हीरे के चमत्कारों से सामान्य विज्ञान के प्रश्न: आपकी तैयारी को परखें
परिचय: नमस्कार, भावी सरकारी सेवकों! प्रतियोगी परीक्षाओं में सामान्य विज्ञान एक महत्वपूर्ण खंड है जो भौतिकी, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के बुनियादी सिद्धांतों पर आपकी पकड़ का परीक्षण करता है। “Doubling Down on Diamond” जैसे सामयिक संकेत हमें इन विषयों से जुड़े विभिन्न वैज्ञानिक पहलुओं पर ध्यान केंद्रित करने का अवसर देते हैं। यहाँ, हमने विशेष रूप से आपके लिए 25 बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQs) तैयार किए हैं, जो हीरे की अवधारणाओं से प्रेरित हैं, ताकि आप अपनी ज्ञान की गहराई को माप सकें और अपनी तैयारी को और मजबूत कर सकें। आइए, विज्ञान की इस रोमांचक यात्रा पर चलें!
सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)
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कार्बन के किस अपरूप (allotrope) का उपयोग हीरे के रूप में किया जाता है?
- (a) ग्रेफाइट
- (b) फुलरीन
- (c) हीरा
- (d) चारकोल
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अपरूपता (Allotropy) एक ही तत्व के विभिन्न रूपों को संदर्भित करती है जो भौतिक गुणों में भिन्न होते हैं लेकिन रासायनिक रूप से समान होते हैं।
व्याख्या (Explanation): हीरा, कार्बन का सबसे कठोर ज्ञात प्राकृतिक पदार्थ है, जो कार्बन परमाणुओं के एक त्रिविम (three-dimensional) क्रिस्टल जालक (crystal lattice) के रूप में व्यवस्थित होने के कारण बनता है। ग्रेफाइट और फुलरीन कार्बन के अन्य अपरूप हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरे की अत्यधिक कठोरता का मुख्य कारण क्या है?
- (a) इसमें आयनिक बंध (ionic bonds) होते हैं।
- (b) इसमें दुर्बल वैन डेर वाल्स बल (weak van der Waals forces) होते हैं।
- (c) इसमें प्रत्येक कार्बन परमाणु चार अन्य कार्बन परमाणुओं से सहसंयोजक बंध (covalent bonds) द्वारा जुड़ा होता है।
- (d) इसमें मुक्त इलेक्ट्रॉन (free electrons) होते हैं।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): बंधों की प्रकृति और व्यवस्था पदार्थ के भौतिक गुणों को निर्धारित करती है। सहसंयोजक बंध बहुत मजबूत होते हैं।
व्याख्या (Explanation): हीरे में, प्रत्येक कार्बन परमाणु sp3 संकरित (hybridized) होता है और चार अन्य कार्बन परमाणुओं के साथ एक टेट्राहेड्रल (tetrahedral) व्यवस्था में मजबूत सहसंयोजक बंध बनाता है। यह एक विशाल सहसंयोजक जालक (covalent network) बनाता है जो अत्यधिक कठोर होता है। आयनिक बंध धातु और अधातु के बीच बनते हैं, वैन डेर वाल्स बल अणुओं के बीच कमजोर अंतःक्रियाएं हैं, और मुक्त इलेक्ट्रॉन विद्युत चालकता प्रदान करते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरा अपने उच्च अपवर्तनांक (high refractive index) के कारण प्रकाश को कैसे मोड़ता है?
- (a) प्रकाश की गति में कोई परिवर्तन नहीं होता है।
- (b) प्रकाश सीधी रेखा में चलता है।
- (c) प्रकाश हीरे के माध्यम से अत्यंत तेज़ी से यात्रा करता है।
- (d) प्रकाश का मुड़ना (bending of light) होता है।
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अपवर्तन (Refraction) तब होता है जब प्रकाश एक माध्यम से दूसरे माध्यम में जाता है और माध्यमों के अपवर्तनांकों में अंतर के कारण प्रकाश की गति में परिवर्तन होता है, जिससे प्रकाश की दिशा मुड़ जाती है।
व्याख्या (Explanation): हीरे का अपवर्तनांक (लगभग 2.42) वायु की तुलना में बहुत अधिक होता है। जब प्रकाश हीरे में प्रवेश करता है, तो यह मुड़ जाता है। इसी गुण के कारण हीरे में “चमक” (brilliance) और “आग” (fire) होती है, क्योंकि प्रकाश आंतरिक रूप से परावर्तित (internally reflected) और अपवर्तित होता है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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हीरे का क्रांतिक कोण (critical angle) कितना होता है?
- (a) 24.4 डिग्री
- (b) 45 डिग्री
- (c) 90 डिग्री
- (d) 180 डिग्री
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): क्रांतिक कोण वह कोण है जिस पर आपतित प्रकाश, जब सघन माध्यम से विरल माध्यम में जाता है, तो अपवर्तन कोण 90 डिग्री होता है। यह पूर्ण आंतरिक परावर्तन (total internal reflection) के लिए महत्वपूर्ण है।
व्याख्या (Explanation): हीरे का क्रांतिक कोण लगभग 24.4 डिग्री होता है। यह बहुत छोटा क्रांतिक कोण हीरों को असाधारण रूप से चमकीला बनाता है, क्योंकि अधिकांश प्रकाश जो हीरे में प्रवेश करता है, वह पूर्ण आंतरिक परावर्तन से गुजरता है, जिससे वह अंदर फंस जाता है और बाहर निकलने से पहले कई बार परावर्तित होता है।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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हीरे के विद्युत चालकता (electrical conductivity) के बारे में क्या सत्य है?
- (a) यह एक उत्कृष्ट विद्युत चालक है।
- (b) यह एक अर्धचालक (semiconductor) है।
- (c) यह एक विद्युत का कुचालक (insulator) है।
- (d) यह तापमान के साथ चालकता बढ़ाता है।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विद्युत चालकता पदार्थ में मुक्त इलेक्ट्रॉनों की उपस्थिति पर निर्भर करती है।
व्याख्या (Explanation): हीरे में, सभी बाहरी इलेक्ट्रॉन सहसंयोजक बंधों में स्थानीयकृत (localized) होते हैं और मुक्त रूप से गति करने के लिए उपलब्ध नहीं होते हैं। इसलिए, हीरा विद्युत का एक उत्कृष्ट कुचालक है। ग्रेफाइट, दूसरी ओर, मुक्त इलेक्ट्रॉनों के कारण विद्युत का अच्छा चालक है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरे का गलनांक (melting point) कितना होता है?
- (a) 1538 °C
- (b) 3550 °C
- (c) 3825 °C
- (d) हीरा बिना गले सीधे ऊर्ध्वपातित (sublimes) हो जाता है।
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): उच्च तापीय स्थिरता वाले पदार्थ, जैसे हीरा, उच्च तापमान पर पिघलने के बजाय विघटित या सीधे गैस में बदल सकते हैं।
व्याख्या (Explanation): सामान्य वायुमंडलीय दबाव पर, हीरे का कोई निश्चित गलनांक नहीं होता है; यह लगभग 3825 °C पर सीधे गैस (कार्बन डाइऑक्साइड) में ऊर्ध्वपातित हो जाता है। हालांकि, उच्च दबाव में, यह पिघल सकता है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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हीरे को गर्म करने पर, ऑक्सीजन की उपस्थिति में, यह किस गैस में परिवर्तित हो जाता है?
- (a) कार्बन मोनोऑक्साइड
- (b) मीथेन
- (c) कार्बन डाइऑक्साइड
- (d) हाइड्रोजन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): दहन (Combustion) एक रासायनिक प्रक्रिया है जिसमें कोई पदार्थ ऑक्सीजन के साथ मिलकर ऊष्मा और प्रकाश उत्पन्न करता है। कार्बन युक्त यौगिकों के पूर्ण दहन से कार्बन डाइऑक्साइड बनता है।
व्याख्या (Explanation): जब हीरे (शुद्ध कार्बन) को ऑक्सीजन की उपस्थिति में उच्च तापमान पर गर्म किया जाता है, तो यह जल जाता है और कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) बनाता है। रासायनिक समीकरण है: C (हीरा) + O2 (गैस) → CO2 (गैस)।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरे का उपयोग किस प्रकार के कटिंग और पॉलिशिंग उपकरणों में किया जाता है?
- (a) अपघर्षक (Abrasive)
- (b) विलायक (Solvent)
- (c) उत्प्रेरक (Catalyst)
- (d) परावर्तक (Reflector)
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अपघर्षक वे पदार्थ होते हैं जिनका उपयोग किसी अन्य सतह को घर्षण द्वारा चिकना या काटने के लिए किया जाता है।
व्याख्या (Explanation): हीरे की अत्यधिक कठोरता इसे विभिन्न उद्योगों में एक उत्कृष्ट अपघर्षक बनाती है, जैसे कि काटने वाले ब्लेड, ड्रिल बिट्स और पॉलिशिंग पाउडर में। इसका उपयोग अन्य कठोर सामग्रियों को मशीन करने के लिए किया जाता है।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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कृत्रिम रूप से हीरा बनाने के लिए किस प्रक्रिया का उपयोग किया जाता है?
- (a) वाष्प जमाव (Vapor Deposition)
- (b) उच्च दबाव, उच्च तापमान (HPHT)
- (c) रासायनिक वाष्प जमाव (Chemical Vapor Deposition – CVD)
- (d) उपरोक्त सभी
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कृत्रिम हीरे बनाने की प्रक्रियाएं प्राकृतिक हीरे बनने की स्थितियों का अनुकरण करती हैं या कार्बन परमाणुओं को एक नियंत्रित तरीके से जमा करती हैं।
व्याख्या (Explanation): कृत्रिम हीरे मुख्य रूप से दो तरीकों से बनाए जाते हैं: HPHT (High Pressure, High Temperature) प्रक्रिया, जो प्राकृतिक हीरे के निर्माण की स्थितियों की नकल करती है, और CVD (Chemical Vapor Deposition) प्रक्रिया, जिसमें निम्न दबाव पर गैसीय अग्रदूतों (precursors) से हीरे की परतें उगाई जाती हैं।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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जब प्रकाश हीरे से बाहर वायु में प्रवेश करता है, तो यह दूर मुड़ जाता है?
- (a) अभिलंब (Normal) से दूर
- (b) अभिलंब की ओर
- (c) सीधी रेखा में
- (d) वापस उसी पथ पर
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): जब प्रकाश सघन माध्यम से विरल माध्यम में जाता है, तो यह अपवर्तन के कारण अभिलंब से दूर मुड़ जाता है।
व्याख्या (Explanation): हीरा एक सघन माध्यम है और वायु एक विरल माध्यम है। इसलिए, जब प्रकाश हीरे से वायु में जाता है, तो यह अभिलंब से दूर मुड़ जाता है। यही कारण है कि हीरे के अंदर से निकलने वाली किरणें चमक पैदा करती हैं।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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हीरे के शुद्ध रूप में रंगहीन होने का क्या कारण है?
- (a) सभी प्रकाश तरंग दैर्ध्य (wavelengths) का पूर्ण अवशोषण
- (b) कुछ विशिष्ट प्रकाश तरंग दैर्ध्य का अवशोषण
- (c) सभी प्रकाश तरंग दैर्ध्य का समान परावर्तन
- (d) प्रकाश का कोई परावर्तन या अपवर्तन नहीं
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): किसी वस्तु का रंग उसके द्वारा अवशोषित और परावर्तित प्रकाश पर निर्भर करता है। जो प्रकाश परावर्तित होता है, वही रंग हमें दिखाई देता है।
व्याख्या (Explanation): शुद्ध हीरा रंगहीन होता है क्योंकि यह दृश्य स्पेक्ट्रम (visible spectrum) में प्रकाश की सभी तरंग दैर्ध्यों को समान रूप से परावर्तित करता है। अशुद्धियाँ या संरचनात्मक दोष (जैसे नाइट्रोजन या बोरॉन की उपस्थिति) हीरे में रंग ला सकते हैं, क्योंकि ये अशुद्धियाँ विशिष्ट तरंग दैर्ध्य के प्रकाश को अवशोषित करती हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरे का एक महत्वपूर्ण भौतिक गुण जो इसे कीमती बनाता है, वह है:
- (a) कम घनत्व
- (b) उच्च चालकता
- (c) कठोरता और चमक
- (d) रासायनिक निष्क्रियता
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): रत्नों का मूल्य उनके अद्वितीय भौतिक और रासायनिक गुणों के संयोजन पर निर्भर करता है।
व्याख्या (Explanation): हीरे का अत्यधिक उच्च कठोरता (जो इसे खरोंच-प्रतिरोधी बनाती है) और उच्च अपवर्तनांक के कारण उत्पन्न होने वाली असाधारण चमक और अग्नि (fire) ही इसे सबसे कीमती रत्नों में से एक बनाते हैं। रासायनिक निष्क्रियता भी एक कारक है, लेकिन कठोरता और चमक प्रमुख हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरे की ऊष्मीय चालकता (thermal conductivity) के बारे में क्या सत्य है?
- (a) यह बहुत कम है।
- (b) यह बहुत अधिक है।
- (c) यह धातुओं से भी अधिक है।
- (d) यह लगभग शून्य है।
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): ऊष्मीय चालकता पदार्थ के माध्यम से ऊष्मा के प्रवाह की दर को मापती है। यह पदार्थ की संरचना और उसमें कंपन (phonons) के प्रसार पर निर्भर करती है।
व्याख्या (Explanation): हीरे की ऊष्मीय चालकता आश्चर्यजनक रूप से बहुत अधिक होती है, जो सामान्य धातुओं (जैसे तांबा) से भी लगभग 5 गुना अधिक है। यह उच्च चालकता कार्बन परमाणुओं के बीच मजबूत सहसंयोजक बंधों और क्रिस्टल जालक में कंपन के कुशल प्रसार (efficient propagation) के कारण होती है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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हीरे की कटाई के लिए प्रयोग किए जाने वाले एक विशेष उपकरण में हीरे के कणों को किसमें बाँधा जाता है?
- (a) पानी
- (b) धातु का मैट्रिक्स (जैसे निकल या कोबाल्ट)
- (c) वायु
- (d) प्लास्टिक
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अपघर्षक कणों को एक साथ बांधने और उन्हें उस सतह पर बनाए रखने के लिए एक बंधन एजेंट (binding agent) की आवश्यकता होती है जिस पर वे काम करते हैं।
व्याख्या (Explanation): हीरे के कणों को कटिंग और पॉलिशिंग डिस्क में आमतौर पर एक धातु मैट्रिक्स (जैसे निकल, कोबाल्ट, एल्यूमीनियम) या रेज़िन मैट्रिक्स में बाँधा जाता है। यह मैट्रिक्स कणों को अपनी जगह पर रखता है और उन्हें उपकरण के काम करते समय अपघर्षित होने से बचाता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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कार्बन मोनोऑक्साइड (CO) और कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) में से, कौन सा यौगिक प्रकृति में अधिक स्थिर (stable) है?
- (a) कार्बन मोनोऑक्साइड
- (b) कार्बन डाइऑक्साइड
- (c) दोनों समान रूप से स्थिर हैं
- (d) कोई भी स्थिर नहीं है
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): किसी यौगिक की स्थिरता उसके निर्माण की एन्थैल्पी (enthalpy of formation) से संबंधित होती है। अधिक ऋणात्मक एन्थैल्पी का मतलब अधिक स्थिरता है।
व्याख्या (Explanation): कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) कार्बन मोनोऑक्साइड (CO) की तुलना में अधिक थर्मोडायनामिक रूप से स्थिर है। CO, CO2 में ऑक्सीकृत हो सकता है, लेकिन CO2 को CO में अपचयित (reduce) करना अधिक ऊर्जावान रूप से कठिन होता है। CO2 का निर्माण CO की तुलना में अधिक ऊष्माक्षेपी (exothermic) है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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प्रकाश की वह घटना जिसके कारण हीरे में “आग” (fire) या इंद्रधनुषी प्रभाव दिखाई देता है, क्या कहलाती है?
- (a) पूर्ण आंतरिक परावर्तन (Total Internal Reflection)
- (b) विवर्तन (Diffraction)
- (c) व्यतिकरण (Interference)
- (d) प्रकीर्णन (Scattering)
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): जब प्रकाश सघन माध्यम से विरल माध्यम में एक निश्चित क्रांतिक कोण से अधिक कोण पर आपतित होता है, तो यह पूरी तरह से माध्यम के अंदर परावर्तित हो जाता है।
व्याख्या (Explanation): हीरे का छोटा क्रांतिक कोण (24.4 डिग्री) इसे असाधारण रूप से चमकदार बनाता है। जब प्रकाश हीरे के अंदर प्रवेश करता है, तो यह विभिन्न सतहों से पूर्ण आंतरिक परावर्तन (TIR) से गुजरता है। इसके अलावा, हीरे के अंदर प्रकाश की गति का धीमा होना और अपवर्तनांक विभिन्न रंगों के प्रकाश को थोड़ा अलग कोणों पर मोड़ने का कारण बनता है, जिसे विक्षेपण (dispersion) कहते हैं। TIR और विक्षेपण मिलकर हीरे में “आग” या इंद्रधनुषी प्रभाव पैदा करते हैं।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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हाइड्रोकार्बन (hydrocarbons) के दहन से कौन से मुख्य उत्पाद बनते हैं?
- (a) केवल कार्बन डाइऑक्साइड
- (b) केवल जल
- (c) कार्बन डाइऑक्साइड और जल
- (d) कार्बन मोनोऑक्साइड और जल
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): हाइड्रोकार्बन कार्बन और हाइड्रोजन से बने यौगिक होते हैं। दहन एक ऑक्सीकरण प्रक्रिया है।
व्याख्या (Explanation): हाइड्रोकार्बन के पूर्ण दहन से हमेशा कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) और जल (H2O) बनते हैं। उदाहरण के लिए, मीथेन (CH4) का दहन: CH4 + 2O2 → CO2 + 2H2O। अपूर्ण दहन से कार्बन मोनोऑक्साइड (CO) और कालिख (soot) भी बन सकती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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हीरे को “सफेद नीलम” (white sapphire) से कैसे अलग किया जा सकता है?
- (a) हीरे की कठोरता अधिक होती है।
- (b) हीरे की ऊष्मीय चालकता अधिक होती है।
- (c) हीरे का अपवर्तनांक अधिक होता है।
- (d) उपरोक्त सभी
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विभिन्न खनिजों के भौतिक और प्रकाशीय गुण अलग-अलग होते हैं, जिनका उपयोग उनकी पहचान के लिए किया जाता है।
व्याख्या (Explanation): हीरे को सफेद नीलम (जो एल्यूमीनियम ऑक्साइड, Al2O3 है) से अलग करने के लिए कई परीक्षण किए जा सकते हैं: कठोरता (हीरा 10, नीलम 9), ऊष्मीय चालकता (हीरा बहुत अधिक, नीलम कम), अपवर्तनांक (हीरा ~2.42, नीलम ~1.77), और घनत्व। इन सभी गुणों में महत्वपूर्ण अंतर हैं।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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प्रकाश संश्लेषण (photosynthesis) प्रक्रिया में, पौधे किस गैस का उपयोग करते हैं?
- (a) ऑक्सीजन
- (b) नाइट्रोजन
- (c) कार्बन डाइऑक्साइड
- (d) हाइड्रोजन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रकाश संश्लेषण वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा हरे पौधे और कुछ अन्य जीव प्रकाश ऊर्जा का उपयोग करके प्रकाश ऊर्जा को रासायनिक ऊर्जा में परिवर्तित करते हैं, जो बाद में जीवों की चयापचय (metabolic) गतिविधि को बढ़ावा देने के लिए जारी की जाती है।
व्याख्या (Explanation): प्रकाश संश्लेषण की प्रक्रिया में, पौधे वातावरण से कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) लेते हैं, जल (H2O) का उपयोग करते हैं, और क्लोरोफिल की उपस्थिति में सूर्य के प्रकाश की ऊर्जा का उपयोग करके ग्लूकोज (C6H12O6) और ऑक्सीजन (O2) बनाते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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रक्तचाप (blood pressure) को मापने के लिए किस उपकरण का उपयोग किया जाता है?
- (a) थर्मामीटर
- (b) स्टेथोस्कोप
- (c) स्फिग्मोमैनोमीटर (Sphygmomanometer)
- (d) ओडोमीटर
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): चिकित्सा उपकरण विशिष्ट शारीरिक मापदंडों को मापने के लिए डिज़ाइन किए जाते हैं।
व्याख्या (Explanation): स्फिग्मोमैनोमीटर एक चिकित्सा उपकरण है जिसका उपयोग रक्तचाप को मापने के लिए किया जाता है। थर्मामीटर का उपयोग शरीर के तापमान को मापने के लिए, स्टेथोस्कोप का उपयोग हृदय और फेफड़ों की आवाजों को सुनने के लिए, और ओडोमीटर का उपयोग किसी वाहन द्वारा तय की गई दूरी को मापने के लिए किया जाता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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मानव शरीर में सबसे बड़ी अंतःस्रावी ग्रंथि (endocrine gland) कौन सी है?
- (a) अधिवृक्क ग्रंथि (Adrenal gland)
- (b) अवटु ग्रंथि (Thyroid gland)
- (c) पीयूष ग्रंथि (Pituitary gland)
- (d) अग्न्याशय (Pancreas)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अंतःस्रावी ग्रंथियां हार्मोन का उत्पादन करती हैं और उन्हें सीधे रक्तप्रवाह में स्रावित करती हैं।
व्याख्या (Explanation): मानव शरीर में अवटु ग्रंथि (Thyroid gland), जो गर्दन में स्थित होती है, सबसे बड़ी अंतःस्रावी ग्रंथि है। यह थायराइड हार्मोन का उत्पादन करती है जो चयापचय को नियंत्रित करते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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दाँतों के क्षय (tooth decay) का मुख्य कारण क्या है?
- (a) शर्करा (sugar) का सेवन
- (b) अम्ल (acid) उत्पादन करने वाले बैक्टीरिया
- (c) दोनों (a) और (b)
- (d) विटामिन D की कमी
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): दाँतों का इनेमल (enamel) एक कठोर खनिज (hydroxyapatite) है जो अम्लों के प्रति संवेदनशील होता है।
व्याख्या (Explanation): जब हम शर्करा युक्त खाद्य पदार्थ खाते हैं, तो मुंह में मौजूद बैक्टीरिया इन शर्कराओं का चयापचय करके अम्ल (जैसे लैक्टिक एसिड) का उत्पादन करते हैं। यह अम्ल दाँतों के इनेमल को डीमिनरलाइज़ (demineralize) करना शुरू कर देता है, जिससे दाँतों का क्षय होता है। इसलिए, शर्करा का सेवन और अम्ल उत्पादन करने वाले बैक्टीरिया दोनों दाँतों के क्षय के मुख्य कारण हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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कोशिका का पावरहाउस (Powerhouse of the cell) किसे कहा जाता है?
- (a) नाभिक (Nucleus)
- (b) लाइसोसोम (Lysosome)
- (c) राइबोसोम (Ribosome)
- (d) माइटोकॉन्ड्रिया (Mitochondria)
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): माइटोकॉन्ड्रिया वह झिल्ली-बद्ध कोशिकांग (membrane-bound organelle) है जो कोशिका के लिए अधिकांश रासायनिक ऊर्जा का उत्पादन करता है।
व्याख्या (Explanation): माइटोकॉन्ड्रिया कोशिकीय श्वसन (cellular respiration) के माध्यम से एडेनोसिन ट्राइफॉस्फेट (ATP) नामक अणु का उत्पादन करते हैं, जो कोशिका की ऊर्जा मुद्रा (energy currency) है। इस कारण से, उन्हें कोशिका का पावरहाउस कहा जाता है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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मानव शरीर में सबसे छोटी हड्डी कौन सी है?
- (a) पटेला (Patella)
- (b) ह्यूमरस (Humerus)
- (c) स्टेपीज़ (Stapes)
- (d) फीमर (Femur)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मानव कंकाल में विभिन्न आकार और कार्य की हड्डियाँ होती हैं।
व्याख्या (Explanation): स्टेपीज़ (या स्टेप्स) मध्य कान (middle ear) में स्थित सबसे छोटी हड्डी है। यह ध्वनि के कंपन को आंतरिक कान तक पहुंचाती है। फीमर (जांघ की हड्डी) मानव शरीर की सबसे लंबी और सबसे मजबूत हड्डी है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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वनस्पति तेलों (vegetable oils) को वनस्पति घी (vegetable ghee) में बदलने के लिए किस प्रक्रिया का उपयोग किया जाता है?
- (a) ऑक्सीकरण (Oxidation)
- (b) हाइड्रोजनीकरण (Hydrogenation)
- (c) क्लीवेज (Cleavage)
- (d) बहुलकीकरण (Polymerization)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): हाइड्रोजनीकरण एक रासायनिक प्रक्रिया है जिसमें हाइड्रोजन को किसी यौगिक में जोड़ा जाता है, विशेष रूप से असंतृप्त (unsaturated) यौगिकों में।
व्याख्या (Explanation): वनस्पति तेल असंतृप्त वसा (unsaturated fats) होते हैं जिनमें कार्बन-कार्बन द्वि-बंध (double bonds) होते हैं। हाइड्रोजनीकरण प्रक्रिया में, इन द्वि-बंधों पर उत्प्रेरक (जैसे निकेल) की उपस्थिति में हाइड्रोजन जोड़ा जाता है, जिससे वे एकल-बंधों (single bonds) में परिवर्तित हो जाते हैं। इससे तेल अर्ध-ठोस या ठोस वसा (वनस्पति घी) में बदल जाता है, जो कम पिघलने वाले बिंदु वाले संतृप्त वसा (saturated fats) के करीब होता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।