AI और इम्यून सेल: प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न
परिचय: आज के प्रतिस्पर्धी परीक्षा परिदृश्य में, सामान्य विज्ञान के सवालों पर पकड़ बनाना सफलता की कुंजी है। यह खंड आपको अत्याधुनिक वैज्ञानिक विकासों जैसे कि AI द्वारा इम्यून कोशिकाओं को कैंसर के इलाज के लिए तैयार करना, से जुड़े भौतिकी, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तरी के माध्यम से अपनी तैयारी को परखने में मदद करेगा। आइए, इन रोचक और ज्ञानवर्धक प्रश्नों के साथ अपने सामान्य विज्ञान के ज्ञान को बढ़ाएं!
सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)
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AI किस प्रकार प्रतिरक्षा कोशिकाओं (immune cells) को लक्षित कैंसर उपचार के लिए विशिष्ट बनाता है?
- (a) AI सीधे कोशिकाओं को संशोधित करता है।
- (b) AI नई दवाओं की खोज में मदद करता है।
- (c) AI कैंसर कोशिकाओं की पहचान और उन्हें मारने के लिए इम्यून कोशिकाओं को पुनः प्रोग्राम करता है।
- (d) AI रोगी के शरीर में नए इम्यून सेल बनाता है।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): टार्गेटेड थेरेपी और इम्यूनोथेरेपी का सिद्धांत।
व्याख्या (Explanation): AI का उपयोग करके, शोधकर्ता इम्यून कोशिकाओं (जैसे T-cells) को इस तरह से डिजाइन या प्रोग्राम कर सकते हैं कि वे विशेष रूप से कैंसर कोशिकाओं की सतह पर मौजूद एंटीजन को पहचान सकें। यह पुनः प्रोग्रामिंग इम्यून कोशिकाओं को कैंसर कोशिकाओं पर हमला करने और उन्हें नष्ट करने में सक्षम बनाती है, जिससे वे ‘प्रिसिजन कैंसर किलर्स’ बन जाती हैं। AI बड़ी मात्रा में डेटा का विश्लेषण करके इस प्रक्रिया को तेज करता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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कैंसर कोशिकाओं को नष्ट करने के लिए उपयोग की जाने वाली इम्यूनोथेरेपी का एक सामान्य उदाहरण क्या है?
- (a) एंटीबायोटिक्स
- (b) कीमोथेरेपी
- (c) CAR T-cell थेरेपी
- (d) रेडिएशन थेरेपी
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): इम्यूनोथेरेपी के प्रकार।
व्याख्या (Explanation): CAR T-cell (Chimeric Antigen Receptor T-cell) थेरेपी एक प्रकार की इम्यूनोथेरेपी है जहाँ रोगी की T-cells को लैब में जेनेटिकली इंजीनियर किया जाता है ताकि वे कैंसर कोशिकाओं की सतह पर विशिष्ट प्रोटीन (एंटीजन) को पहचान सकें और उन पर हमला कर सकें। AI इस इंजीनियरिंग प्रक्रिया को अधिक कुशल बनाने में मदद कर सकता है। एंटीबायोटिक्स बैक्टीरिया से लड़ते हैं, कीमोथेरेपी और रेडिएशन थेरेपी सीधे कैंसर कोशिकाओं को मारते हैं, लेकिन CAR T-cell थेरेपी इम्यून सिस्टम का उपयोग करती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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“प्रिसिजन कैंसर किलर्स” का क्या अर्थ है?
- (a) ऐसी कोशिकाएँ जो कैंसर को अनियंत्रित रूप से मारती हैं।
- (b) ऐसी कोशिकाएँ जो केवल कैंसर कोशिकाओं को निशाना बनाती हैं और स्वस्थ कोशिकाओं को कम नुकसान पहुँचाती हैं।
- (c) ऐसी दवाएँ जो हर प्रकार के कैंसर को मार देती हैं।
- (d) ऐसी तकनीक जो तेजी से कैंसर का निदान करती है।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): लक्षित चिकित्सा (Targeted Therapy) की अवधारणा।
व्याख्या (Explanation): ‘प्रिसिजन’ या ‘सटीक’ का अर्थ है कि उपचार बहुत विशिष्ट है। जब इम्यून कोशिकाओं को “प्रिसिजन कैंसर किलर्स” के रूप में वर्णित किया जाता है, तो इसका मतलब है कि वे विशेष रूप से कैंसर कोशिकाओं की पहचान करने और उन्हें नष्ट करने के लिए डिज़ाइन की गई हैं, जबकि सामान्य, स्वस्थ कोशिकाओं को महत्वपूर्ण नुकसान पहुँचाने से बचती हैं। यह पारंपरिक कीमोथेरेपी के विपरीत है, जो तेजी से विभाजित होने वाली सभी कोशिकाओं (कैंसर और स्वस्थ दोनों) को प्रभावित कर सकती है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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जैविक दृष्टिकोण से, इम्यून कोशिकाएं मुख्य रूप से किस प्रकार के सूक्ष्मजीवों से शरीर की रक्षा करती हैं?
- (a) केवल वायरस
- (b) केवल बैक्टीरिया
- (c) वायरस, बैक्टीरिया, कवक और परजीवी
- (d) केवल कैंसर कोशिकाएँ
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रतिरक्षा प्रणाली (Immune System) की कार्यप्रणाली।
व्याख्या (Explanation): इम्यून सिस्टम, विशेष रूप से विभिन्न प्रकार की इम्यून कोशिकाएँ, शरीर को केवल बैक्टीरिया और वायरस से ही नहीं, बल्कि कवक (fungi), परजीवी (parasites) और कैंसर कोशिकाओं जैसे अन्य रोगजनकों (pathogens) से भी बचाने के लिए जिम्मेदार होती हैं। AI-आधारित थेरेपी कैंसर कोशिकाओं को लक्षित करने के लिए इम्यून कोशिकाओं को अधिक प्रभावी ढंग से प्रशिक्षित करने पर केंद्रित है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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AI द्वारा इम्यून कोशिकाओं को पुनः प्रोग्राम करने में जेनेटिक इंजीनियरिंग की क्या भूमिका हो सकती है?
- (a) इम्यून कोशिकाओं की संख्या बढ़ाना।
- (b) इम्यून कोशिकाओं में विशिष्ट कैंसर एंटीजन को पहचानने के लिए रिसेप्टर्स जोड़ना।
- (c) इम्यून कोशिकाओं को विकिरण के प्रति संवेदनशील बनाना।
- (d) इम्यून कोशिकाओं की गतिशीलता को कम करना।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): जेनेटिक इंजीनियरिंग और इम्यूनोथेरेपी।
व्याख्या (Explanation): जेनेटिक इंजीनियरिंग का उपयोग करके, इम्यून कोशिकाओं (जैसे T-cells) के DNA में बदलाव किया जा सकता है। CAR T-cell थेरेपी में, एक काइमेरिक एंटीजन रिसेप्टर (CAR) जीन को T-cell में डाला जाता है। यह CAR, T-cell को कैंसर कोशिका की सतह पर एक विशिष्ट एंटीजन से बाँधने में सक्षम बनाता है, जिससे T-cell कैंसर कोशिका को पहचान कर उस पर हमला कर पाती है। AI इस प्रक्रिया को और अधिक सटीक बनाने में सहायता कर सकता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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निम्नलिखित में से कौन सा एक प्रकार का कैंसर सेल मार्कर (cancer cell marker) है जिसे AI-संचालित इम्यूनोथेरेपी द्वारा लक्षित किया जा सकता है?
- (a) हीमोग्लोबिन
- (b) इंसुलिन
- (c) CD19 (एक प्रकार का एंटीजन)
- (d) एड्रेनालाईन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कैंसर एंटीजन और इम्यूनोथेरेपी का लक्ष्य।
व्याख्या (Explanation): CD19 एक प्रोटीन (एंटीजन) है जो बी-सेल ल्यूकेमिया और लिंफोमा जैसी कुछ प्रकार की कैंसर कोशिकाओं की सतह पर बड़ी मात्रा में पाया जाता है। CAR T-cell थेरेपी का एक सामान्य लक्ष्य CD19-पॉजिटिव कैंसर कोशिकाओं को पहचानना और उन पर हमला करना है। AI इन जैसे विशिष्ट मार्करों की पहचान करने और उन्हें लक्षित करने के लिए इम्यून कोशिकाओं को प्रशिक्षित करने में सहायता कर सकता है। हीमोग्लोबिन रक्त में ऑक्सीजन ले जाने वाला प्रोटीन है, इंसुलिन रक्त शर्करा को नियंत्रित करता है, और एड्रेनालाईन एक हार्मोन है, ये कैंसर मार्कर नहीं हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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जैविक तंत्र में, ‘रिसेप्टर’ (receptor) का क्या कार्य होता है?
- (a) ऊर्जा का उत्पादन करना।
- (b) कोशिका के भीतर संकेत या संदेश प्राप्त करना।
- (c) कोशिका से अपशिष्ट पदार्थ बाहर निकालना।
- (d) कोशिका को विभाजन के लिए प्रेरित करना।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कोशिका सिग्नलिंग (Cell Signaling)।
व्याख्या (Explanation): रिसेप्टर्स कोशिका की सतह पर या कोशिका के अंदर स्थित प्रोटीन होते हैं जो विशिष्ट अणुओं (जैसे हार्मोन, न्यूरोट्रांसमीटर, या एंटीजन) को बाँधकर संकेत प्राप्त करते हैं। यह बंधन कोशिका के अंदर एक प्रतिक्रिया शुरू करता है। CAR T-cells में, CAR ही एक प्रकार का कृत्रिम रिसेप्टर है जो कैंसर एंटीजन से बंधता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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‘एंटीजन’ (antigen) क्या होता है?
- (a) एक प्रकार का एंजाइम जो पाचन में मदद करता है।
- (b) एक अणु जो प्रतिरक्षा प्रणाली की प्रतिक्रिया को ट्रिगर कर सकता है।
- (c) कोशिका झिल्ली का एक घटक।
- (d) एक प्रकार का विषाक्त पदार्थ।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): इम्यूनोलॉजी (Immunology) के मूल सिद्धांत।
व्याख्या (Explanation): एंटीजन कोई भी पदार्थ (अक्सर प्रोटीन या पॉलीसैकेराइड) होता है जो शरीर में प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया को उत्पन्न कर सकता है, जैसे कि एंटीबॉडी का उत्पादन। कैंसर कोशिकाओं की सतह पर पाए जाने वाले असामान्य प्रोटीन उन्हें इम्यून सिस्टम के लिए एंटीजन के रूप में प्रस्तुत कर सकते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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AI द्वारा “कुछ ही हफ्तों” में इम्यून कोशिकाओं को तैयार करने का क्या तात्पर्य है?
- (a) यह पारंपरिक तरीकों की तुलना में काफी तेज प्रक्रिया है।
- (b) यह प्रक्रिया केवल 3-4 सप्ताह लेती है।
- (c) यह बताता है कि AI से पहले इस प्रक्रिया में वर्षों लगते थे।
- (d) यह केवल प्रयोगशाला में लगने वाले समय को दर्शाता है।
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): बायोमेडिकल रिसर्च में समय-सीमा का महत्व।
व्याख्या (Explanation): AI का उपयोग जटिल जैविक प्रक्रियाओं को तेज करने के लिए किया जाता है। “कुछ ही हफ्तों” का उल्लेख इंगित करता है कि AI का एकीकरण इम्यून कोशिकाओं को प्रभावी उपचार के लिए तैयार करने की प्रक्रिया को पारंपरिक, मैन्युअल विधियों की तुलना में काफी तेज कर देता है, जो शायद महीनों या उससे भी अधिक समय ले सकती थीं। यह AI की दक्षता को दर्शाता है।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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निम्नलिखित में से कौन सी तकनीक AI को इम्यून कोशिकाओं को कैंसर के खिलाफ प्रशिक्षित करने में मदद कर सकती है?
- (a) CRISPR-Cas9
- (b) PCR (Polymerase Chain Reaction)
- (c) DNA Sequencer
- (d) उपरोक्त सभी
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): आधुनिक आणविक जीवविज्ञान (Molecular Biology) की तकनीकें।
व्याख्या (Explanation): CRISPR-Cas9 जेनेटिक एडिटिंग के लिए एक शक्तिशाली उपकरण है, जिसका उपयोग इम्यून कोशिकाओं के DNA को संशोधित करने के लिए किया जा सकता है। PCR का उपयोग DNA की प्रतियों को बढ़ाने के लिए होता है, जो पहचान या क्लोनिंग के लिए आवश्यक हो सकता है। DNA Sequencer DNA के अनुक्रम को निर्धारित करने में मदद करता है, जो कैंसर कोशिकाओं पर विशिष्ट मार्करों की पहचान के लिए महत्वपूर्ण है। AI इन तकनीकों से प्राप्त डेटा का विश्लेषण करके और प्रक्रिया को निर्देशित करके मदद कर सकता है। इसलिए, ये सभी अप्रत्यक्ष रूप से AI की मदद कर सकते हैं।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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सेलुलर इम्यूनोलॉजी में, ‘साइटोकिन्स’ (cytokines) क्या भूमिका निभाते हैं?
- (a) ये सीधे कैंसर कोशिकाओं को मारते हैं।
- (b) ये इम्यून कोशिकाओं के बीच संचार और समन्वय स्थापित करते हैं।
- (c) ये DNA की प्रतिकृति में सहायता करते हैं।
- (d) ये रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करते हैं।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): इम्यून सेल कम्युनिकेशन।
व्याख्या (Explanation): साइटोकिन्स छोटे प्रोटीन होते हैं जो इम्यून कोशिकाओं के बीच सिग्नलिंग अणुओं के रूप में कार्य करते हैं। वे प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया को बढ़ाने, नियंत्रित करने और समन्वित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, जैसे कि अन्य इम्यून कोशिकाओं को साइट पर बुलाना या उनकी सक्रियता को बढ़ाना। AI-संचालित उपचार इन साइटोकिन्स के उत्पादन को अनुकूलित करने में भी शामिल हो सकता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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AI का उपयोग करके इम्यून कोशिकाओं को ‘प्रिसिजन किलर’ बनाने के लिए सबसे महत्वपूर्ण भौतिक या रासायनिक गुण क्या हो सकता है जिसे संशोधित किया जा सके?
- (a) कोशिका का आकार
- (b) कोशिका झिल्ली की पारगम्यता (permeability)
- (c) विशिष्ट रिसेप्टर्स की अभिव्यक्ति (expression of specific receptors)
- (d) कोशिका का पीएच (pH)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): सेल सरफेस रिसेप्टर्स की विशिष्टता।
व्याख्या (Explanation): किसी भी सेल को ‘प्रिसिजन किलर’ बनाने का सबसे प्रभावी तरीका यह सुनिश्चित करना है कि वह सही लक्ष्य को पहचान सके। इम्यून कोशिकाओं के मामले में, यह उनके सतह पर मौजूद विशिष्ट रिसेप्टर्स के माध्यम से प्राप्त किया जाता है। AI इन रिसेप्टर्स के प्रकार और संख्या को अनुकूलित करने में मदद कर सकता है ताकि वे केवल कैंसर कोशिकाओं पर मौजूद एंटीजन से ही मजबूती से बंध सकें। कोशिका का आकार, झिल्ली की पारगम्यता या पीएच सीधे लक्ष्य पहचान की विशिष्टता को उतना प्रभावित नहीं करते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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कैंसर के इलाज में, ‘ट्यूमर माइक्रोएन्वायरमेंट’ (tumor microenvironment) में कौन से कारक भूमिका निभा सकते हैं?
- (a) केवल कैंसर कोशिकाएँ
- (b) कैंसर कोशिकाएँ, इम्यून कोशिकाएँ, रक्त वाहिकाएँ और संयोजी ऊतक
- (c) केवल रक्त वाहिकाएँ
- (d) केवल इम्यून कोशिकाएँ
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): ऑन्कोलॉजी (Oncology) और ट्यूमर बायोलॉजी।
व्याख्या (Explanation): ट्यूमर माइक्रोएन्वायरमेंट वह जटिल पारिस्थितिकी तंत्र है जिसमें ट्यूमर मौजूद होता है। इसमें कैंसर कोशिकाओं के अलावा, विभिन्न प्रकार की इम्यून कोशिकाएँ (जो ट्यूमर को दबा सकती हैं या उससे लड़ सकती हैं), ट्यूमर के विकास के लिए आवश्यक नई रक्त वाहिकाएँ (angiogenesis), और विभिन्न प्रकार के संयोजी ऊतक (connective tissues) शामिल होते हैं। AI इन सभी घटकों के बीच की परस्पर क्रिया को समझने और लक्षित करने में मदद कर सकता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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निम्नलिखित में से कौन सा रसायन/जैविक अणु कोशिका-कोशिका संचार (cell-to-cell communication) में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, जिसे AI-संचालित उपचारों में बढ़ाया या बदला जा सकता है?
- (a) ग्लूकोज
- (b) सोडियम क्लोराइड
- (c) एंटीबॉडी
- (d) ATP (Adenosine Triphosphate)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): इम्यूनोकेमिस्ट्री (Immunochemistry)।
व्याख्या (Explanation): एंटीबॉडीज, जिन्हें इम्यून सिस्टम द्वारा निर्मित किया जाता है, विशिष्ट एंटीजन (जैसे कैंसर कोशिकाओं पर) से बंध कर उन्हें चिह्नित कर सकते हैं या बेअसर कर सकते हैं। CAR T-cells में, कृत्रिम रूप से बनाए गए CARs भी एंटीबॉडी के समान कार्य करते हैं। AI-संचालित इम्यूनोथेरेपी में, इन एंटीबॉडी-जैसे रिसेप्टर्स को डिजाइन और अनुकूलित किया जा सकता है ताकि वे कैंसर कोशिकाओं को अधिक प्रभावी ढंग से पहचान सकें। ग्लूकोज ऊर्जा का स्रोत है, सोडियम क्लोराइड एक नमक है, और ATP कोशिका का ऊर्जा अणु है, ये सीधे सेल-टू-सेल पहचान में प्रमुख भूमिका नहीं निभाते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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एक ‘बायोमार्कर’ (biomarker) क्या है?
- (a) कोशिका के अंदर का एक आंतरिक अंग।
- (b) एक मापने योग्य संकेतक जो किसी विशेष स्थिति या बीमारी की उपस्थिति या गंभीरता को इंगित करता है।
- (c) एक प्रकार का एंजाइम जो कोशिका झिल्ली में पाया जाता है।
- (d) वह प्रक्रिया जिसके द्वारा कोशिकाएं भोजन का सेवन करती हैं।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मेडिकल डायग्नोस्टिक्स (Medical Diagnostics)।
व्याख्या (Explanation): बायोमार्कर कोई भी ऐसा पदार्थ हो सकता है जिसे शरीर में मापा जा सके, जैसे कि रक्त में प्रोटीन का स्तर, जीन उत्परिवर्तन, या कोशिकाओं की सतह पर एंटीजन की उपस्थिति। ये किसी बीमारी (जैसे कैंसर) के निदान, पूर्वानुमान (prognosis) या उपचार की प्रतिक्रिया का आकलन करने में मदद करते हैं। AI, बायोमार्कर की पहचान और व्याख्या करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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‘जीनोमिक्स’ (genomics) का अध्ययन किस पर केंद्रित है?
- (a) प्रोटीन की संरचना
- (b) कार्बोहाइड्रेट का चयापचय
- (c) एक जीव के जीनोम (DNA) का अध्ययन
- (d) तंत्रिका तंत्र की कार्यप्रणाली
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): आणविक जीवविज्ञान (Molecular Biology)।
व्याख्या (Explanation): जीनोमिक्स एक जीव के संपूर्ण आनुवंशिक पदार्थ, यानी उसके जीनोम (DNA) का अध्ययन है। इसमें सभी जीनों की संरचना, कार्य, विनियमन, और वंशानुक्रम का अध्ययन शामिल है। AI का उपयोग जीनोमिक डेटा का विश्लेषण करके कैंसर कोशिकाओं में उत्परिवर्तन (mutations) की पहचान करने और तदनुसार इम्यून कोशिकाओं को प्रशिक्षित करने के लिए किया जा सकता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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जब AI इम्यून कोशिकाओं को “सक्रिय” (activate) करता है, तो इसका क्या मतलब हो सकता है?
- (a) उन्हें आराम की स्थिति में लाना।
- (b) उन्हें कैंसर कोशिकाओं पर हमला करने के लिए अधिक कुशल और आक्रामक बनाना।
- (c) उनकी संख्या को कम करना।
- (d) उन्हें शरीर से बाहर निकालना।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): इम्यून सेल फंक्शन।
व्याख्या (Explanation): इम्यून कोशिकाओं का सक्रियण उन्हें युद्ध के लिए तैयार अवस्था में लाता है। AI-संचालित उपचार में, सक्रियण का अर्थ है इम्यून कोशिकाओं को इस तरह से संशोधित करना या निर्देशित करना कि वे कैंसर कोशिकाओं को अधिक प्रभावी ढंग से पहचानें, उनसे बंधें और उन्हें नष्ट करें। यह सक्रियण अक्सर विशिष्ट सिग्नलिंग पाथवे को बढ़ाकर या कोशिका की बाहरी सतह पर रिसेप्टर्स को बदलकर प्राप्त किया जाता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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इलेक्ट्रोमैग्नेटिज्म (Electromagnetism) के संदर्भ में, AI-संचालित चिकित्सा में अप्रत्यक्ष रूप से कौन सी तरंगें या क्षेत्र महत्वपूर्ण हो सकते हैं?
- (a) रेडियो तरंगें
- (b) माइक्रोवेव
- (c) विद्युत क्षेत्र (Electric fields)
- (d) इनमे से कोई नहीं
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विद्युत चुम्बकीय क्षेत्र और कोशिकाएं।
व्याख्या (Explanation): हालाँकि AI सीधे तरंगें उत्पन्न नहीं करता है, लेकिन AI-संचालित चिकित्सा में कोशिकाओं को निर्देशित करने या नियंत्रित करने के लिए विद्युत क्षेत्रों का उपयोग किया जा सकता है (जैसे इलेक्ट्रोपोरेशन में DNA डालने के लिए)। कोशिकाएं विद्युत रूप से आवेशित कणों से बनी होती हैं और उनके आंतरिक कामकाज में विद्युत प्रवाह शामिल होता है। AI इन प्रक्रियाओं को अधिक सटीक रूप से नियंत्रित करने के तरीके खोज सकता है, जिसमें विद्युत क्षेत्रों का उपयोग शामिल हो सकता है, विशेष रूप से दवा वितरण या सेल-विशिष्ट प्रभावों के लिए। हालाँकि, खबर सीधे तौर पर विद्युत चुम्बकीय तरंगों का उल्लेख नहीं करती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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यदि AI का उपयोग करके इम्यून कोशिकाओं को ‘निर्देशित’ (directed) किया जाता है, तो यह निम्न में से किस भौतिक या रासायनिक गुण का उपयोग कर सकता है?
- (a) केवल कोशिका का रंग
- (b) कोशिका की गति (motility)
- (c) कोशिका का घनत्व (density)
- (d) कोशिका की सतह पर चिपचिपाहट (adhesion)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): सेलुलर व्यवहार और दिशात्मकता।
व्याख्या (Explanation): इम्यून कोशिकाओं को निर्देशित करने का अर्थ है उन्हें शरीर के भीतर विशिष्ट स्थानों, जैसे ट्यूमर के पास, तक पहुँचाना। इसके लिए उनकी गतिशीलता (motility) और दिशात्मकता (chemotaxis) को नियंत्रित करना महत्वपूर्ण है। AI नए तरीके विकसित कर सकता है जो इन गुणों को बढ़ाते हैं या कैंसर कोशिकाओं द्वारा छोड़े गए रासायनिक संकेतों (chemoattractants) की ओर कोशिकाओं को निर्देशित करते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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निम्नलिखित में से कौन सा भौतिक सिद्धांत AI को बड़ी मात्रा में जैविक डेटा (जैसे जीनोमिक डेटा) को संसाधित करने और पैटर्न की पहचान करने में मदद करता है?
- (a) न्यूटन के गति के नियम
- (b) ऊष्मप्रवैगिकी (Thermodynamics)
- (c) सूचना सिद्धांत (Information Theory) और गणितीय एल्गोरिदम
- (d) प्रकाशिकी (Optics)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कम्प्यूटेशनल साइंस और डेटा एनालिसिस।
व्याख्या (Explanation): AI, विशेष रूप से मशीन लर्निंग, सूचना सिद्धांत और उन्नत गणितीय एल्गोरिदम पर आधारित है। ये एल्गोरिदम डेटा में जटिल पैटर्न, सहसंबंध और विसंगतियों की पहचान करने में सक्षम बनाते हैं, जो बड़े पैमाने पर जीनोमिक, प्रोटिओमिक या क्लिनिकल डेटासेट के विश्लेषण के लिए आवश्यक है। न्यूटन के नियम, ऊष्मप्रवैगिकी और प्रकाशिकी भौतिकी के अन्य क्षेत्र हैं, लेकिन वे सीधे AI डेटा प्रोसेसिंग के मुख्य सिद्धांत नहीं हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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जैविक झिल्ली (biological membrane) का मुख्य संरचनात्मक घटक क्या है, जो कोशिका की अखंडता और रिसेप्टर प्लेसमेंट के लिए महत्वपूर्ण है?
- (a) सेल्यूलोज
- (b) डीएनए
- (c) लिपिड बाइलेयर (Lipid bilayer)
- (d) प्रोटीन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कोशिका बायोलॉजी (Cell Biology)।
व्याख्या (Explanation): सभी जैविक झिल्लियाँ, जिनमें कोशिका झिल्ली और आंतरिक अंग झिल्लियाँ शामिल हैं, मुख्य रूप से फॉस्फोलिपिड्स की एक बाइलेयर से बनी होती हैं। यह बाइलेयर कोशिका के लिए एक बैरियर (बाधा) के रूप में कार्य करती है और इसमें प्रोटीन भी समाहित होते हैं, जो रिसेप्टर्स, चैनल और ट्रांसपोर्टर के रूप में कार्य करते हैं। AI-संचालित उपचारों में, झिल्ली की अखंडता और उसमें मौजूद रिसेप्टर्स की व्यवस्था महत्वपूर्ण होती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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यदि AI को इम्यून कोशिकाओं को ‘पुनः प्रोग्राम’ (reprogram) करने के लिए उपयोग किया जाता है, तो इसमें शामिल मुख्य आणविक प्रक्रिया क्या हो सकती है?
- (a) प्रोटीन का टूटना
- (b) जीन अभिव्यक्ति का विनियमन (Regulation of gene expression)
- (c) वसा का पाचन
- (d) न्यूक्लिक एसिड का क्षरण
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): आणविक जीवविज्ञान (Molecular Biology) और आनुवंशिकी।
व्याख्या (Explanation): ‘पुनः प्रोग्रामिंग’ का अर्थ है किसी कोशिका के कार्य को बदलना। यह अक्सर जीन अभिव्यक्ति को नियंत्रित करके किया जाता है – यानी, यह तय करना कि कौन से जीन सक्रिय होंगे और प्रोटीन का उत्पादन करेंगे। AI उन जीनों की पहचान करने और उन्हें सक्रिय या निष्क्रिय करने में मदद कर सकता है जो इम्यून कोशिकाओं को कैंसर को पहचानने और नष्ट करने के लिए आवश्यक नए कार्य प्रदान करते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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निम्नलिखित में से कौन सी रसायन शास्त्र (Chemistry) की शाखा AI-संचालित दवा खोज (drug discovery) से संबंधित हो सकती है?
- (a) अकार्बनिक रसायन शास्त्र (Inorganic Chemistry)
- (b) भौतिक रसायन शास्त्र (Physical Chemistry)
- (c) औषधीय रसायन शास्त्र (Medicinal Chemistry)
- (d) विश्लेषणात्मक रसायन शास्त्र (Analytical Chemistry)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): फार्मास्युटिकल साइंसेज (Pharmaceutical Sciences)।
व्याख्या (Explanation): औषधीय रसायन शास्त्र, विशेष रूप से कम्प्यूटेशनल औषधीय रसायन शास्त्र, नई दवाओं के डिजाइन, संश्लेषण और विकास से संबंधित है। AI का उपयोग संभावित दवा उम्मीदवारों की पहचान करने, उनके गुणों की भविष्यवाणी करने और उन्हें अनुकूलित करने में किया जा सकता है, जो इम्यूनोथेरेपी जैसी लक्षित उपचारों के लिए महत्वपूर्ण है। अकार्बनिक, भौतिक और विश्लेषणात्मक रसायन शास्त्र भी प्रासंगिक हो सकते हैं, लेकिन औषधीय रसायन शास्त्र सीधे तौर पर नई दवाओं को डिजाइन करने और उन्हें जैविक लक्ष्यों के लिए उपयुक्त बनाने पर केंद्रित है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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कैंसर कोशिकाओं की सतह पर मौजूद एंटीजन की पहचान करने के लिए इम्यून कोशिकाओं को सक्षम करने में ‘काइमेरिक एंटीजन रिसेप्टर’ (CAR) का क्या विशिष्ट कार्य है?
- (a) यह कोशिका के अंदर ऊर्जा का उत्पादन करता है।
- (b) यह कोशिका की झिल्ली में जल के प्रवेश को नियंत्रित करता है।
- (c) यह कैंसर कोशिका की सतह पर एक विशिष्ट एंटीजन से जुड़ता है, जो इम्यून सेल को सक्रिय करता है।
- (d) यह कोशिका के विभाजन को रोकता है।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): इम्यूनोथेरेपी और मॉलिक्यूलर बायोलॉजी।
व्याख्या (Explanation): CAR एक सिंथेटिक रिसेप्टर है जिसे इम्यून कोशिकाओं (जैसे T-cells) की सतह पर पेश किया जाता है। इसका बाहरी भाग कैंसर कोशिका की सतह पर मौजूद एक विशिष्ट एंटीजन से बंधने के लिए डिज़ाइन किया गया है। जब यह बंधन होता है, तो CAR के आंतरिक भाग कोशिका के भीतर सिग्नल प्रसारित करते हैं, जिससे इम्यून सेल सक्रिय हो जाती है और कैंसर कोशिका को नष्ट कर देती है। AI इस CAR की संरचना को अधिक प्रभावी बनाने के लिए ऑप्टिमाइज़ करने में मदद कर सकता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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इलेक्ट्रोफोरेसिस (Electrophoresis) जैसी तकनीकों का उपयोग, जो आवेशित कणों को विद्युत क्षेत्रों में उनके आवेश और आकार के आधार पर अलग करती हैं, AI-संचालित जीव विज्ञान अनुसंधान में क्या भूमिका निभा सकती हैं?
- (a) कोशिकाओं की आकृति को बदलना।
- (b) DNA या प्रोटीन के नमूनों का विश्लेषण करना।
- (c) रक्त में ऑक्सीजन के स्तर को मापना।
- (d) इम्यून कोशिकाओं को गति देना।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): जैव रसायन (Biochemistry) और आणविक जीवविज्ञान (Molecular Biology) तकनीकें।
व्याख्या (Explanation): इलेक्ट्रोफोरेसिस DNA, RNA, प्रोटीन या अन्य आवेशित अणुओं को उनके आणविक भार और शुद्धता के आधार पर अलग करने और विश्लेषण करने की एक मानक तकनीक है। AI शोधकर्ताओं को इलेक्ट्रोफोरेसिस जेल से प्राप्त विशाल डेटासेट की व्याख्या करने, विशिष्ट बैंड की पहचान करने और पैटर्नों को निकालने में मदद कर सकता है, जो कैंसर के आणविक आधार को समझने के लिए महत्वपूर्ण है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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