोर वैन डेर वाल्स बल होते हैं, जो परतों को एक-दूसरे पर फिसलने की अनुमति देते हैं, जिससे ग्रेफाइट को चिकनाई और चालकता मिलती है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  4. प्रकाश हीरे से गुजरते समय अपने घटकों में क्यों बिखर जाता है (dispersion)?

    • (a) हीरे का अपवर्तनांक (refractive index) तरंग दैर्ध्य पर निर्भर करता है।
    • (b) हीरा प्रकाश को अवशोषित करता है।
    • (c) हीरे की सतह खुरदरी होती है।
    • (d) हीरे में मुक्त इलेक्ट्रॉन होते हैं।

    उत्तर: (a)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): प्रकाश का प्रकीर्णन (dispersion) किसी माध्यम के अपवर्तनांक की उसके तरंग दैर्ध्य पर निर्भरता के कारण होता है।

    व्याख्या (Explanation): हीरे का अपवर्तनांक प्रकाश की तरंग दैर्ध्य के साथ बदलता है, इस घटना को प्रकीर्णन (dispersion) कहा जाता है। जब सफेद प्रकाश (जिसमें विभिन्न तरंग दैर्ध्य के रंग होते हैं) हीरे में प्रवेश करता है, तो प्रत्येक रंग का प्रकाश थोड़े भिन्न कोण पर मुड़ता है क्योंकि हीरे का अपवर्तनांक प्रत्येक रंग के लिए थोड़ा अलग होता है। इससे सफेद प्रकाश अपने घटक रंगों (जैसे इंद्रधनुष के रंग) में बिखर जाता है, जिससे हीरे में ‘आग’ (fire) या चमक दिखाई देती है।

    अतः, सही उत्तर (a) है।

  5. हीरे को अत्यधिक उच्च ताप पर भी ठोस बनाए रखने वाला प्राथमिक कारण क्या है?

    • (a) दाब
    • (b) सहसंयोजक बंधनों की मजबूती
    • (c) आयनों की स्थितिज ऊर्जा
    • (d) इलेक्ट्रॉनों का सीमित संचलन

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): पदार्थों की भौतिक अवस्था (ठोस, द्रव, गैस) अंतरा-आणविक बलों की शक्ति पर निर्भर करती है।

    व्याख्या (Explanation): हीरे में, कार्बन परमाणु एक अत्यंत मजबूत और स्थिर त्रिविमीय सहसंयोजक नेटवर्क बनाते हैं। इन सहसंयोजक बंधनों को तोड़ने के लिए बहुत अधिक ऊर्जा की आवश्यकता होती है। इसलिए, उच्च तापमान पर भी, ये बंधन बरकरार रहते हैं, जिससे हीरा ठोस अवस्था में बना रहता है और इसका गलनांक (melting point) या वियोजन तापमान (decomposition temperature) बहुत अधिक होता है (लगभग 3550 °C)। दाब भौतिक अवस्था को प्रभावित कर सकता है, लेकिन बंधनों की अंतर्निहित मजबूती प्राथमिक कारण है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  6. कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) के आणविक सूत्र में कार्बन और ऑक्सीजन के बीच किस प्रकार का बंधन होता है?

    • (a) आयनिक बंधन
    • (b) सहसंयोजक बंधन
    • (c) धात्विक बंधन
    • (d) हाइड्रोजन बंधन

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): अधातु तत्वों के बीच बनने वाले रासायनिक बंधन सहसंयोजक होते हैं, जिनमें इलेक्ट्रॉनों की साझेदारी होती है।

    व्याख्या (Explanation): कार्बन और ऑक्सीजन दोनों अधातु तत्व हैं। CO2 अणु में, कार्बन परमाणु ऑक्सीजन परमाणुओं के साथ दोहरे सहसंयोजक बंधनों (double covalent bonds) द्वारा जुड़ा होता है। इन बंधनों में, कार्बन और ऑक्सीजन दोनों अपने संयोजी इलेक्ट्रॉनों को साझा करते हैं ताकि एक स्थिर अणु बन सके। आयनिक बंधन आमतौर पर धातु और अधातु के बीच बनते हैं, धात्विक बंधन धातुओं में होते हैं, और हाइड्रोजन बंधन हाइड्रोजन और उच्च विद्युतऋणात्मकता वाले परमाणु (जैसे N, O, F) के बीच विशेष प्रकार के आकर्षण होते हैं।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  7. हीरे को काटने और चमकाने के लिए आमतौर पर किस पदार्थ का उपयोग किया जाता है?

    • (a) सोडियम क्लोराइड (NaCl)
    • (b) एल्युमीनियम ऑक्साइड (Al2O3)
    • (c) सिलिकॉन कार्बाइड (SiC)
    • (d) उपरोक्त में से कोई नहीं

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): किसी पदार्थ को काटने या चमकाने के लिए, काटने वाले पदार्थ की कठोरता लक्ष्य पदार्थ से अधिक होनी चाहिए।

    व्याख्या (Explanation): हीरा सबसे कठोर प्राकृतिक पदार्थ है। इसलिए, इसे काटने या तराशने के लिए हीरे से भी कठोर या लगभग उतने ही कठोर पदार्थ की आवश्यकता होती है। सिलिकॉन कार्बाइड (SiC) एक अत्यंत कठोर यौगिक है और इसका उपयोग हीरे को काटने और चमकाने वाले औजारों में घर्षण (abrasive) के रूप में किया जाता है। एल्युमीनियम ऑक्साइड भी कठोर होता है लेकिन आमतौर पर हीरे के लिए पर्याप्त नहीं होता।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  8. कृत्रिम हीरा (synthetic diamond) बनाने के लिए उपयोग की जाने वाली मुख्य विधि कौन सी है?

    • (a) गैस चरण एपिटैक्सी (Gas Phase Epitaxy)
    • (b) उच्च दाब-उच्च तापमान (HPHT)
    • (c) रासायनिक वाष्प जमाव (CVD – Chemical Vapor Deposition)
    • (d) दोनों b और c

    उत्तर: (d)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): कृत्रिम हीरे बनाने के लिए विभिन्न औद्योगिक प्रक्रियाएं विकसित की गई हैं जो प्राकृतिक परिस्थितियों की नकल करती हैं।

    व्याख्या (Explanation): कृत्रिम या संश्लेषित हीरे मुख्य रूप से दो तरीकों से बनाए जाते हैं: उच्च दाब-उच्च तापमान (HPHT) विधि, जो पृथ्वी के गर्भ की स्थितियों की नकल करती है, और रासायनिक वाष्प जमाव (CVD) विधि, जिसमें एक हाइड्रोकार्बन गैस (जैसे मीथेन) का उपयोग किया जाता है। दोनों विधियाँ व्यावसायिक रूप से महत्वपूर्ण हैं।

    अतः, सही उत्तर (d) है।

  9. हीरे का उपयोग इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों में एक संभावित घटक के रूप में क्यों किया जा रहा है, विशेषकर उच्च-शक्ति वाले अनुप्रयोगों में?

    • (a) इसकी कम ऊष्मा चालकता
    • (b) इसकी उच्च तापीय चालकता और विद्युत इन्सुलेशन गुण
    • (c) इसकी नरम प्रकृति
    • (d) इसकी निम्न विद्युत चालकता

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): इलेक्ट्रॉनिक घटकों के लिए सामग्री का चुनाव उनकी तापीय और विद्युत गुणों पर निर्भर करता है।

    व्याख्या (Explanation): हीरे में असाधारण रूप से उच्च तापीय चालकता (thermal conductivity) होती है, जिसका अर्थ है कि यह बहुत कुशलता से गर्मी को दूर कर सकता है। यह इसे उच्च-शक्ति वाले इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों के लिए एक आदर्श हीट सिंक (heat sink) बनाता है, क्योंकि यह घटकों को ज़्यादा गरम होने से रोकता है। इसके अलावा, शुद्ध हीरा एक विद्युत इन्सुलेटर (electrical insulator) है, जो इसे सेमीकंडक्टर अनुप्रयोगों के लिए भी उपयोगी बनाता है जहां विद्युत अलगाव (electrical isolation) महत्वपूर्ण है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  10. कार्बन का कौन सा अपरूप बिजली का सबसे अच्छा संवाहक है?

    • (a) हीरा
    • (b) ग्रेफाइट
    • (c) फुलरीन (Fullerenes)
    • (d) चारकोल

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): विद्युत चालकता इलेक्ट्रॉनों की गतिशीलता से संबंधित है।

    व्याख्या (Explanation): ग्रेफाइट में, कार्बन परमाणु sp2 संकरित होते हैं और प्रत्येक परमाणु का एक अव्यवस्थित (delocalized) पाई इलेक्ट्रॉन होता है। ये अव्यवस्थित इलेक्ट्रॉन ग्रेफाइट की परतों के बीच स्वतंत्र रूप से घूम सकते हैं, जिससे यह बिजली का एक अच्छा संवाहक बन जाता है। हीरे में, सभी इलेक्ट्रॉन बंधों में बंधे होते हैं, इसलिए यह एक विद्युत इन्सुलेटर है। फुलरीन और चारकोल के गुण उनकी विशिष्ट संरचनाओं पर निर्भर करते हैं, लेकिन आमतौर पर ग्रेफाइट की चालकता उत्कृष्ट होती है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  11. मानव शरीर में सबसे बड़ी ग्रंथि कौन सी है?

    • (a) अग्न्याशय (Pancreas)
    • (b) थायरॉयड ग्रंथि (Thyroid gland)
    • (c) यकृत (Liver)
    • (d) अधिवृक्क ग्रंथि (Adrenal gland)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मानव शरीर में विभिन्न अंग विभिन्न कार्य करते हैं, और उनके आकार भिन्न होते हैं।

    व्याख्या (Explanation): यकृत (Liver) मानव शरीर में सबसे बड़ी आंतरिक ग्रंथि है। यह कई महत्वपूर्ण कार्य करता है, जिसमें पित्त का उत्पादन, चयापचय (metabolism) और विषहरण (detoxification) शामिल हैं। अग्न्याशय, थायरॉयड ग्रंथि और अधिवृक्क ग्रंथियां भी महत्वपूर्ण हैं, लेकिन आकार में यकृत से छोटी हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  12. प्रकाश संश्लेषण (Photosynthesis) की प्रक्रिया के दौरान पौधे किस गैस का उपभोग करते हैं?

    • (a) ऑक्सीजन (O2)
    • (b) नाइट्रोजन (N2)
    • (c) कार्बन डाइऑक्साइड (CO2)
    • (d) हाइड्रोजन (H2)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): प्रकाश संश्लेषण वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा पौधे सूर्य के प्रकाश की ऊर्जा का उपयोग करके जल और कार्बन डाइऑक्साइड से अपना भोजन (ग्लूकोज) बनाते हैं।

    व्याख्या (Explanation): प्रकाश संश्लेषण के लिए आवश्यक मुख्य सामग्री कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) है, जिसे पौधे हवा से लेते हैं। इस CO2 का उपयोग क्लोरोफिल की उपस्थिति में सूर्य के प्रकाश की ऊर्जा से ग्लूकोज (C6H12O6) और ऑक्सीजन (O2) बनाने के लिए किया जाता है। ऑक्सीजन एक उप-उत्पाद के रूप में जारी होती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  13. मानव रक्त का pH मान लगभग कितना होता है?

    • (a) 6.5
    • (b) 7.4
    • (c) 8.0
    • (d) 5.0

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): pH मान किसी विलयन की अम्लता या क्षारीयता को दर्शाता है।

    व्याख्या (Explanation): मानव रक्त थोड़ा क्षारीय (alkaline) होता है। इसका सामान्य pH मान 7.35 से 7.45 के बीच होता है, जो औसतन 7.4 है। यह एक बहुत संकीर्ण सीमा है, और रक्त की pH को बनाए रखने के लिए शरीर में बफर सिस्टम (buffer systems) होते हैं।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  14. ऊर्जा का एस.आई. मात्रक (SI unit) क्या है?

    • (a) वॉट (Watt)
    • (b) जूल (Joule)
    • (c) पास्कल (Pascal)
    • (d) न्यूटन (Newton)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): भौतिक राशियों को मापने के लिए मानक इकाइयों का उपयोग किया जाता है।

    व्याख्या (Explanation): ऊर्जा (Energy) वह क्षमता है जो कार्य करने के लिए आवश्यक होती है। एस.आई. प्रणाली में ऊर्जा का मात्रक जूल (Joule) है। वॉट (Watt) शक्ति (power) का मात्रक है (ऊर्जा प्रति इकाई समय), पास्कल (Pascal) दाब (pressure) का मात्रक है, और न्यूटन (Newton) बल (force) का मात्रक है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  15. मानव शरीर में सबसे छोटी हड्डी कौन सी है?

    • (a) पटेला (Patella)
    • (b) फीमर (Femur)
    • (c) स्टेप्स (Stapes)
    • (d) टिबिया (Tibia)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मानव कंकाल प्रणाली विभिन्न आकारों की हड्डियों से बनी होती है, जिनमें से प्रत्येक का विशिष्ट कार्य होता है।

    व्याख्या (Explanation): मानव शरीर में सबसे छोटी हड्डी मध्य कान में स्थित ‘स्टेप्स’ (Stapes) है। यह ध्वनि के कंपन को आंतरिक कान तक पहुंचाती है। पटेला घुटने की हड्डी है, फीमर जांघ की सबसे लंबी हड्डी है, और टिबिया पिंडली की हड्डी है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  16. किसी वस्तु की गतिज ऊर्जा (Kinetic Energy) को दोगुना करने के लिए, उसके वेग (velocity) को कितना बदलना होगा?

    • (a) दोगुना
    • (b) चौगुना
    • (c) √2 गुना
    • (d) आधा

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): गतिज ऊर्जा (KE) का सूत्र KE = 1/2 mv^2 है, जहां m द्रव्यमान (mass) और v वेग है।

    व्याख्या (Explanation): यदि हम चाहते हैं कि KE दोगुनी हो जाए, तो हमें 1/2 m(v’)^2 = 2 * (1/2 mv^2) करना होगा। इससे (v’)^2 = 2v^2 प्राप्त होता है, जिसका अर्थ है v’ = √2v। इसलिए, गतिज ऊर्जा को दोगुना करने के लिए, वेग को √2 (लगभग 1.414) गुना बढ़ाना होगा।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  17. एक परमाणु में न्यूट्रॉन की खोज किसने की थी?

    • (a) जे.जे. थॉमसन (J.J. Thomson)
    • (b) अर्नेस्ट रदरफोर्ड (Ernest Rutherford)
    • (c) जेम्स चैडविक (James Chadwick)
    • (d) नील्स बोर (Niels Bohr)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): परमाणु की संरचना को समझने के लिए विभिन्न वैज्ञानिकों ने महत्वपूर्ण योगदान दिया है, जिसमें विभिन्न कणों की खोज शामिल है।

    व्याख्या (Explanation): जेम्स चैडविक ने 1932 में न्यूट्रॉन की खोज की थी, जो परमाणु के नाभिक में पाया जाने वाला एक अविद्युत आवेशित (uncharged) कण है। जे.जे. थॉमसन ने इलेक्ट्रॉन की खोज की थी, अर्नेस्ट रदरफोर्ड ने परमाणु के नाभिक की खोज की थी (अपने अल्फा कण प्रकीर्णन प्रयोग से), और नील्स बोर ने परमाणु की बोहर मॉडल (Bohr model) प्रस्तुत किया था।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  18. पौधों की कोशिकाओं में कोशिका भित्ति (cell wall) मुख्य रूप से किससे बनी होती है?

    • (a) प्रोटीन (Protein)
    • (b) लिपिड (Lipid)
    • (c) सेलूलोज़ (Cellulose)
    • (d) स्टार्च (Starch)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): कोशिका भित्ति पौधों की कोशिकाओं को संरचनात्मक सहायता और सुरक्षा प्रदान करती है।

    व्याख्या (Explanation): पौधों की कोशिका भित्ति मुख्य रूप से सेलूलोज़ से बनी होती है, जो एक जटिल कार्बोहाइड्रेट है। यह सेलूलोज़ पौधे की कोशिका को एक निश्चित आकार और कठोरता प्रदान करता है। जानवरों की कोशिकाओं में कोशिका भित्ति नहीं होती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  19. साबुन (Soap) का मुख्य कार्य क्या है, विशेष रूप से गंदगी को हटाने में?

    • (a) यह गंदगी को घोलता है।
    • (b) यह गंदगी को वाष्पीकृत करता है।
    • (c) यह गंदगी को पायस (emulsion) में बदलकर हटाता है।
    • (d) यह गंदगी को उत्प्रेरित (catalyze) करता है।

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): साबुन की रासायनिक संरचना इसे पानी और तेल (या ग्रीस) दोनों के साथ जुड़ने की अनुमति देती है।

    व्याख्या (Explanation): साबुन में एक हाइड्रोफिलिक (पानी से प्यार करने वाला) सिर और एक हाइड्रोफोबिक (पानी से डरने वाला) पूंछ होती है। हाइड्रोफोबिक पूंछ गंदगी (जो अक्सर तैलीय होती है) से जुड़ जाती है, और हाइड्रोफिलिक सिर पानी से जुड़ जाता है। इससे गंदगी के चारों ओर मिसेल (micelles) बनते हैं, जो पानी में फैलने वाले छोटे कण होते हैं। यह प्रक्रिया, जिसे पायस (emulsification) कहते हैं, गंदगी को सतह से उठाने और धोने में मदद करती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  20. मानव शरीर में रक्त के थक्के जमने (blood clotting) के लिए कौन सा विटामिन जिम्मेदार है?

    • (a) विटामिन ए (Vitamin A)
    • (b) विटामिन सी (Vitamin C)
    • (c) विटामिन डी (Vitamin D)
    • (d) विटामिन के (Vitamin K)

    उत्तर: (d)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): रक्त के थक्के जमना एक जटिल प्रक्रिया है जिसमें कई प्रोटीन और विटामिन शामिल होते हैं।

    व्याख्या (Explanation): विटामिन के (Vitamin K) यकृत में कुछ रक्त जमावट कारकों (blood clotting factors) के संश्लेषण के लिए आवश्यक है। इन कारकों के बिना, रक्त ठीक से नहीं जम पाएगा, जिससे चोट लगने पर अत्यधिक रक्तस्राव हो सकता है। विटामिन ए दृष्टि और प्रतिरक्षा प्रणाली के लिए, विटामिन सी कोलेजन संश्लेषण और एंटीऑक्सीडेंट के रूप में, और विटामिन डी कैल्शियम अवशोषण के लिए महत्वपूर्ण हैं।

    अतः, सही उत्तर (d) है।

  21. ध्वनि की गति (speed of sound) किस माध्यम में सबसे अधिक होती है?

    • (a) हवा (Air)
    • (b) पानी (Water)
    • (c) लोहा (Iron)
    • (d) निर्वात (Vacuum)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ध्वनि तरंगें माध्यम के कणों के कंपन द्वारा फैलती हैं, और माध्यम की सघनता और लोच (elasticity) ध्वनि की गति को प्रभावित करते हैं।

    व्याख्या (Explanation): ध्वनि को फैलने के लिए एक माध्यम की आवश्यकता होती है। निर्वात में कोई माध्यम नहीं होता, इसलिए ध्वनि निर्वात में नहीं फैल सकती। ध्वनि की गति माध्यम की सघनता (density) और लोच (elasticity) पर निर्भर करती है। सामान्य परिस्थितियों में, ठोस पदार्थों में ध्वनि की गति तरल पदार्थों की तुलना में अधिक होती है, और तरल पदार्थों में गैसों की तुलना में अधिक होती है। लोहा एक ठोस है, पानी एक तरल है, और हवा एक गैस है। इसलिए, ध्वनि की गति लोहे में सबसे अधिक होती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  22. मनुष्य के पाचन तंत्र में, भोजन का अधिकतम अवशोषण (absorption) कहाँ होता है?

    • (a) आमाशय (Stomach)
    • (b) छोटी आंत (Small intestine)
    • (c) बड़ी आंत (Large intestine)
    • (d) ग्रासनली (Esophagus)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): पाचन तंत्र वह अंग प्रणाली है जो भोजन को पचाती है और पोषक तत्वों को अवशोषित करती है।

    व्याख्या (Explanation): छोटी आंत पाचन और पोषक तत्वों के अवशोषण का मुख्य स्थल है। इसमें मौजूद विली (villi) और माइक्रोविली (microvilli) अवशोषण के लिए सतह क्षेत्र को बहुत बढ़ा देते हैं। अधिकांश कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन, वसा, विटामिन, खनिज और जल का अवशोषण यहीं होता है। आमाशय भोजन को मिलाता है और प्रोटीन का आंशिक पाचन करता है, जबकि बड़ी आंत मुख्य रूप से जल अवशोषण और अपशिष्ट निष्कासन में भूमिका निभाती है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  23. किसी पदार्थ का कौन सा गुण उसे विद्युत का सुचालक (conductor) बनाता है?

    • (a) मुक्त इलेक्ट्रॉनों या आयनों की उपस्थिति
    • (b) मजबूत अंतर-आणविक बल
    • (c) अचालक (insulating) क्रिस्टल संरचना
    • (d) प्रोटॉन की अधिक संख्या

    उत्तर: (a)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): विद्युत चालकता आवेश वाहकों (charge carriers) की गति पर निर्भर करती है।

    व्याख्या (Explanation): किसी पदार्थ में विद्युत धारा प्रवाहित होने के लिए आवेश वाहकों का स्वतंत्र रूप से घूमना आवश्यक है। धातुओं में, ये मुक्त इलेक्ट्रॉन होते हैं जो परमाणु नाभिक से शिथिल रूप से बंधे होते हैं। कुछ आयनिक यौगिकों के पिघले हुए या जलीय घोल में, मुक्त आयन आवेशों का संचालन कर सकते हैं। अचालकों में, आवेश वाहक कसकर बंधे होते हैं और स्वतंत्र रूप से नहीं घूम सकते।

    अतः, सही उत्तर (a) है।

  24. मानव हृदय में कितने कक्ष (chambers) होते हैं?

    • (a) दो
    • (b) तीन
    • (c) चार
    • (d) पाँच

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मानव हृदय एक पंप के रूप में कार्य करता है, जो ऑक्सीजन युक्त रक्त को पूरे शरीर में और ऑक्सीजन रहित रक्त को फेफड़ों में पंप करता है।

    व्याख्या (Explanation): मानव हृदय में चार कक्ष होते हैं: दो ऊपरी अलिंद (atria) और दो निचले निलय (ventricles)। दायाँ अलिंद ऑक्सीजन रहित रक्त प्राप्त करता है और इसे दाएँ निलय में पंप करता है। दायाँ निलय रक्त को फेफड़ों में पंप करता है। बायाँ अलिंद ऑक्सीजन युक्त रक्त प्राप्त करता है और इसे बाएँ निलय में पंप करता है। बायाँ निलय ऑक्सीजन युक्त रक्त को पूरे शरीर में पंप करता है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  25. धातुओं का कौन सा गुण उन्हें तार (wires) बनाने के लिए उपयुक्त बनाता है?

    • (a) आघातवर्धनीयता (Malleability)
    • (b) तन्यता (Ductility)
    • (c) उच्च गलनांक (High melting point)
    • (d) विद्युत चालकता (Electrical conductivity)

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): धातुओं के भौतिक गुणधर्म उनकी आणविक संरचना और बंधन प्रकार से निर्धारित होते हैं।

    व्याख्या (Explanation): तन्यता (Ductility) वह गुण है जिसके कारण किसी धातु को बिना टूटे तार के रूप में खींचा जा सकता है। आघातवर्धनीयता (Malleability) वह गुण है जिसके कारण धातु को बिना टूटे पीटकर पतली चादरों में बदला जा सकता है। विद्युत चालकता और उच्च गलनांक धातुओं के महत्वपूर्ण गुण हैं, लेकिन तार बनाने की क्षमता सीधे तन्यता से संबंधित है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

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