Get free Notes

सफलता सिर्फ कड़ी मेहनत से नहीं, सही मार्गदर्शन से मिलती है। हमारे सभी विषयों के कम्पलीट नोट्स, G.K. बेसिक कोर्स, और करियर गाइडेंस बुक के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें।

Click Here

सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न: अपनी तैयारी को परखें

सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न: अपनी तैयारी को परखें

परिचय:** प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी में सामान्य विज्ञान (General Science) एक महत्वपूर्ण खंड है। यह न केवल आपके ज्ञान का परीक्षण करता है, बल्कि आपको अपने आसपास की दुनिया की वैज्ञानिक समझ को भी गहरा करता है। भौतिकी, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के सिद्धांतों पर आधारित प्रश्न अक्सर परीक्षाओं में पूछे जाते हैं, और इन पर अच्छी पकड़ आपको मेरिट सूची में आगे बढ़ा सकती है। इस अभ्यास सेट में, हमने विभिन्न विषयों से 25 उच्च-गुणवत्ता वाले बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQs) संकलित किए हैं, जो आपकी तैयारी को परखने और महत्वपूर्ण अवधारणाओं को दोहराने में आपकी मदद करेंगे। प्रत्येक प्रश्न का विस्तृत हल और वैज्ञानिक स्पष्टीकरण दिया गया है ताकि आप विषय वस्तु को बेहतर ढंग से समझ सकें।


सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)

  1. आर्द्रभूमि (wetlands) में मीथेन (Methane) उत्पादन के लिए मुख्य रूप से कौन से सूक्ष्मजीव जिम्मेदार हैं?

    • (a) नाइट्रेटिंग बैक्टीरिया
    • (b) मीथेनोजेनिक आर्किया
    • (c) सायनोबैक्टीरिया
    • (d) सल्फेट-कम करने वाले बैक्टीरिया

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मीथेनोजेनेसिस (Methanogenesis) एक जैवरासायनिक प्रक्रिया है जिसमें सूक्ष्मजीव कार्बनिक पदार्थों के अवायवीय अपघटन (anaerobic decomposition) के दौरान मीथेन का उत्पादन करते हैं।

    व्याख्या (Explanation): मीथेनोजेन (Methanogens) एक प्रकार के आर्किया (Archaea) हैं जो कम ऑक्सीजन (अवायवीय) वाले वातावरण जैसे दलदल, आर्द्रभूमि, जुगाली करने वाले जानवरों की आंतों और लैंडफिल में पनपते हैं। ये जीव कार्बन डाइऑक्साइड और हाइड्रोजन, या एसीटेट जैसे सरल कार्बनिक यौगिकों का उपयोग करके मीथेन का उत्पादन करते हैं। अन्य विकल्प अलग-अलग जैव-रासायनिक प्रक्रियाओं में शामिल होते हैं।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  2. मीथेन (CH4) अणु में कार्बन परमाणु का संकरण (hybridization) क्या है?

    • (a) sp
    • (b) sp2
    • (c) sp3
    • (d) dsp2

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): संकरण (hybridization) रासायनिक बंधों के निर्माण में परमाणु ऑर्बिटलों के मिश्रण की प्रक्रिया है। यह अणु की ज्यामिति और बंध कोणों को निर्धारित करता है।

    व्याख्या (Explanation): मीथेन (CH4) अणु में, कार्बन परमाणु चार हाइड्रोजन परमाणुओं के साथ एकल सहसंयोजक बंधन बनाता है। कार्बन के चार वैलेंस इलेक्ट्रॉन होते हैं, और जब यह चार एकल बंधन बनाता है, तो यह एक sp³ संकरित अवस्था में होता है। यह एक चतुष्फलकीय (tetrahedral) ज्यामिति और लगभग 109.5 डिग्री के बंध कोणों की ओर जाता है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  3. निम्नलिखित में से कौन-सा बल किसी द्रव में आंशिक रूप से या पूरी तरह डूबी हुई वस्तु पर ऊपर की ओर कार्य करता है?

    • (a) गुरुत्वाकर्षण बल
    • (b) श्यानता बल (Viscous force)
    • (c) उत्प्लावन बल (Buoyant force)
    • (d) पृष्ठ तनाव बल (Surface tension force)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आर्किमिडीज का सिद्धांत (Archimedes’ Principle) बताता है कि किसी द्रव में आंशिक रूप से या पूरी तरह डूबी हुई वस्तु पर लगने वाला उत्प्लावन बल विस्थापित द्रव के भार के बराबर होता है।

    व्याख्या (Explanation): उत्प्लावन बल एक द्रव द्वारा उस पर डूबी हुई वस्तु पर लगाया गया ऊपर की ओर का बल है। यही कारण है कि वस्तुएं पानी में तैरती या हल्की महसूस होती हैं। गुरुत्वाकर्षण बल वस्तु को नीचे खींचता है, श्यानता द्रव के प्रवाह के प्रतिरोध से संबंधित है, और पृष्ठ तनाव द्रव की सतह पर कार्य करता है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  4. आर्द्रभूमि (wetlands) के संदर्भ में, निम्नलिखित में से कौन-सा पारिस्थितिक कार्य नहीं है?

    • (a) जल शोधन (Water purification)
    • (b) कार्बन पृथक्करण (Carbon sequestration)
    • (c) बाढ़ नियंत्रण (Flood control)
    • (d) मरुस्थलीकरण (Desertification)

    उत्तर: (d)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आर्द्रभूमि पारिस्थितिक तंत्र हैं जो भूमि और पानी के बीच संक्रमणकालीन क्षेत्रों में मौजूद हैं और अद्वितीय पर्यावरणीय सेवाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान करते हैं।

    व्याख्या (Explanation): आर्द्रभूमि को अक्सर “पृथ्वी की किडनी” कहा जाता है क्योंकि वे पानी से प्रदूषकों को फ़िल्टर करने में मदद करती हैं। वे कार्बन डाइऑक्साइड को अवशोषित करके और अपने पौधों और मिट्टी में संग्रहीत करके कार्बन पृथक्करण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। अपनी स्पंज जैसी क्षमता के कारण, वे वर्षा जल को अवशोषित करके और धीरे-धीरे उसे छोड़ कर बाढ़ को नियंत्रित करने में मदद करती हैं। मरुस्थलीकरण एक प्रक्रिया है जिसके द्वारा एक उपजाऊ भूमि मरुस्थल में बदल जाती है, जो आर्द्रभूमि का कार्य नहीं है, बल्कि अक्सर उनके विनाश से संबंधित हो सकती है।

    अतः, सही उत्तर (d) है।

  5. मीथेन एक शक्तिशाली ग्रीनहाउस गैस है। यह किस प्रकार की विकिरण को अवशोषित करके ग्रीनहाउस प्रभाव में योगदान करती है?

    • (a) पराबैंगनी विकिरण (Ultraviolet radiation)
    • (b) दृश्य प्रकाश (Visible light)
    • (c) अवरक्त विकिरण (Infrared radiation)
    • (d) एक्स-रे (X-rays)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ग्रीनहाउस गैसें पृथ्वी द्वारा उत्सर्जित तापीय अवरक्त विकिरण (thermal infrared radiation) को अवशोषित और पुन: उत्सर्जित करके ग्रह के वायुमंडल को गर्म करती हैं।

    व्याख्या (Explanation): ग्रीनहाउस गैसें, जैसे मीथेन, कार्बन डाइऑक्साइड और नाइट्रस ऑक्साइड, सूर्य से आने वाले दृश्य प्रकाश को पृथ्वी तक पहुँचने देती हैं। पृथ्वी इस ऊर्जा को अवशोषित करती है और इसे अवरक्त विकिरण (गर्मी) के रूप में पुन: उत्सर्जित करती है। ग्रीनहाउस गैसें इस अवरक्त विकिरण को अवशोषित कर लेती हैं, इसे वायुमंडल में फंसा लेती हैं और ग्रह को गर्म करती हैं, जिससे ग्रीनहाउस प्रभाव पैदा होता है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  6. जीव विज्ञान में “जैव-उपचार” (Bioremediation) शब्द का क्या अर्थ है?

    • (a) आनुवंशिक रूप से संशोधित जीवों का उपयोग करके नई प्रजातियाँ बनाना
    • (b) सूक्ष्मजीवों या पौधों का उपयोग करके प्रदूषकों को हटाना या निष्क्रिय करना
    • (c) जैविक प्रक्रियाओं का उपयोग करके बीमारियों का इलाज करना
    • (d) जैविक कचरे को ऊर्जा में बदलना

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): जैव-उपचार एक अपशिष्ट प्रबंधन तकनीक है जिसमें प्रदूषकों को हटाने या निष्क्रिय करने के लिए जैविक प्रणालियों (विशेष रूप से सूक्ष्मजीवों) का उपयोग किया जाता है।

    व्याख्या (Explanation): जैव-उपचार एक ऐसी प्रक्रिया है जो सूक्ष्मजीवों (जैसे बैक्टीरिया और कवक) या पौधों का उपयोग करके मिट्टी, पानी और हवा से प्रदूषकों को हटाने या कम करने में मदद करती है। ये जीव प्रदूषकों को कम हानिकारक या गैर-विषाक्त पदार्थों में तोड़ देते हैं। यह पर्यावरण को साफ करने की एक स्वाभाविक और अक्सर लागत प्रभावी विधि है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  7. द्रवों में ध्वनि तरंगों की गति गैसों की तुलना में आमतौर पर क्यों अधिक होती है?

    • (a) द्रवों का घनत्व कम होता है।
    • (b) द्रवों का संपीड्यता गुणांक (compressibility) अधिक होता है।
    • (c) द्रवों की प्रत्यास्थता (elasticity) गैसों की तुलना में अधिक होती है।
    • (d) द्रवों का तापमान हमेशा गैसों से अधिक होता है।

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ध्वनि तरंगें माध्यम में कणों के कंपन के माध्यम से यात्रा करती हैं। ध्वनि की गति माध्यम की प्रत्यास्थता (कठोरता) और घनत्व पर निर्भर करती है: v = √(B/ρ), जहाँ B बल्क मापांक (प्रत्यास्थता का माप) है और ρ घनत्व है।

    व्याख्या (Explanation): यद्यपि द्रवों का घनत्व गैसों की तुलना में अधिक होता है, उनकी प्रत्यास्थता (कणों के बीच मजबूत अंतर-आणविक बलों के कारण) बहुत अधिक होती है। प्रत्यास्थता ही ध्वनि तरंगों को अधिक कुशलता से फैलने देती है। उच्च प्रत्यास्थता (या बल्क मापांक) का प्रभाव ध्वनि की गति पर घनत्व के प्रभाव से अधिक होता है, जिसके परिणामस्वरूप द्रवों में ध्वनि गैसों की तुलना में तेजी से यात्रा करती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  8. निम्नलिखित में से कौन-सा मीथेन का एक प्राकृतिक स्रोत नहीं है?

    • (a) आर्द्रभूमि (Wetlands)
    • (b) दीमक (Termites)
    • (c) ज्वालामुखी विस्फोट (Volcanic eruptions)
    • (d) पशुधन (Livestock)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): मीथेन कई प्राकृतिक प्रक्रियाओं द्वारा उत्पन्न होती है, खासकर अवायवीय स्थितियों में कार्बनिक पदार्थों के अपघटन से।

    व्याख्या (Explanation): आर्द्रभूमि, दीमक और पशुधन (जुगाली करने वाले जानवर) सभी मीथेन के प्राकृतिक स्रोत हैं, जहां सूक्ष्मजीव अवायवीय रूप से कार्बनिक पदार्थों को तोड़ते हैं। ज्वालामुखी विस्फोट मुख्य रूप से सल्फर डाइऑक्साइड, कार्बन डाइऑक्साइड और जल वाष्प जैसी गैसें छोड़ते हैं, लेकिन मीथेन की महत्वपूर्ण मात्रा नहीं छोड़ते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  9. जल निकायों में, BOD (Biochemical Oxygen Demand) का उच्च मान क्या दर्शाता है?

    • (a) पानी साफ है और ऑक्सीजन से भरपूर है।
    • (b) पानी में जैविक प्रदूषण का स्तर कम है।
    • (c) पानी में जैविक प्रदूषण का स्तर उच्च है।
    • (d) पानी में अम्लता का स्तर उच्च है।

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): BOD पानी में मौजूद सूक्ष्मजीवों द्वारा कार्बनिक पदार्थों को तोड़ने के लिए आवश्यक घुलित ऑक्सीजन की मात्रा का माप है।

    व्याख्या (Explanation): BOD का उच्च मान इंगित करता है कि पानी में बड़ी मात्रा में विघटित होने वाला जैविक पदार्थ मौजूद है। इन कार्बनिक पदार्थों को तोड़ने के लिए अधिक ऑक्सीजन की आवश्यकता होती है, जिससे जलीय जीवों के लिए उपलब्ध घुलित ऑक्सीजन (DO) का स्तर कम हो जाता है। यह अक्सर अनुपचारित सीवेज या औद्योगिक अपशिष्टों के कारण जल प्रदूषण का संकेत होता है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  10. सूर्य के प्रकाश के किस घटक को पौधों द्वारा प्रकाश संश्लेषण (photosynthesis) के लिए प्राथमिक रूप से अवशोषित किया जाता है?

    • (a) पराबैंगनी विकिरण
    • (b) दृश्य प्रकाश
    • (c) अवरक्त विकिरण
    • (d) माइक्रोवेव

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): प्रकाश संश्लेषण वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा हरे पौधे और कुछ अन्य जीव सूर्य के प्रकाश का उपयोग करके कार्बन डाइऑक्साइड और पानी से अपने भोजन का संश्लेषण करते हैं। यह प्रक्रिया मुख्य रूप से क्लोरोफिल नामक वर्णक द्वारा की जाती है।

    व्याख्या (Explanation): पौधों में मौजूद क्लोरोफिल जैसे प्रकाश संश्लेषक वर्णक मुख्य रूप से सूर्य के प्रकाश के दृश्यमान स्पेक्ट्रम को अवशोषित करते हैं। विशेष रूप से, वे नीले और लाल तरंग दैर्ध्य को सबसे प्रभावी ढंग से अवशोषित करते हैं, जबकि हरे प्रकाश को परावर्तित करते हैं (यही कारण है कि पौधे हरे दिखाई देते हैं)। अवशोषित प्रकाश ऊर्जा का उपयोग भोजन (ग्लूकोज) बनाने के लिए किया जाता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  11. निम्नलिखित में से कौन-सा कार्बनिक यौगिकों का एक वर्ग है जिसमें मीथेन (CH4) शामिल है?

    • (a) अल्कोहल (Alcohols)
    • (b) एल्कीन (Alkenes)
    • (c) एल्काइन (Alkynes)
    • (d) एल्केन (Alkanes)

    उत्तर: (d)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): एल्केन संतृप्त हाइड्रोकार्बन होते हैं जिनमें केवल कार्बन-कार्बन एकल बंध होते हैं, एल्कीन में कम से कम एक कार्बन-कार्बन दोहरा बंध होता है, और एल्काइन में कम से कम एक कार्बन-कार्बन तिहरा बंध होता है। अल्कोहल में एक हाइड्रॉक्सिल (-OH) समूह होता है।

    व्याख्या (Explanation): मीथेन (CH4) सबसे सरल हाइड्रोकार्बन है, जिसमें एक कार्बन परमाणु चार हाइड्रोजन परमाणुओं से जुड़ा होता है। इसमें कोई दोहरा या तिहरा बंध नहीं होता है और इसमें एक हाइड्रॉक्सिल समूह भी नहीं होता है। इस प्रकार, यह एल्केन वर्ग से संबंधित है, जो एकल बंधों वाले संतृप्त हाइड्रोकार्बन हैं।

    अतः, सही उत्तर (d) है।

  12. पानी में एक वस्तु का घनत्व मापने के लिए निम्नलिखित में से किस सिद्धांत का उपयोग किया जा सकता है?

    • (a) न्यूटन का गति का नियम
    • (b) पास्कल का सिद्धांत
    • (c) आर्किमिडीज का सिद्धांत
    • (d) बर्नौली का सिद्धांत

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): आर्किमिडीज का सिद्धांत वस्तुओं पर उत्प्लावन बल और विस्थापित द्रव के संबंध को बताता है, जिसका उपयोग वस्तु के आयतन और अंततः घनत्व को निर्धारित करने के लिए किया जा सकता है।

    व्याख्या (Explanation): आर्किमिडीज का सिद्धांत वस्तुओं के तैरने और डूबने से संबंधित है। यह सिद्धांत यह समझने के लिए मौलिक है कि कैसे एक वस्तु पानी में डूबे होने पर अपना वजन कम करती है और इसलिए, इसका उपयोग किसी वस्तु के घनत्व को निर्धारित करने के लिए किया जा सकता है, खासकर यदि यह पानी में डूबती या तैरती है। न्यूटन के नियम गति से संबंधित हैं, पास्कल का सिद्धांत द्रवों में दबाव के संचरण से संबंधित है, और बर्नौली का सिद्धांत द्रव प्रवाह में ऊर्जा संरक्षण से संबंधित है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  13. एक जलीय पारिस्थितिकी तंत्र में, फाइटोप्लैंकटन (Phytoplankton) किस पोषण स्तर (trophic level) से संबंधित हैं?

    • (a) प्राथमिक उपभोक्ता
    • (b) द्वितीयक उपभोक्ता
    • (c) उत्पादक
    • (d) अपघटक

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): पारिस्थितिकी तंत्र में, पोषण स्तर खाद्य श्रृंखला में एक जीव की स्थिति का प्रतिनिधित्व करता है, जो इस बात से निर्धारित होता है कि वह अपनी ऊर्जा कहाँ से प्राप्त करता है।

    व्याख्या (Explanation): फाइटोप्लैंकटन सूक्ष्म शैवाल और सायनोबैक्टीरिया हैं जो प्रकाश संश्लेषण के माध्यम से अपनी ऊर्जा सूर्य के प्रकाश से प्राप्त करते हैं। इस प्रकार, वे जलीय खाद्य श्रृंखला के आधार पर प्राथमिक उत्पादक होते हैं, जो अन्य जलीय जीवों के लिए ऊर्जा का स्रोत होते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  14. ऊर्जा का वह रूप जो जैव ईंधन (biogas) के दहन से उत्पन्न होता है, वह किस प्रकार की ऊर्जा में परिवर्तित होता है?

    • (a) रासायनिक ऊर्जा से प्रकाश ऊर्जा
    • (b) रासायनिक ऊर्जा से तापीय ऊर्जा
    • (c) यांत्रिक ऊर्जा से विद्युत ऊर्जा
    • (d) विद्युत ऊर्जा से रासायनिक ऊर्जा

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ऊर्जा संरक्षण का नियम बताता है कि ऊर्जा को न तो बनाया जा सकता है और न ही नष्ट किया जा सकता है, इसे केवल एक रूप से दूसरे रूप में परिवर्तित किया जा सकता है।

    व्याख्या (Explanation): बायोगैस (जिसमें मुख्य रूप से मीथेन होती है) एक जैव ईंधन है जिसमें रासायनिक ऊर्जा संग्रहीत होती है। जब इसे जलाया जाता है (दहन किया जाता है), तो रासायनिक बंध टूटते हैं और ऊर्जा गर्मी (तापीय ऊर्जा) और कुछ हद तक प्रकाश के रूप में निकलती है। इस तापीय ऊर्जा का उपयोग फिर बिजली उत्पन्न करने या सीधे खाना पकाने या हीटिंग के लिए किया जा सकता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  15. निम्नलिखित में से कौन-सा जीवमंडल में नाइट्रोजन स्थिरीकरण (Nitrogen Fixation) के लिए जिम्मेदार है?

    • (a) नाइट्रिफाइंग बैक्टीरिया
    • (b) डीनाइट्रिफाइंग बैक्टीरिया
    • (c) राइजोबियम (Rhizobium)
    • (d) सल्फेट कम करने वाले बैक्टीरिया

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): नाइट्रोजन स्थिरीकरण वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा वायुमंडलीय नाइट्रोजन (N2) को अमोनिया (NH3) में परिवर्तित किया जाता है, जिसे पौधों द्वारा उपयोग किया जा सकता है।

    व्याख्या (Explanation): राइजोबियम एक प्रकार का बैक्टीरिया है जो फलीदार पौधों (जैसे मटर, सोयाबीन) की जड़ों में सहजीवी संबंध में रहता है। ये बैक्टीरिया वायुमंडलीय नाइट्रोजन को अमोनिया में बदलने में सक्षम होते हैं, जो पौधों द्वारा उपयोग किया जाने वाला एक रूप है। नाइट्रिफाइंग बैक्टीरिया अमोनिया को नाइट्रेट में बदलते हैं, जबकि डीनाइट्रिफाइंग बैक्टीरिया नाइट्रेट को वापस गैसीय नाइट्रोजन में बदलते हैं। सल्फेट कम करने वाले बैक्टीरिया सल्फर चक्र में शामिल होते हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  16. रासायनिक अभिक्रियाओं की दर (rate) को बढ़ाने या घटाने वाले पदार्थ क्या कहलाते हैं, जो स्वयं अभिक्रिया में भाग नहीं लेते हैं?

    • (a) अभिकर्मक (Reactants)
    • (b) उत्पाद (Products)
    • (c) उत्प्रेरक (Catalysts)
    • (d) विलायक (Solvents)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): उत्प्रेरक वे पदार्थ होते हैं जो एक रासायनिक अभिक्रिया की सक्रियण ऊर्जा (activation energy) को बदलकर उसकी दर को प्रभावित करते हैं, लेकिन अभिक्रिया के अंत में रासायनिक रूप से अपरिवर्तित रहते हैं।

    व्याख्या (Explanation): उत्प्रेरक वे पदार्थ होते हैं जो किसी रासायनिक अभिक्रिया की गति को बढ़ा या घटा सकते हैं बिना स्वयं रासायनिक रूप से उपभोग किए। वे सक्रियण ऊर्जा के लिए एक वैकल्पिक मार्ग प्रदान करके ऐसा करते हैं। अभिकर्मक वे पदार्थ हैं जो अभिक्रिया करते हैं, उत्पाद वे पदार्थ हैं जो बनते हैं, और विलायक वह पदार्थ है जिसमें विलेय घुलता है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  17. ऊष्मा स्थानांतरण (heat transfer) का कौन सा तरीका निर्वात (vacuum) के माध्यम से हो सकता है?

    • (a) चालन (Conduction)
    • (b) संवहन (Convection)
    • (c) विकिरण (Radiation)
    • (d) इनमें से कोई नहीं

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ऊष्मा स्थानांतरण के तीन मुख्य तरीके हैं: चालन (ठोस में कणों के सीधे संपर्क से), संवहन (तरल पदार्थ या गैसों में अणुओं की गति से), और विकिरण (विद्युत चुम्बकीय तरंगों के माध्यम से)।

    व्याख्या (Explanation): चालन और संवहन को ऊष्मा स्थानांतरित करने के लिए एक माध्यम की आवश्यकता होती है क्योंकि वे कणों की गति या टक्कर पर निर्भर करते हैं। हालांकि, विकिरण ऊर्जा विद्युत चुम्बकीय तरंगों (जैसे अवरक्त विकिरण) के माध्यम से यात्रा करती है, जिसे प्रसार के लिए किसी माध्यम की आवश्यकता नहीं होती है। यही कारण है कि सूर्य की गर्मी निर्वात में अंतरिक्ष के माध्यम से पृथ्वी तक पहुँचती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  18. जब एक जल निकाय पोषक तत्वों से अत्यधिक समृद्ध हो जाता है, जिससे शैवाल की वृद्धि तीव्र हो जाती है और अंततः ऑक्सीजन की कमी हो जाती है, तो इस प्रक्रिया को क्या कहते हैं?

    • (a) अम्लीय वर्षा
    • (b) यूट्रोफिकेशन (Eutrophication)
    • (c) जैव आवर्धन (Biomagnification)
    • (d) मरुस्थलीकरण

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): यूट्रोफिकेशन एक पारिस्थितिक प्रक्रिया है जिसमें पोषक तत्वों, विशेष रूप से नाइट्रोजन और फास्फोरस, की अधिकता के कारण एक जल निकाय में उत्पादकता (विशेषकर शैवाल की वृद्धि) बढ़ जाती है।

    व्याख्या (Explanation): यूट्रोफिकेशन तब होता है जब कृषि अपवाह या सीवेज से अत्यधिक पोषक तत्व (जैसे नाइट्रेट और फॉस्फेट) जल निकायों में प्रवेश करते हैं। इससे शैवाल (विशेषकर शैवाल प्रस्फुटन या algal blooms) की तीव्र वृद्धि होती है। जब ये शैवाल मर जाते हैं और अपघटित होते हैं, तो वे बैक्टीरिया द्वारा अपघटन के लिए बड़ी मात्रा में ऑक्सीजन का उपभोग करते हैं, जिससे पानी में ऑक्सीजन का स्तर कम हो जाता है (हाइपोक्सिया या एनोक्सिया), जो मछली और अन्य जलीय जीवों के लिए हानिकारक है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  19. निम्नलिखित में से कौन-सी गैस दहन (combustion) की प्रक्रिया को बनाए रखने के लिए आवश्यक है?

    • (a) कार्बन डाइऑक्साइड
    • (b) नाइट्रोजन
    • (c) ऑक्सीजन
    • (d) हाइड्रोजन

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): दहन एक रासायनिक प्रक्रिया है जिसमें एक पदार्थ तेजी से ऑक्सीजन के साथ प्रतिक्रिया करता है, जिससे ऊष्मा और प्रकाश के रूप में ऊर्जा निकलती है।

    व्याख्या (Explanation): अधिकांश दहन प्रक्रियाओं के लिए ऑक्सीजन एक आवश्यक अभिकर्मक है। यह ईंधन के साथ प्रतिक्रिया करता है, जिससे गर्मी और प्रकाश निकलता है। ऑक्सीजन के बिना, आग जल नहीं सकती। कार्बन डाइऑक्साइड दहन का एक उत्पाद है, नाइट्रोजन एक अक्रिय गैस है जो वायुमंडल में बड़ी मात्रा में मौजूद है लेकिन दहन में भाग नहीं लेती, और हाइड्रोजन एक अत्यधिक ज्वलनशील ईंधन है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  20. मानव शरीर में हीमोग्लोबिन का मुख्य कार्य क्या है?

    • (a) रक्त का थक्का जमाना
    • (b) हार्मोन का उत्पादन
    • (c) शरीर में ऑक्सीजन का परिवहन
    • (d) संक्रमण से लड़ना

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): हीमोग्लोबिन लाल रक्त कोशिकाओं में पाया जाने वाला एक प्रोटीन है जिसमें लौह (iron) होता है और यह ऑक्सीजन के परिवहन के लिए विशिष्ट रूप से अनुकूल होता है।

    व्याख्या (Explanation): हीमोग्लोबिन लाल रक्त कोशिकाओं में मौजूद एक महत्वपूर्ण प्रोटीन है। इसका प्राथमिक कार्य फेफड़ों से ऑक्सीजन को शरीर के विभिन्न ऊतकों और अंगों तक ले जाना है। यह कार्बन डाइऑक्साइड को ऊतकों से फेफड़ों तक वापस लाने में भी मदद करता है ताकि उसे बाहर निकाला जा सके।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  21. निम्नलिखित में से कौन-सा ऊर्जा का पारंपरिक स्रोत नहीं है?

    • (a) कोयला
    • (b) पेट्रोलियम
    • (c) सौर ऊर्जा
    • (d) प्राकृतिक गैस

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ऊर्जा के पारंपरिक स्रोत वे हैं जिनका उपयोग लंबे समय से किया जा रहा है और जो सीमित मात्रा में उपलब्ध हैं, जबकि गैर-पारंपरिक या नवीकरणीय स्रोत वे हैं जो असीमित हैं या स्वाभाविक रूप से पुनः उत्पन्न होते हैं।

    व्याख्या (Explanation): कोयला, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस जीवाश्म ईंधन हैं और ऊर्जा के पारंपरिक (और गैर-नवीकरणीय) स्रोत हैं, जो लाखों वर्षों में बनते हैं और सीमित मात्रा में मौजूद हैं। सौर ऊर्जा, इसके विपरीत, सूर्य से प्राप्त होती है और इसे ऊर्जा का एक गैर-पारंपरिक (और नवीकरणीय) स्रोत माना जाता है, क्योंकि यह लगातार उपलब्ध रहती है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  22. किसी विलयन का pH मान 7 से कम होना क्या दर्शाता है?

    • (a) विलयन क्षारीय है।
    • (b) विलयन उदासीन है।
    • (c) विलयन अम्लीय है।
    • (d) विलयन में कोई आयन नहीं हैं।

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): pH (पोटेंशियल हाइड्रोजन) मान किसी विलयन में हाइड्रोजन आयन (H+) की सांद्रता का माप है, जो इसकी अम्लता या क्षारीयता को निर्धारित करता है।

    व्याख्या (Explanation): pH पैमाना 0 से 14 तक होता है। 7 का pH मान उदासीनता (जैसे शुद्ध पानी) को दर्शाता है। 7 से कम pH मान अम्लीय विलयन को दर्शाता है, जिसका अर्थ है कि इसमें H+ आयनों की सांद्रता अधिक है। 7 से अधिक pH मान क्षारीय (या बुनियादी) विलयन को दर्शाता है, जिसका अर्थ है कि इसमें हाइड्रॉक्सिल (OH-) आयनों की सांद्रता अधिक है।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  23. पौधों में जाइलम (Xylem) का मुख्य कार्य क्या है?

    • (a) भोजन का परिवहन
    • (b) पानी और खनिजों का परिवहन
    • (c) प्रकाश संश्लेषण
    • (d) हार्मोन का उत्पादन

    उत्तर: (b)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): पौधों में दो मुख्य संवहनी ऊतक होते हैं – जाइलम और फ्लोएम – जो विभिन्न पदार्थों के परिवहन के लिए जिम्मेदार होते हैं।

    व्याख्या (Explanation): जाइलम एक संवहनी ऊतक है जो पौधों की जड़ों से पत्तियों तक पानी और घुले हुए खनिजों के परिवहन के लिए जिम्मेदार है। यह पौधे को यांत्रिक सहायता भी प्रदान करता है। फ्लोएम पौधों में पत्तियों से तैयार भोजन को अन्य भागों तक पहुंचाता है।

    अतः, सही उत्तर (b) है।

  24. एक ध्वनि तरंग के संबंध में, निम्नलिखित में से कौन-सा गुण उसकी पिच (pitch) को निर्धारित करता है?

    • (a) आयाम (Amplitude)
    • (b) तरंगदैर्ध्य (Wavelength)
    • (c) आवृत्ति (Frequency)
    • (d) वेग (Velocity)

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): ध्वनि तरंगें माध्यम में यांत्रिक कंपन होती हैं, और उनके गुणों में आयाम, आवृत्ति, तरंगदैर्ध्य और वेग शामिल हैं।

    व्याख्या (Explanation): ध्वनि की पिच, जिसे हम उच्च या निम्न स्वर के रूप में समझते हैं, उसकी आवृत्ति (प्रति सेकंड कंपन की संख्या) द्वारा निर्धारित होती है। उच्च आवृत्ति का अर्थ है उच्च पिच, और निम्न आवृत्ति का अर्थ है निम्न पिच। आयाम ध्वनि की प्रबलता या तीव्रता से संबंधित है, जबकि तरंगदैर्ध्य और वेग आवृत्ति से संबंधित हैं (v = fλ)।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  25. खाद्य श्रृंखला (food chain) में अपघटक (decomposers) की क्या भूमिका है?

    • (a) वे अपना भोजन सीधे सूर्य के प्रकाश से बनाते हैं।
    • (b) वे प्राथमिक उपभोक्ताओं का उपभोग करते हैं।
    • (c) वे मृत कार्बनिक पदार्थों को तोड़ते हैं और पोषक तत्वों को पुनर्चक्रित करते हैं।
    • (d) वे अन्य जीवों के लिए शिकार होते हैं।

    उत्तर: (c)

    हल (Solution):

    सिद्धांत (Principle): पारिस्थितिकी तंत्र में अपघटक (जैसे बैक्टीरिया और कवक) महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं क्योंकि वे मृत कार्बनिक पदार्थों को पोषक तत्वों में तोड़ते हैं जिन्हें फिर से उपयोग किया जा सकता है।

    व्याख्या (Explanation): अपघटक, जैसे बैक्टीरिया और कवक, मृत पौधों और जानवरों के साथ-साथ उनके कचरे को तोड़कर पारिस्थितिकी तंत्र में एक आवश्यक भूमिका निभाते हैं। यह प्रक्रिया कार्बनिक पदार्थों से पोषक तत्वों को मिट्टी या पानी में वापस छोड़ती है, जिससे वे उत्पादकों द्वारा फिर से उपयोग किए जा सकते हैं। वे ऊर्जा चक्र और पोषक तत्व चक्र दोनों में महत्वपूर्ण हैं।

    अतः, सही उत्तर (c) है।

  26. सफलता सिर्फ कड़ी मेहनत से नहीं, सही मार्गदर्शन से मिलती है। हमारे सभी विषयों के कम्पलीट नोट्स, G.K. बेसिक कोर्स, और करियर गाइडेंस बुक के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें।
    [कोर्स और फ्री नोट्स के लिए यहाँ क्लिक करें]

Leave a Comment