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संविधान मंथन: आपकी तैयारी का आज का पैमाना

संविधान मंथन: आपकी तैयारी का आज का पैमाना

भारतीय लोकतंत्र के स्तंभों को समझने और अपनी संवैधानिक समझ को परखने के लिए तैयार हो जाइए! आज के इस विशेष अभ्यास सत्र में, हम भारतीय राजव्यवस्था के विभिन्न पहलुओं से 25 गहन प्रश्न लेकर आए हैं। अपनी तैयारी को एक नई धार दें और देखें कि आप परीक्षा के लिए कितने सुसज्जित हैं। आइए, आज संविधान के सागर में गोता लगाएँ!

भारतीय राजव्यवस्था एवं संविधान अभ्यास प्रश्न

निर्देश: निम्नलिखित 25 प्रश्नों का प्रयास करें और प्रदान किए गए विस्तृत स्पष्टीकरणों के साथ अपनी समझ का विश्लेषण करें।

प्रश्न 1: भारतीय संविधान की प्रस्तावना में ‘बंधुत्व’ का आदर्श किस देश के संविधान से प्रेरित है?

  1. संयुक्त राज्य अमेरिका
  2. यूनाइटेड किंगडम
  3. फ्रांस
  4. आयरलैंड

उत्तर: (c)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: प्रस्तावना में ‘बंधुत्व’ (Fraternity) का आदर्श फ्रांसीसी क्रांति के ‘स्वतंत्रता, समानता, बंधुत्व’ के नारे से प्रेरित है, जो फ्रांस के संविधान से भारतीय संविधान में आया।
  • संदर्भ और विस्तार: बंधुत्व का अर्थ है राष्ट्र की एकता और अखंडता को बनाए रखने के लिए नागरिकों के बीच भाईचारे की भावना। यह सुनिश्चित करता है कि व्यक्ति दूसरे व्यक्ति के साथ ऐसे व्यवहार करें जैसे वे एक ही परिवार के सदस्य हों।
  • गलत विकल्प: संयुक्त राज्य अमेरिका का संविधान अपने मौलिक अधिकारों (Bill of Rights) के लिए जाना जाता है, यूनाइटेड किंगडम की संसदीय प्रणाली का प्रभाव है, और आयरलैंड का संविधान राज्य के नीति निदेशक तत्वों (DPSP) के निर्माण में प्रेरणा स्रोत रहा है।

प्रश्न 2: निम्नलिखित में से कौन सा अधिकार केवल नागरिकों को प्राप्त है, विदेशियों को नहीं?

  1. विधि के समक्ष समानता (अनुच्छेद 14)
  2. धर्म, मूलवंश, जाति, लिंग या जन्मस्थान के आधार पर विभेद का प्रतिषेध (अनुच्छेद 15)
  3. जीवन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता का संरक्षण (अनुच्छेद 21)
  4. किसी भी व्यक्ति के लिए गिरफ्तारी और निरोध से संरक्षण (अनुच्छेद 22)

उत्तर: (b)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: अनुच्छेद 15, जो धर्म, मूलवंश, जाति, लिंग या जन्मस्थान के आधार पर किसी भी प्रकार के विभेद का प्रतिषेध करता है, केवल भारतीय नागरिकों को प्राप्त है।
  • संदर्भ और विस्तार: अनुच्छेद 14 (विधि के समक्ष समानता), अनुच्छेद 21 (जीवन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता का संरक्षण), और अनुच्छेद 22 (गिरफ्तारी और निरोध से संरक्षण) जैसे कुछ अधिकार नागरिकों के साथ-साथ सभी व्यक्तियों (व्यक्तियों में नागरिक और विदेशी दोनों शामिल हैं) को प्राप्त हैं।
  • गलत विकल्प: अनुच्छेद 14, 21 और 22 भारतीय संविधान के तहत सभी व्यक्तियों के लिए उपलब्ध हैं, चाहे वे नागरिक हों या विदेशी।

प्रश्न 3: निम्नलिखित में से कौन सा कथन राज्य के नीति निदेशक तत्वों (DPSP) के संबंध में सही नहीं है?

  1. ये अदालतों द्वारा प्रवर्तनीय नहीं हैं।
  2. ये देश के शासन में मूलभूत हैं।
  3. इनका उद्देश्य सामाजिक और आर्थिक लोकतंत्र की स्थापना करना है।
  4. इनका उल्लंघन होने पर कोई भी नागरिक न्यायालय में जा सकता है।

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: राज्य के नीति निदेशक तत्वों (DPSP) का उल्लेख संविधान के भाग IV में अनुच्छेद 36 से 51 तक है। ये सिद्धांत प्रकृति में गैर-प्रवर्तनीय (non-justiciable) हैं, जिसका अर्थ है कि इनका उल्लंघन होने पर कोई भी नागरिक सीधे न्यायालय में नहीं जा सकता।
  • संदर्भ और विस्तार: अनुच्छेद 37 स्पष्ट करता है कि ये तत्व देश के शासन में मूलभूत हैं और विधि बनाने में राज्य का यह कर्तव्य होगा कि वह इन तत्वों को लागू करे। इनका उद्देश्य एक कल्याणकारी राज्य की स्थापना और सामाजिक-आर्थिक लोकतंत्र को बढ़ावा देना है।
  • गलत विकल्प: विकल्प (d) गलत है क्योंकि DPSP के उल्लंघन पर सीधे न्यायालय में नहीं जाया जा सकता, जबकि मौलिक अधिकार (Part III) के उल्लंघन पर अनुच्छेद 32 (SC) और 226 (HC) के तहत जाया जा सकता है।

प्रश्न 4: भारतीय संविधान के किस अनुच्छेद के तहत राष्ट्रपति का महाभियोग चलाया जा सकता है?

  1. अनुच्छेद 61
  2. अनुच्छेद 56
  3. अनुच्छेद 76
  4. अनुच्छेद 60

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: राष्ट्रपति पर महाभियोग चलाने की प्रक्रिया का उल्लेख संविधान के अनुच्छेद 61 में किया गया है। यह एक अर्द्ध-न्यायिक प्रक्रिया है।
  • संदर्भ और विस्तार: महाभियोग का आधार ‘संविधान का उल्लंघन’ है। संसद के किसी भी सदन (लोकसभा या राज्यसभा) में आरोप लगाने का प्रस्ताव एक-चौथाई सदस्यों के हस्ताक्षर से शुरू हो सकता है और फिर उस सदन के दो-तिहाई बहुमत से पारित होना आवश्यक है। इसके बाद दूसरे सदन में जाँच होती है।
  • गलत विकल्प: अनुच्छेद 56 राष्ट्रपति के कार्यकाल से संबंधित है, अनुच्छेद 76 भारत के महान्यायवादी (Attorney General) के पद से संबंधित है, और अनुच्छेद 60 राष्ट्रपति द्वारा शपथ ग्रहण से संबंधित है।

प्रश्न 5: निम्नलिखित में से किस प्रधानमंत्री ने संसद के दोनों सदनों को संबोधित किया है?

  1. जवाहरलाल नेहरू
  2. लाल बहादुर शास्त्री
  3. इंदिरा गांधी
  4. उपरोक्त सभी

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और संदर्भ: प्रधानमंत्री के रूप में, सभी प्रधानमंत्रियों ने अपनी जिम्मेदारियों के निर्वहन के दौरान संसद के विभिन्न सदनों को संबोधित किया है, चाहे वह किसी विशेष सत्र को संबोधित करना हो, बजट पर चर्चा हो, या कोई महत्वपूर्ण नीतिगत घोषणा हो। जवाहरलाल नेहरू, लाल बहादुर शास्त्री और इंदिरा गांधी तीनों ही वरिष्ठ राजनेता थे जिन्होंने सफलतापूर्वक अपने कार्यकाल के दौरान संसद के दोनों सदनों को संबोधित किया।
  • संदर्भ और विस्तार: प्रधानमंत्री, कार्यपालिका के प्रमुख होने के नाते, अक्सर संसद को सूचित करने या महत्वपूर्ण मुद्दों पर स्पष्टीकरण देने के लिए दोनों सदनों में बोलते हैं। ऐसी कोई संवैधानिक बाधा नहीं है जो उन्हें किसी एक सदन तक सीमित रखे।
  • गलत विकल्प: यह सभी प्रधानमंत्रियों के लिए एक सामान्य कार्यप्रणाली रही है।

प्रश्न 6: किसी विधेयक के धन विधेयक होने या न होने का अंतिम निर्णय कौन करता है?

  1. वित्त मंत्री
  2. लोकसभा अध्यक्ष
  3. राज्यसभा का सभापति
  4. भारत के राष्ट्रपति

उत्तर: (b)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: किसी विधेयक के धन विधेयक (Money Bill) होने या न होने का अंतिम निर्णय लोकसभा अध्यक्ष (Speaker of the Lok Sabha) द्वारा किया जाता है, जैसा कि भारतीय संविधान के अनुच्छेद 110(3) में प्रावधानित है।
  • संदर्भ और विस्तार: धन विधेयक की परिभाषा अनुच्छेद 110 में दी गई है। लोकसभा अध्यक्ष द्वारा प्रमाणित करने के बाद, विधेयक को धन विधेयक माना जाता है और यह राज्यसभा में नहीं रोका जा सकता; राज्यसभा इसे केवल 14 दिनों तक अपने पास रख सकती है और कुछ सिफारिशें कर सकती है, जिन्हें लोकसभा स्वीकार या अस्वीकार कर सकती है।
  • गलत विकल्प: वित्त मंत्री विधेयक प्रस्तुत करता है, राष्ट्रपति विधेयक पर हस्ताक्षर करते हैं, और राज्यसभा का सभापति (जो भारत का उपराष्ट्रपति भी होता है) केवल राज्यसभा के कामकाज को देखता है, न कि धन विधेयक का निर्धारण।

प्रश्न 7: भारतीय संसद का कौन सा सदन किसी भी सरकारी मंत्री को, जो उस सदन का सदस्य नहीं है, सदन में बोलने की अनुमति देता है?

  1. लोकसभा
  2. राज्यसभा
  3. संयुक्त बैठक
  4. कोई भी सदन नहीं

उत्तर: (b)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: अनुच्छेद 88 के अनुसार, महान्यायवादी (Attorney General) किसी भी सदन में, दोनों सदनों की संयुक्त बैठक में और संसद की किसी भी समिति में, जिसमें वह सदस्य हो, बोल सकता है और कार्यवाही में भाग ले सकता है, लेकिन मतदान का अधिकार नहीं है। इसी तरह, यदि कोई मंत्री किसी ऐसे सदन का सदस्य नहीं है, तो वह उस सदन में बैठ सकता है और बोल सकता है।
  • संदर्भ और विस्तार: यह प्रावधान यह सुनिश्चित करता है कि सरकार की ओर से मंत्री किसी भी सदन में जवाब दे सकें, भले ही वे उस विशिष्ट सदन के सदस्य न हों। उदाहरण के लिए, एक राज्यसभा सदस्य मंत्री लोकसभा में बोल सकता है और इसके विपरीत भी।
  • गलत विकल्प: लोकसभा अध्यक्ष या राज्यसभा का सभापति किसी मंत्री को उनके सदस्य न होने पर सदन में बोलने की अनुमति नहीं देते, बल्कि यह संवैधानिक प्रावधान (अनुच्छेद 88) है।

प्रश्न 8: निम्नलिखित कथनों पर विचार करें:

  1. सुप्रीम कोर्ट का न्यायाधीश बनने के लिए न्यूनतम आयु 35 वर्ष होनी चाहिए।
  2. सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा की जाती है, लेकिन वे किसी भी समय राष्ट्रपति को संबोधित कर त्यागपत्र दे सकते हैं।

उपरोक्त कथनों में से कौन सा/से सही है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2 दोनों
  4. न तो 1 और न ही 2

उत्तर: (b)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: कथन 1 गलत है। सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश बनने के लिए कोई न्यूनतम आयु निर्धारित नहीं है। यह केवल राष्ट्रपति की राय में एक प्रतिष्ठित न्यायविद होना चाहिए, या हाई कोर्ट का न्यायाधीश या वकील के रूप में अनुभव होना चाहिए (अनुच्छेद 124)। कथन 2 सही है। सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा अनुच्छेद 124(2) के तहत की जाती है, और वे राष्ट्रपति को संबोधित कर अपना त्यागपत्र दे सकते हैं (अनुच्छेद 124(2A))।
  • संदर्भ और विस्तार: कार्यकाल की सुरक्षा के लिए, सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों को पद से हटाना महाभियोग की प्रक्रिया से होता है, न कि सीधे त्यागपत्र द्वारा। लेकिन वे व्यक्तिगत कारणों से राष्ट्रपति को त्यागपत्र सौंप सकते हैं।
  • गलत विकल्प: कथन 1 में आयु का प्रावधान गलत है, जो हाई कोर्ट के न्यायाधीशों के लिए लागू नहीं होता, बल्कि भारत के राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति जैसे पदों के लिए होता है।

प्रश्न 9: भारत में ‘न्यायिक सक्रियता’ (Judicial Activism) की अवधारणा निम्नलिखित में से किस पर सबसे अधिक आधारित है?

  1. अनुच्छेद 32 (संवैधानिक उपचारों का अधिकार)
  2. अनुच्छेद 21 (जीवन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता का संरक्षण)
  3. अनुच्छेद 14 (विधि के समक्ष समानता)
  4. उपरोक्त सभी

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: न्यायिक सक्रियता का अर्थ है कि न्यायपालिका, विशेषकर सर्वोच्च न्यायालय, सक्रिय भूमिका निभाते हुए जनहित को बढ़ावा देने और सरकार पर अंकुश लगाने के लिए अपने संवैधानिक अधिकारों का उपयोग करती है। अनुच्छेद 32 (संवैधानिक उपचारों का अधिकार), अनुच्छेद 21 (जीवन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता का संरक्षण), और अनुच्छेद 14 (विधि के समक्ष समानता) जैसे मौलिक अधिकार भारतीय न्यायपालिका को इन सक्रिय भूमिकाओं के लिए आवश्यक शक्ति प्रदान करते हैं।
  • संदर्भ और विस्तार: न्यायिक सक्रियता के माध्यम से, सुप्रीम कोर्ट ने जनहित याचिकाओं (PIL) को स्वीकार करके और अपने निर्णयों के माध्यम से सरकारी नीतियों को प्रभावित करके महत्वपूर्ण सामाजिक परिवर्तन लाए हैं, जैसे पर्यावरण संरक्षण, मानवाधिकारों की सुरक्षा आदि।
  • गलत विकल्प: उपरोक्त सभी अनुच्छेद भारतीय न्यायपालिका को अपनी सक्रिय भूमिका निभाने के लिए सशक्त बनाते हैं, इसलिए यह सबसे उपयुक्त उत्तर है।

प्रश्न 10: भारतीय संघवाद (Federalism) की निम्नलिखित में से कौन सी विशेषता उसे अमेरिकी संघवाद से भिन्न बनाती है?

  1. दोहरी नागरिकता
  2. दोहरा संविधान
  3. अवशिष्ट शक्तियों का केंद्र के पास होना
  4. राज्यों के पास अवशिष्ट शक्तियों का होना

उत्तर: (c)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: भारतीय संघवाद में, अवशिष्ट शक्तियाँ (Residual Powers), यानी वे शक्तियाँ जो संविधान में स्पष्ट रूप से संघ या राज्यों को आवंटित नहीं की गई हैं, संसद (केंद्र सरकार) के पास निहित हैं (अनुच्छेद 248)। इसके विपरीत, अमेरिकी संघवाद में, अवशिष्ट शक्तियाँ राज्यों के पास होती हैं।
  • संदर्भ और विस्तार: भारतीय संविधान में एक मजबूत केंद्र की ओर झुकाव है, जबकि अमेरिकी संविधान अधिक संतुलित या राज्यों के पक्ष में झुका हुआ है। दोहरी नागरिकता और दोहरा संविधान अमेरिकी संघवाद की विशेषताएं हैं, न कि भारतीय संघवाद की।
  • गलत विकल्प: भारत में एकल नागरिकता है, न कि दोहरी। भारत का एक ही संविधान है, न कि दोहरा। अवशिष्ट शक्तियां केंद्र के पास हैं, राज्यों के पास नहीं।

प्रश्न 11: अंतर-राज्यीय परिषद (Inter-State Council) का गठन किस अनुच्छेद के तहत किया जाता है?

  1. अनुच्छेद 263
  2. अनुच्छेद 262
  3. अनुच्छेद 280
  4. अनुच्छेद 307

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: अंतर-राज्यीय परिषद का गठन भारतीय संविधान के अनुच्छेद 263 के तहत राष्ट्रपति द्वारा किया जाता है। इसका उद्देश्य राज्यों के बीच हितों के टकराव को सुलझाना और समन्वय स्थापित करना है।
  • संदर्भ और विस्तार: अनुच्छेद 263 के तहत, राष्ट्रपति सार्वजनिक हित में ऐसी परिषद की स्थापना कर सकते हैं ताकि राज्यों के बीच विवादों की जांच और सलाह दी जा सके, विशिष्ट विषयों पर नीतियों के निर्माण और समन्वय पर सलाह दी जा सके, आदि।
  • गलत विकल्प: अनुच्छेद 262 अंतर-राज्यीय नदियों और नदी-घाटियों के संबंध में जल-विवादों के न्यायनिर्णयन से संबंधित है, अनुच्छेद 280 वित्त आयोग के गठन से संबंधित है, और अनुच्छेद 307 संसद द्वारा कानून के माध्यम से संघ और राज्यों के बीच या दो से अधिक राज्यों के बीच माल के परिवहन से संबंधित प्रावधानों का प्रशासन करने के लिए प्राधिकरण नियुक्त करने से संबंधित है।

प्रश्न 12: केंद्रीय सतर्कता आयोग (CVC) की स्थापना किस वर्ष की गई थी?

  1. 1964
  2. 1950
  3. 1971
  4. 1984

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और संदर्भ: केंद्रीय सतर्कता आयोग (CVC) की स्थापना 1964 में संथानम समिति की सिफारिशों के आधार पर की गई थी। यह एक वैधानिक निकाय नहीं था, बल्कि कार्यकारी प्रस्ताव द्वारा स्थापित किया गया था। बाद में, 2003 में इसे वैधानिक दर्जा दिया गया।
  • संदर्भ और विस्तार: CVC का मुख्य उद्देश्य केंद्र सरकार के संगठनों में भ्रष्टाचार को रोकना है। यह एक स्वतंत्र निकाय है जो सरकार के विजिलेंस (सतर्कता) के मामलों की देखरेख करता है।
  • गलत विकल्प: अन्य वर्षों की तुलना में 1964 CVC की स्थापना का वर्ष है।

प्रश्न 13: निम्नलिखित में से कौन सा एक सांविधिक (Statutory) निकाय है?

  1. नीति आयोग
  2. राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC)
  3. संघ लोक सेवा आयोग (UPSC)
  4. सशस्त्र बल न्यायाधिकरण (Armed Forces Tribunal)

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और संदर्भ: सशस्त्र बल न्यायाधिकरण (Armed Forces Tribunal – AFT) का गठन सशस्त्र बल न्यायाधिकरण अधिनियम, 2007 के तहत किया गया था, इसलिए यह एक सांविधिक निकाय है।
  • संदर्भ और विस्तार: सांविधिक निकाय वे होते हैं जिनकी स्थापना किसी विशेष कानून (अधिनियम) द्वारा संसद द्वारा की जाती है। राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) मानवाधिकार संरक्षण अधिनियम, 1993 द्वारा स्थापित किया गया था, जो इसे भी सांविधिक बनाता है। UPSC (अनुच्छेद 315) और नीति आयोग (कार्यकारी प्रस्ताव) संवैधानिक और गैर-संवैधानिक/सलाहकारी निकाय हैं। हालांकि, NHRC भी सांविधिक है, AFT को विशेष रूप से यहाँ सांविधिक के उदाहरण के तौर पर दिया गया है। यदि प्रश्न में ‘NHRC’ के साथ ‘AFT’ का विकल्प हो, तो दोनों सांविधिक होंगे, लेकिन यहाँ AFT को स्पष्ट रूप से अधिनियम से जोड़ा गया है। (नोट: NHRC भी सांविधिक है, प्रश्न की विशिष्टता के अनुसार AFT को यहाँ अधिक प्रमुखता दी जाती है क्योंकि इसका गठन एक अधिनियम से हुआ है।)
  • गलत विकल्प: नीति आयोग कार्यकारी प्रस्ताव से बना एक गैर-संवैधानिक/सलाहकारी निकाय है। UPSC एक संवैधानिक निकाय है। NHRC भी सांविधिक है, लेकिन AFT का गठन अधिनियम 2007 द्वारा हुआ है।

प्रश्न 14: 73वां संविधान संशोधन अधिनियम, 1992 किस भाग में पंचायती राज से संबंधित प्रावधानों को शामिल करता है?

  1. भाग IX
  2. भाग IX-A
  3. भाग VIII
  4. भाग VII

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: 73वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1992 ने भारतीय संविधान में एक नया भाग ‘भाग IX’ जोड़ा, जो अनुच्छेद 243 से 243-O तक पंचायती राज संस्थाओं (PRIs) से संबंधित प्रावधानों को समाहित करता है।
  • संदर्भ और विस्तार: इस संशोधन ने पंचायती राज को संवैधानिक दर्जा प्रदान किया और ग्राम सभा, पंचायतों की संरचना, आरक्षण, कार्यकाल, शक्तियां और उत्तरदायित्वों जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं को परिभाषित किया।
  • गलत विकल्प: भाग IX-A नगरपालिकाओं से संबंधित है (74वें संशोधन द्वारा जोड़ा गया), भाग VIII केंद्र शासित प्रदेशों से संबंधित है, और भाग VII को सातवें संशोधन द्वारा निरस्त कर दिया गया था।

प्रश्न 15: राष्ट्रपति के कार्यकाल के दौरान मृत्यु, त्यागपत्र या निष्कासन की स्थिति में, उपराष्ट्रपति कितने समय के भीतर चुनाव कराए जाने की व्यवस्था करेंगे?

  1. 6 महीने
  2. 12 महीने
  3. 3 महीने
  4. तत्काल

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: संविधान के अनुच्छेद 62(2) के अनुसार, राष्ट्रपति पद की रिक्ति को भरने के लिए चुनाव, पद की रिक्ति होने पर, यथासंभव शीघ्रता से किया जाएगा, और रिक्ति की तारीख से छह महीने की अवधि के भीतर नए निर्वाचित राष्ट्रपति का कार्यभार ग्रहण करना होगा।
  • संदर्भ और विस्तार: यह सुनिश्चित करता है कि राष्ट्रपति का पद अधिक समय तक खाली न रहे। ऐसी स्थिति में, उपराष्ट्रपति कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में कार्य करते हैं जब तक कि नया राष्ट्रपति पदभार ग्रहण नहीं कर लेता।
  • गलत विकल्प: 12 महीने, 3 महीने या तत्काल चुनाव कराने का कोई संवैधानिक प्रावधान नहीं है; यह “यथासंभव शीघ्रता से” और “छह महीने के भीतर” के भीतर है।

प्रश्न 16: निम्नलिखित में से कौन सी विशेषता भारतीय संविधान की प्रस्तावना का हिस्सा नहीं है?

  1. संप्रभु
  2. पंथनिरपेक्ष
  3. समाजवादी
  4. शैक्षणिक

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और संदर्भ: भारतीय संविधान की प्रस्तावना में ‘संप्रभु’, ‘समाजवादी’, ‘पंथनिरपेक्ष’, ‘लोकतांत्रिक’, ‘गणराज्य’, ‘न्याय’, ‘स्वतंत्रता’, ‘समता’, और ‘बंधुत्व’ जैसे शब्द शामिल हैं। ‘शैक्षणिक’ शब्द प्रस्तावना का हिस्सा नहीं है।
  • संदर्भ और विस्तार: ‘समाजवादी’, ‘पंथनिरपेक्ष’ और ‘अखंडता’ शब्द 42वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1976 द्वारा प्रस्तावना में जोड़े गए थे।
  • गलत विकल्प: ‘संप्रभु’, ‘पंथनिरपेक्ष’ और ‘समाजवादी’ प्रस्तावना में मौजूद हैं, जबकि ‘शैक्षणिक’ एक ऐसा शब्द है जिसका उल्लेख प्रस्तावना में नहीं है।

प्रश्न 17: भारतीय संविधान का कौन सा अनुच्छेद किसी व्यक्ति को एक ही अपराध के लिए दो बार दंडित करने से बचाता है?

  1. अनुच्छेद 20
  2. अनुच्छेद 21
  3. अनुच्छेद 22
  4. अनुच्छेद 23

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: अनुच्छेद 20 (2) ‘दोहरे दंड’ (Double Jeopardy) से सुरक्षा प्रदान करता है। इसके अनुसार, किसी भी व्यक्ति को एक ही अपराध के लिए एक से अधिक बार अभियोजित (prosecute) और दंडित नहीं किया जाएगा।
  • संदर्भ और विस्तार: यह सुरक्षा व्यक्ति को राज्य द्वारा बार-बार परेशान होने से बचाती है। इसके दो आवश्यक तत्व हैं: (1) व्यक्ति पर अपराध का अभियोग चलाया गया हो, (2) उसे उस अपराध के लिए दंडित किया गया हो।
  • गलत विकल्प: अनुच्छेद 21 जीवन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता का संरक्षण, अनुच्छेद 22 गिरफ्तारी और निरोध से संरक्षण, और अनुच्छेद 23 मानव के क्रय-विक्रय और बेगार का प्रतिषेध करता है।

प्रश्न 18: निम्नलिखित में से कौन सा एक मौलिक कर्तव्य नहीं है?

  1. संविधान का पालन करना और उसके आदर्शों, संस्थाओं, राष्ट्रध्वज और राष्ट्रगान का आदर करना।
  2. भारत की संप्रभुता, एकता और अखंडता की रक्षा करना और उसे अक्षुण्ण रखना।
  3. सांप्रदायिक सद्भाव और बढ़ावा देना।
  4. सभी वर्गों के बच्चों के लिए शिक्षा के अवसर प्रदान करना।

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: मौलिक कर्तव्य संविधान के भाग IV-A के अनुच्छेद 51A में उल्लिखित हैं। विकल्प (a) और (b) अनुच्छेद 51A(a) और 51A(c) से सीधे संबंधित हैं। विकल्प (c) अनुच्छेद 51A(e) के अंतर्गत ‘सभी वर्गों के बच्चों के लिए शिक्षा के अवसर प्रदान करना’ एक मौलिक अधिकार (अनुच्छेद 21A) है, जबकि ‘सांप्रदायिक सद्भाव और बढ़ावा देना’ एक मौलिक कर्तव्य (अनुच्छेद 51A(e)) है। (d) गलत है क्योंकि बच्चों को शिक्षा के अवसर प्रदान करना मौलिक अधिकार है, न कि मौलिक कर्तव्य।
  • संदर्भ और विस्तार: भारतीय संविधान का अनुच्छेद 51A(k) कहता है कि यह प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य होगा कि वह शिक्षा के अवसर प्रदान करे। इस प्रकार, “सभी वर्गों के बच्चों के लिए शिक्षा के अवसर प्रदान करना” मौलिक अधिकार है, न कि नागरिक का कर्तव्य। (प्रश्न में कुछ अस्पष्टता हो सकती है, लेकिन सामान्य व्याख्या यही है।)
  • गलत विकल्प: विकल्प (d) मौलिक अधिकार (अनुच्छेद 21A) से संबंधित है, न कि मौलिक कर्तव्य से।

प्रश्न 19: निम्नलिखित में से कौन सा कथन ‘अविश्वास प्रस्ताव’ (No Confidence Motion) के बारे में सही है?

  1. इसे केवल लोकसभा में पेश किया जा सकता है।
  2. इसे पेश करने के लिए निश्चित संख्या में सदस्यों का समर्थन आवश्यक नहीं है।
  3. यह सरकार की किसी भी एक नीति या कार्य के विरोध में लाया जा सकता है।
  4. इसे पारित होने पर प्रधानमंत्री और उनके मंत्रिपरिषद को इस्तीफा देना पड़ता है।

उत्तर: (d)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और नियम संदर्भ: अविश्वास प्रस्ताव केवल लोकसभा में ही पेश किया जा सकता है (लोकसभा के नियम 198)। इसे पेश करने के लिए कम से कम 50 सदस्यों के समर्थन की आवश्यकता होती है। यह केवल मंत्रिपरिषद के खिलाफ लाया जा सकता है, न कि किसी एक नीति या कार्य के खिलाफ। इसे पारित होने पर, मंत्रिपरिषद को सामूहिक रूप से इस्तीफा देना पड़ता है (संविधान का अनुच्छेद 75(3))।
  • संदर्भ और विस्तार: अविश्वास प्रस्ताव मंत्रिपरिषद पर अविश्वास व्यक्त करने का एक साधन है। यदि यह पारित हो जाता है, तो सरकार को सदन का विश्वास खोने के कारण इस्तीफा देना पड़ता है।
  • गलत विकल्प: विकल्प (b) गलत है क्योंकि 50 सदस्यों का समर्थन आवश्यक है। विकल्प (c) गलत है क्योंकि यह मंत्रिपरिषद के खिलाफ होता है, न कि किसी एक नीति के। विकल्प (a) सही है कि यह केवल लोकसभा में पेश होता है, लेकिन प्रश्न ‘अविश्वास प्रस्ताव’ के बारे में सही कथन पूछ रहा है, और (d) सबसे पूर्ण और सही जानकारी देता है।

प्रश्न 20: भारत के उपराष्ट्रपति के चुनाव के संबंध में निम्नलिखित में से कौन सा कथन सही है?

  1. चुनाव में मतदान के लिए मतदान का अधिकार (Right to Vote) रखने वाला कोई भी व्यक्ति अयोग्य नहीं होगा।
  2. चुनाव प्रत्यक्ष प्रणाली द्वारा किया जाता है।
  3. चुनाव में केवल लोकसभा के सदस्य भाग लेते हैं।
  4. उपराष्ट्रपति पर महाभियोग चलाने की प्रक्रिया का उल्लेख अनुच्छेद 61 में है।

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: अनुच्छेद 66(3) के अनुसार, उपराष्ट्रपति के चुनाव के लिए किसी व्यक्ति को केवल इसलिए अयोग्य नहीं ठहराया जाएगा कि वह संसद के किसी सदन का सदस्य नहीं है। इसके विपरीत, संसद के दोनों सदनों के सदस्य (निर्वाचित और मनोनीत) उपराष्ट्रपति के चुनाव में भाग लेते हैं। यह एक अप्रत्यक्ष चुनाव है, न कि प्रत्यक्ष।
  • संदर्भ और विस्तार: राष्ट्रपति के विपरीत, उपराष्ट्रपति के चुनाव में संसद सदस्यों के अलावा राज्य विधानमंडल के सदस्य भाग नहीं लेते।
  • गलत विकल्प: (b) गलत है क्योंकि यह अप्रत्यक्ष चुनाव है। (c) गलत है क्योंकि राज्यसभा के सदस्य भी भाग लेते हैं। (d) गलत है क्योंकि अनुच्छेद 61 राष्ट्रपति के महाभियोग से संबंधित है, उपराष्ट्रपति के महाभियोग से नहीं।

प्रश्न 21: निम्नलिखित में से किस वर्ष भारत के राष्ट्रपति के लिए ‘आंतरिक आपातकाल’ (Internal Emergency) की घोषणा की गई थी?

  1. 1975
  2. 1962
  3. 1965
  4. 1984

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: भारत में ‘आंतरिक आपातकाल’ (Internal Emergency) की घोषणा 25 जून 1975 को की गई थी, जिसे अनुच्छेद 352 के तहत घोषित किया गया था। यह आपातकाल 21 मार्च 1977 तक प्रभावी रहा।
  • संदर्भ और विस्तार: यह आपातकाल इंदिरा गांधी सरकार द्वारा घोषित किया गया था, और इसके तहत नागरिक स्वतंत्रताएं निलंबित कर दी गई थीं। 1962 में चीन आक्रमण के कारण बाहरी आपातकाल और 1965 में भारत-पाकिस्तान युद्ध के कारण भी बाहरी आपातकाल घोषित किया गया था।
  • गलत विकल्प: 1975 ही वह वर्ष है जब आंतरिक आपातकाल घोषित हुआ था।

प्रश्न 22: 42वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1976 द्वारा प्रस्तावना में कौन से तीन शब्द जोड़े गए थे?

  1. लोकतांत्रिक, गणराज्य, संप्रभु
  2. समाजवादी, पंथनिरपेक्ष, अखंडता
  3. न्याय, स्वतंत्रता, समानता
  4. संप्रभु, समाजवादी, लोकतांत्रिक

उत्तर: (b)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और संशोधन संदर्भ: 42वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1976 द्वारा भारतीय संविधान की प्रस्तावना में ‘समाजवादी’, ‘पंथनिरपेक्ष’ और ‘अखंडता’ (Socialist, Secular, and Integrity) शब्दों को जोड़ा गया था।
  • संदर्भ और विस्तार: इन शब्दों को जोड़कर, भारत को एक ‘संप्रभु समाजवादी पंथनिरपेक्ष लोकतांत्रिक गणराज्य’ के रूप में परिभाषित किया गया। यह संशोधन मिनी-संविधान के रूप में भी जाना जाता है।
  • गलत विकल्प: ‘लोकतांत्रिक’, ‘गणराज्य’, ‘संप्रभु’ मूल प्रस्तावना में थे। ‘न्याय’, ‘स्वतंत्रता’, ‘समानता’ और ‘बंधुत्व’ भी मूल रूप से प्रस्तावना का हिस्सा थे। ‘संप्रभु, समाजवादी, लोकतांत्रिक’ में ‘पंथनिरपेक्ष’ और ‘अखंडता’ शामिल नहीं हैं।

प्रश्न 23: निम्नलिखित में से कौन सा कथन ‘अनुच्छेद 19’ (भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता) के बारे में सही नहीं है?

  1. इसमें सूचना के अधिकार का भी समावेश है।
  2. इसमें मौन रहने का अधिकार भी शामिल है।
  3. यह अधिकार पूर्ण है और इस पर कोई प्रतिबंध नहीं लगाया जा सकता।
  4. इसमें शांतिपूर्वक और बिना हथियारों के एकत्र होने का अधिकार शामिल है।

उत्तर: (c)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुच्छेद संदर्भ: अनुच्छेद 19 (1)(a) भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता प्रदान करता है, जिसमें सूचना का अधिकार (RTI) और मौन रहने का अधिकार शामिल है। अनुच्छेद 19 (1)(b) शांतिपूर्वक और बिना हथियारों के एकत्र होने का अधिकार देता है। हालाँकि, यह अधिकार पूर्ण नहीं है; अनुच्छेद 19 (2) के तहत राज्य इस पर उचित प्रतिबंध लगा सकता है, जैसे कि भारत की संप्रभुता और अखंडता, राज्य की सुरक्षा, विदेशी राज्यों के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध, सार्वजनिक व्यवस्था, शालीनता या नैतिकता, या न्यायालय की अवमानना, मानहानि या अपराध के लिए उकसाना।
  • संदर्भ और विस्तार: उचित प्रतिबंधों का प्रावधान यह सुनिश्चित करता है कि व्यक्तिगत स्वतंत्रताएँ सार्वजनिक हित और सामाजिक व्यवस्था के साथ संतुलित रहें।
  • गलत विकल्प: विकल्प (c) गलत है क्योंकि अनुच्छेद 19 (2) स्पष्ट रूप से इस अधिकार पर प्रतिबंधों का प्रावधान करता है।

प्रश्न 24: भारत के संविधान की कौन सी अनुसूची पंचायतों और नगर पालिकाओं के लिए प्रावधानों से संबंधित है?

  1. दसवीं अनुसूची
  2. ग्यारहवीं अनुसूची
  3. बारहवीं अनुसूची
  4. आठवीं अनुसूची

उत्तर: (c)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और अनुसूची संदर्भ: भारतीय संविधान की बारहवीं अनुसूची (12th Schedule) नगर पालिकाओं (Urban Local Bodies) से संबंधित है, और इसमें 18 विषय शामिल हैं। सातवीं अनुसूची (7th Schedule) के तहत, 73वें संशोधन ने 11वीं अनुसूची (11th Schedule) जोड़ी, जिसमें पंचायतों के 29 विषय शामिल हैं। 74वें संशोधन ने 12वीं अनुसूची को जोड़ा।
  • संदर्भ और विस्तार: 11वीं अनुसूची पंचायतों को शक्तियां, प्राधिकार और उत्तरदायित्व प्रदान करती है, जबकि 12वीं अनुसूची नगर पालिकाओं को समान शक्तियां प्रदान करती है।
  • गलत विकल्प: दसवीं अनुसूची दल-बदल विरोधी कानून से संबंधित है, ग्यारहवीं अनुसूची पंचायतों से संबंधित है, और आठवीं अनुसूची मान्यता प्राप्त भाषाओं से संबंधित है।

प्रश्न 25: किस आयोग की सिफारिशों पर भारत में प्रथम बार लोकपाल (Ombudsman) की नियुक्ति का विचार आया?

  1. प्रथम प्रशासनिक सुधार आयोग (1966-1970)
  2. सरकारीया आयोग (1983)
  3. संथानम समिति (1962-1964)
  4. पुंछी आयोग (2007-2010)

उत्तर: (a)

विस्तृत स्पष्टीकरण:

  • सटीकता और संदर्भ: भारत में लोकपाल की नियुक्ति का विचार सर्वप्रथम 1966-1970 के दौरान प्रथम प्रशासनिक सुधार आयोग (First Administrative Reforms Commission – ARC) की सिफारिशों पर आया था।
  • संदर्भ और विस्तार: ARC ने केंद्र और राज्यों में लोकपाल और लोकायुक्त जैसे पदाधिकारियों की स्थापना की सिफारिश की थी ताकि मंत्रियों और लोक सेवकों द्वारा किए गए प्रशासनिक भ्रष्टाचार की शिकायतों की जांच की जा सके। संथानम समिति ने भ्रष्टाचार निवारण पर सिफारिशें की थीं, लेकिन लोकपाल विशेष रूप से ARC की सिफारिश थी।
  • गलत विकल्प: सरकारीया आयोग और पुंछी आयोग केंद्र-राज्य संबंधों से संबंधित थे, जबकि संथानम समिति ने भ्रष्टाचार निवारण के व्यापक मुद्दे पर काम किया था, लेकिन लोकपाल की विशिष्ट संस्थागत सिफारिश प्रथम प्रशासनिक सुधार आयोग की थी।

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