प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न: फसल अनुसंधान और विकास
परिचय: प्रतियोगी परीक्षाओं में सफल होने के लिए सामान्य विज्ञान की गहरी समझ आवश्यक है। यह खंड विशेष रूप से उन महत्वपूर्ण प्रश्नों का संग्रह प्रदान करता है जो अक्सर कृषि, पर्यावरण और जीव विज्ञान से संबंधित होते हैं, जिससे आपकी तैयारी को एक नई दिशा मिलेगी।
सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)
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निम्नलिखित में से कौन सा प्रकाश संश्लेषण के लिए आवश्यक प्राथमिक पोषक तत्व है?
- (a) नाइट्रोजन
- (b) फास्फोरस
- (c) पोटेशियम
- (d) मैग्नीशियम
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रकाश संश्लेषण वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा हरे पौधे और कुछ अन्य जीव सूर्य के प्रकाश का उपयोग करके कार्बन डाइऑक्साइड और पानी से पोषक तत्वों (ग्लूकोज) का संश्लेषण करते हैं। क्लोरोफिल, जो प्रकाश संश्लेषण के लिए महत्वपूर्ण है, में मैग्नीशियम एक केंद्रीय परमाणु है।
व्याख्या (Explanation): मैग्नीशियम क्लोरोफिल अणु का एक अभिन्न अंग है, जो प्रकाश ऊर्जा को अवशोषित करने के लिए जिम्मेदार है। इसके बिना, प्रकाश संश्लेषण कुशलता से नहीं हो सकता। नाइट्रोजन प्रोटीन और न्यूक्लिक एसिड के लिए महत्वपूर्ण है, फास्फोरस ऊर्जा हस्तांतरण (ATP) के लिए, और पोटेशियम एंजाइम सक्रियण और स्टोमेटल रेगुलेशन के लिए महत्वपूर्ण है, लेकिन प्रकाश संश्लेषण के लिए क्लोरोफिल के घटक के रूप में मैग्नीशियम सबसे प्रत्यक्ष रूप से आवश्यक है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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पौधों में जल परिवहन के लिए कौन सा ऊतक जिम्मेदार है?
- (a) जाइलम (Xylem)
- (b) फ्लोएम (Phloem)
- (c) पैरेन्काइमा (Parenchyma)
- (d) स्क्लेरेन्काइमा (Sclerenchyma)
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): पौधों में संवहनी ऊतक (vascular tissues) पानी और पोषक तत्वों के परिवहन के लिए जिम्मेदार होते हैं। जाइलम और फ्लोएम दो मुख्य प्रकार के संवहनी ऊतक हैं।
व्याख्या (Explanation): जाइलम मुख्य रूप से जड़ों से पत्तियों तक पानी और घुले हुए खनिजों के ऊपर की ओर परिवहन के लिए जिम्मेदार है। फ्लोएम पत्तियों से पौधे के अन्य भागों में शर्करा (भोजन) का परिवहन करता है। पैरेन्काइमा और स्क्लेरेन्काइमा क्रमशः भंडारण और यांत्रिक सहायता के लिए होते हैं।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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दलहनी फसलों में नाइट्रोजन स्थिरीकरण (nitrogen fixation) के लिए कौन सा जीवाणु जिम्मेदार है?
- (a) एग्रोबैक्टीरियम (Agrobacterium)
- (b) राइजोबियम (Rhizobium)
- (c) स्यूडोमोनास (Pseudomonas)
- (d) ई. कोलाई (E. coli)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): नाइट्रोजन स्थिरीकरण वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा वायुमंडलीय नाइट्रोजन (N₂) को अमोनिया (NH₃) जैसे अधिक प्रतिक्रियाशील यौगिकों में परिवर्तित किया जाता है, जिसका उपयोग पौधे कर सकते हैं।
व्याख्या (Explanation): राइजोबियम जीवाणु दलहनी पौधों (जैसे मटर, सेम) की जड़ों में सहजीवी संबंध में पाए जाते हैं और वायुमंडलीय नाइट्रोजन को अमोनिया में परिवर्तित करते हैं, जो पौधे के विकास के लिए अमोनियम आयनों के रूप में उपलब्ध होता है। इसके बदले में, पौधे जीवाणु को शर्करा और आश्रय प्रदान करते हैं। अन्य दिए गए जीवाणु नाइट्रोजन स्थिरीकरण में सीधे तौर पर शामिल नहीं होते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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प्रकाश की किस तरंग दैर्ध्य (wavelength) का उपयोग आमतौर पर पौधों द्वारा प्रकाश संश्लेषण के लिए सबसे अधिक किया जाता है?
- (a) हरा प्रकाश
- (b) नीला और लाल प्रकाश
- (c) पीला प्रकाश
- (d) अवरक्त प्रकाश
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): क्लोरोफिल, प्रकाश संश्लेषण में मुख्य वर्णक, प्रकाश ऊर्जा को अवशोषित करता है। यह वर्णक दृश्यमान स्पेक्ट्रम के कुछ हिस्सों को अवशोषित करता है और दूसरों को परावर्तित करता है।
व्याख्या (Explanation): क्लोरोफिल नीले-बैंगनी और लाल तरंग दैर्ध्य को सबसे कुशलता से अवशोषित करता है। हरे रंग की तरंग दैर्ध्य को यह सबसे अधिक परावर्तित करता है, यही कारण है कि पौधे हरे दिखाई देते हैं। पीला और अवरक्त प्रकाश प्रकाश संश्लेषण के लिए कम प्रभावी होते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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मिट्टी के पीएच (pH) का पौधों की वृद्धि पर क्या प्रभाव पड़ता है?
- (a) पीएच केवल पोषक तत्वों की घुलनशीलता को प्रभावित करता है।
- (b) पीएच पौधों की जड़ों के विकास को सीधे प्रभावित नहीं करता है।
- (c) अत्यधिक अम्लीय या क्षारीय पीएच पोषक तत्वों की उपलब्धता को सीमित कर सकता है।
- (d) पीएच का पौधों की वृद्धि पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता है।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मिट्टी का पीएच मिट्टी के रासायनिक गुणों को महत्वपूर्ण रूप से प्रभावित करता है, विशेष रूप से मिट्टी में पोषक तत्वों की घुलनशीलता और पौधों के लिए उनकी उपलब्धता।
व्याख्या (Explanation): अधिकांश पौधों को एक विशिष्ट पीएच रेंज (आमतौर पर 5.5 से 7.0 के बीच) में सबसे अच्छी वृद्धि होती है। इस सीमा के बाहर, विशेष रूप से अत्यधिक अम्लीय (कम पीएच) या अत्यधिक क्षारीय (उच्च पीएच) स्थितियों में, कुछ आवश्यक पोषक तत्व (जैसे फॉस्फोरस, कैल्शियम, मैग्नीशियम) कम घुलनशील हो जाते हैं और पौधों द्वारा अवशोषित करने के लिए अनुपलब्ध हो जाते हैं। साथ ही, कुछ विषाक्त तत्व (जैसे एल्यूमीनियम) अम्लीय मिट्टी में अधिक घुलनशील हो सकते हैं और पौधों को नुकसान पहुंचा सकते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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पारिस्थितिकी तंत्र में प्राथमिक उत्पादक (primary producers) कौन होते हैं?
- (a) शाकाहारी (Herbivores)
- (b) मांसाहारी (Carnivores)
- (c) स्वपोषी (Autotrophs)
- (d) अपघटक (Decomposers)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): पारिस्थितिकी तंत्र में ऊर्जा का प्रवाह स्वपोषी जीवों से शुरू होता है।
व्याख्या (Explanation): स्वपोषी (जैसे पौधे, शैवाल) प्रकाश संश्लेषण या रसायन संश्लेषण के माध्यम से अपना भोजन स्वयं बनाते हैं, जो उन्हें पारिस्थितिकी तंत्र के प्राथमिक उत्पादक बनाता है। शाकाहारी प्राथमिक उपभोक्ता होते हैं जो स्वपोषी खाते हैं, मांसाहारी द्वितीयक या तृतीयक उपभोक्ता होते हैं, और अपघटक मृत कार्बनिक पदार्थों को तोड़ते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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किसी पदार्थ की अवस्था परिवर्तन के दौरान अवशोषित या मुक्त की गई ऊष्मा को क्या कहते हैं?
- (a) विशिष्ट ऊष्मा (Specific Heat)
- (b) गुप्त ऊष्मा (Latent Heat)
- (c) ऊष्मा धारिता (Heat Capacity)
- (d) ऊष्मीय चालकता (Thermal Conductivity)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अवस्था परिवर्तन (जैसे गलनांक, क्वथनांक) एक निश्चित तापमान पर होता है, जहाँ पदार्थ की अवस्था बदलती है (ठोस से द्रव, द्रव से गैस)। इस प्रक्रिया के दौरान तापमान स्थिर रहता है।
व्याख्या (Explanation): गुप्त ऊष्मा वह ऊर्जा है जो किसी पदार्थ को उसकी अवस्था बदले बिना उसके तापमान को एक डिग्री सेल्सियस तक बदलने के लिए आवश्यक होती है, या वह ऊर्जा जो अवस्था परिवर्तन के दौरान अवशोषित या उत्सर्जित होती है। गलने की गुप्त ऊष्मा (Latent heat of fusion) ठोस को द्रव में बदलने के लिए और वाष्पीकरण की गुप्त ऊष्मा (Latent heat of vaporization) द्रव को गैस में बदलने के लिए होती है। विशिष्ट ऊष्मा किसी पदार्थ के तापमान को 1 डिग्री सेल्सियस बढ़ाने के लिए आवश्यक ऊष्मा की मात्रा है। ऊष्मा धारिता किसी वस्तु के तापमान को 1 डिग्री सेल्सियस बढ़ाने के लिए आवश्यक ऊष्मा की मात्रा है। ऊष्मीय चालकता ऊष्मा के प्रवाह की दर है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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ध्वनि की गति सबसे अधिक किस माध्यम में होती है?
- (a) हवा
- (b) पानी
- (c) लोहा
- (d) निर्वात (Vacuum)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): ध्वनि एक यांत्रिक तरंग है जिसे यात्रा करने के लिए एक माध्यम की आवश्यकता होती है। माध्यम के कणों का घनत्व और प्रत्यास्थता (elasticity) ध्वनि की गति को प्रभावित करती है।
व्याख्या (Explanation): ध्वनि की गति माध्यम के कणों के बीच की दूरी और उनके बीच के बंधनों की मजबूती पर निर्भर करती है। ठोस पदार्थों में, कण बहुत पास-पास होते हैं और मजबूती से बंधे होते हैं, जिससे ध्वनि की गति सबसे अधिक होती है। उसके बाद द्रव और फिर गैस का स्थान आता है। निर्वात में कोई माध्यम नहीं होता, इसलिए ध्वनि यात्रा नहीं कर सकती। लोहे जैसे ठोस में ध्वनि की गति पानी या हवा की तुलना में बहुत अधिक होती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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दूर दृष्टि दोष (Hypermetropia) को ठीक करने के लिए किस प्रकार के लेंस का उपयोग किया जाता है?
- (a) अवतल लेंस (Concave Lens)
- (b) उत्तल लेंस (Convex Lens)
- (c) बेलनाकार लेंस (Cylindrical Lens)
- (d) द्वि-फोकल लेंस (Bifocal Lens)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): दूर दृष्टि दोष (Hypermetropia) में, आँख का लेंस प्रकाश किरणों को रेटिना पर केंद्रित करने के बजाय रेटिना के पीछे केंद्रित करता है, जिससे पास की वस्तुएँ धुंधली दिखाई देती हैं।
व्याख्या (Explanation): दूर दृष्टि दोष को ठीक करने के लिए, हमें प्रकाश किरणों को अधिक अपवर्तित (refract) करने वाले लेंस की आवश्यकता होती है ताकि वे रेटिना पर ठीक से केंद्रित हो सकें। उत्तल लेंस प्रकाश किरणों को अभिसारित (converge) करते हैं, जिससे यह दोष ठीक हो जाता है। अवतल लेंस प्रकाश किरणों को अपसारित (diverge) करते हैं, जिनका उपयोग निकट दृष्टि दोष (Myopia) को ठीक करने के लिए किया जाता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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विद्युत धारा को मापने के लिए किस उपकरण का उपयोग किया जाता है?
- (a) वोल्टमीटर (Voltmeter)
- (b) ओमीटर (Ohmmeter)
- (c) एमीटर (Ammeter)
- (d) गैल्वेनोमीटर (Galvanometer)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विद्युत धारा (Electric current) आवेशित कणों के प्रवाह की दर है।
व्याख्या (Explanation): एमीटर एक ऐसा उपकरण है जिसे विद्युत परिपथ में श्रेणी क्रम (series) में जोड़ा जाता है ताकि उसमें प्रवाहित होने वाली विद्युत धारा को मापा जा सके। वोल्टमीटर का उपयोग विभवांतर (voltage) मापने के लिए किया जाता है और इसे समानांतर क्रम (parallel) में जोड़ा जाता है। ओमीटर प्रतिरोध (resistance) मापने के लिए होता है। गैल्वेनोमीटर एक उपकरण है जो विद्युत धारा की उपस्थिति का पता लगाता है और उसकी दिशा बताता है, लेकिन इसका उपयोग आमतौर पर मात्रा मापने के लिए नहीं किया जाता।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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सोडियम क्लोराइड (NaCl) का जलीय घोल बिजली का अच्छा संवाहक क्यों होता है?
- (a) यह आयनित नहीं होता है।
- (b) इसमें मुक्त इलेक्ट्रॉन होते हैं।
- (c) इसमें मुक्त आयन होते हैं।
- (d) यह एक उत्कृष्ट गैर-विद्युत अपघट्य (non-electrolyte) है।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विद्युत धारा के प्रवाह के लिए आवेश वाहकों (charge carriers) की उपस्थिति आवश्यक है।
व्याख्या (Explanation): जब सोडियम क्लोराइड (नमक) को पानी में घोला जाता है, तो यह सोडियम आयनों (Na⁺) और क्लोराइड आयनों (Cl⁻) में वियोजित (dissociate) हो जाता है। ये मुक्त आयन घोल में स्वतंत्र रूप से घूम सकते हैं और विद्युत आवेश ले जा सकते हैं। जब एक बाहरी विद्युत क्षेत्र लागू किया जाता है, तो ये आयन विपरीत इलेक्ट्रोड की ओर बढ़ते हैं, जिससे विद्युत धारा का प्रवाह होता है। मुक्त इलेक्ट्रॉन धातुओं में आवेश वाहक होते हैं, जबकि आयन जलीय घोल में आवेश वाहक होते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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ऑक्सीकरण (Oxidation) वह प्रक्रिया है जिसमें…
- (a) इलेक्ट्रॉन प्राप्त होते हैं।
- (b) प्रोटॉन प्राप्त होते हैं।
- (c) इलेक्ट्रॉन खोए जाते हैं।
- (d) न्यूट्रॉन प्राप्त होते हैं।
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): रेडॉक्स (Redox) अभिक्रियाओं में, ऑक्सीकरण और अपचयन (reduction) एक साथ होते हैं।
व्याख्या (Explanation): ऑक्सीकरण को किसी पदार्थ द्वारा इलेक्ट्रॉनों को खोने (lose) की प्रक्रिया के रूप में परिभाषित किया जाता है, जिससे उसकी ऑक्सीकरण अवस्था बढ़ जाती है। इसके विपरीत, अपचयन किसी पदार्थ द्वारा इलेक्ट्रॉनों को प्राप्त (gain) करने की प्रक्रिया है, जिससे उसकी ऑक्सीकरण अवस्था कम हो जाती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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पेट्रोलियम के प्रभाजी आसवन (fractional distillation) में, सबसे पहले कौन सा अंश (fraction) उबलता है?
- (a) डामर (Bitumen)
- (b) डीजल (Diesel)
- (c) गैसोलीन (Gasoline / Petrol)
- (d) स्नेहक तेल (Lubricating Oil)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रभाजी आसवन में, विभिन्न घटकों को उनके क्वथनांक (boiling points) के आधार पर अलग किया जाता है। कम क्वथनांक वाले घटक पहले उबलते हैं और ऊपर की ओर वाष्पित होते हैं।
व्याख्या (Explanation): पेट्रोलियम के विभिन्न घटकों के क्वथनांक अलग-अलग होते हैं। गैसोलीन (पेट्रोल) में सबसे कम क्वथनांक (लगभग 40-205°C) होता है, इसलिए यह प्रभाजी स्तंभ में सबसे पहले वाष्पित होता है और शीर्ष पर एकत्र किया जाता है। डीजल का क्वथनांक थोड़ा अधिक होता है, उसके बाद मिट्टी का तेल, गैसोलीन, स्नेहक तेल और अंत में डामर (जिसका क्वथनांक सबसे अधिक होता है और यह नीचे तल पर बच जाता है) आते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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पानी का कथनांक (boiling point) केल्विन (Kelvin) पैमाने पर कितना होता है?
- (a) 0 K
- (b) 100 K
- (c) 273.15 K
- (d) 373.15 K
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): केल्विन एक निरपेक्ष तापमान पैमाना है, जहाँ 0 K परम शून्य (absolute zero) का प्रतिनिधित्व करता है। सेल्सियस और केल्विन के बीच संबंध इस प्रकार है: K = °C + 273.15।
व्याख्या (Explanation): पानी का कथनांक मानक वायुमंडलीय दबाव पर 100°C होता है। इसे केल्विन पैमाने में बदलने के लिए, हम 273.15 जोड़ते हैं: 100°C + 273.15 = 373.15 K। 0°C 273.15 K के बराबर होता है, जो पानी का गलनांक (freezing point) है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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मानव शरीर में सबसे बड़ी धमनी (artery) कौन सी है?
- (a) फुफ्फुसीय धमनी (Pulmonary Artery)
- (b) महाधमनी (Aorta)
- (c) कोरोनरी धमनी (Coronary Artery)
- (d) वृक्क धमनी (Renal Artery)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): धमनी वे रक्त वाहिकाएँ होती हैं जो हृदय से शरीर के अन्य भागों तक रक्त ले जाती हैं।
व्याख्या (Explanation): महाधमनी (Aorta) मानव शरीर की सबसे बड़ी और मुख्य धमनी है। यह बाएं निलय (left ventricle) से ऑक्सीजन युक्त रक्त प्राप्त करती है और इसे धमनियों की एक श्रृंखला में वितरित करती है जो पूरे शरीर में रक्त पहुंचाती हैं। फुफ्फुसीय धमनी फेफड़ों तक डीऑक्सीजनेटेड रक्त ले जाती है, कोरोनरी धमनियां हृदय की मांसपेशियों को रक्त आपूर्ति करती हैं, और वृक्क धमनियां गुर्दे को रक्त की आपूर्ति करती हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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मानव आंख में प्रकाश की मात्रा को नियंत्रित करने वाली संरचना क्या है?
- (a) रेटिना (Retina)
- (b) पुतली (Pupil)
- (c) आइरिस (Iris)
- (d) लेंस (Lens)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मानव आंख एक कैमरे की तरह काम करती है, जहाँ प्रकाश की मात्रा को नियंत्रित करने और रेटिना पर छवि को स्पष्ट रूप से केंद्रित करने के लिए विभिन्न संरचनाएं जिम्मेदार होती हैं।
व्याख्या (Explanation): आइरिस (Iris) आंख का रंगीन, पेशी वाला हिस्सा है जो पुतली (Pupil) के आकार को नियंत्रित करता है। पुतली वह छिद्र है जिससे प्रकाश आंख में प्रवेश करता है। आइरिस सिकुड़कर पुतली को छोटा कर सकता है (तेज रोशनी में) या फैलकर पुतली को बड़ा कर सकता है (मंद रोशनी में), जिससे आंख में प्रवेश करने वाले प्रकाश की मात्रा को नियंत्रित किया जा सके। रेटिना प्रकाश को महसूस करता है, और लेंस प्रकाश को रेटिना पर केंद्रित करता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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मानव शरीर में सबसे बड़ी अंतःस्रावी ग्रंथि (endocrine gland) कौन सी है?
- (a) पिट्यूटरी ग्रंथि (Pituitary Gland)
- (b) अधिवृक्क ग्रंथि (Adrenal Gland)
- (c) थायराइड ग्रंथि (Thyroid Gland)
- (d) अग्न्याशय (Pancreas)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अंतःस्रावी ग्रंथियाँ हार्मोन का उत्पादन और स्राव करती हैं जो शरीर के विभिन्न कार्यों को नियंत्रित करते हैं।
व्याख्या (Explanation): थायराइड ग्रंथि, जो गर्दन के सामने स्थित होती है, मानव शरीर की सबसे बड़ी अंतःस्रावी ग्रंथि है। यह थायराइड हार्मोन का उत्पादन करती है जो चयापचय (metabolism) को नियंत्रित करता है। पिट्यूटरी ग्रंथि ‘मास्टर ग्रंथि’ कहलाती है लेकिन आकार में छोटी होती है। अधिवृक्क ग्रंथियाँ गुर्दे के ऊपर स्थित होती हैं और एड्रेनालाईन जैसे हार्मोन बनाती हैं। अग्न्याशय एक मिश्रित ग्रंथि है जो हार्मोन (जैसे इंसुलिन) और पाचक एंजाइम दोनों का उत्पादन करती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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मानव पाचन तंत्र में, पित्त (bile) का उत्पादन कहाँ होता है?
- (a) पित्ताशय (Gallbladder)
- (b) यकृत (Liver)
- (c) अग्न्याशय (Pancreas)
- (d) आंत (Intestine)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): पाचन में विभिन्न अंग विभिन्न पाचक रस और एंजाइमों का उत्पादन करते हैं।
व्याख्या (Explanation): पित्त का उत्पादन यकृत (Liver) में होता है। यकृत द्वारा उत्पादित पित्त पित्ताशय (Gallbladder) में संग्रहीत और केंद्रित होता है, और फिर छोटी आंत में छोड़ा जाता है ताकि वसा के पाचन और अवशोषण में मदद मिल सके। अग्न्याशय पाचक एंजाइम और हार्मोन (जैसे इंसुलिन) का उत्पादन करता है, और आंतें भी एंजाइमों का स्राव करती हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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पादप कोशिका भित्ति (plant cell wall) मुख्य रूप से किस पदार्थ से बनी होती है?
- (a) प्रोटीन (Protein)
- (b) काइटिन (Chitin)
- (c) सेल्युलोज (Cellulose)
- (d) पेप्टिडोग्लाइकन (Peptidoglycan)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कोशिकाएं जीवन की मूलभूत इकाइयाँ हैं, और उनकी संरचना कोशिका झिल्ली और कोशिका भित्ति (यदि मौजूद हो) द्वारा निर्धारित होती है।
व्याख्या (Explanation): पादप कोशिका भित्ति मुख्य रूप से सेल्युलोज से बनी होती है, जो एक पॉलीसेकेराइड है। यह कोशिका को संरचनात्मक समर्थन और सुरक्षा प्रदान करती है। कवक कोशिका भित्ति काइटिन से बनी होती है, और जीवाणु कोशिका भित्ति पेप्टिडोग्लाइकन से बनी होती है। प्रोटीन कोशिका झिल्ली के घटक हैं, लेकिन कोशिका भित्ति के मुख्य घटक नहीं हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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मानव मस्तिष्क का कौन सा भाग संतुलन और चाल (balance and posture) बनाए रखने के लिए जिम्मेदार है?
- (a) प्रमस्तिष्क (Cerebrum)
- (b) अनुमस्तिष्क (Cerebellum)
- (c) मस्तिष्क स्तंभ (Brainstem)
- (d) थैलेमस (Thalamus)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मस्तिष्क के विभिन्न भाग विशिष्ट कार्य करते हैं, जैसे संवेदी सूचनाओं का प्रसंस्करण, गति का नियंत्रण और शरीर के कार्यों का समन्वय।
व्याख्या (Explanation): अनुमस्तिष्क (Cerebellum), जिसे ‘छोटा मस्तिष्क’ भी कहा जाता है, मुख्य रूप से ऐच्छिक गतियों (voluntary movements), संतुलन, समन्वय और मुद्रा (posture) को नियंत्रित करने के लिए जिम्मेदार है। यह मांसपेशियों की गतिविधि को परिष्कृत करता है ताकि वे सुचारू और सटीक हों। प्रमस्तिष्क सोचने, सीखने और चेतना के लिए जिम्मेदार है। मस्तिष्क स्तंभ हृदय गति, श्वसन और रक्तचाप जैसी महत्वपूर्ण अनैच्छिक (involuntary) कार्यों को नियंत्रित करता है। थैलेमस संवेदी सूचनाओं के लिए एक रिले स्टेशन के रूप में कार्य करता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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विटामिन सी (Vitamin C) का रासायनिक नाम क्या है?
- (a) रेटिनॉल (Retinol)
- (b) एस्कॉर्बिक एसिड (Ascorbic Acid)
- (c) कैल्सीफेरॉल (Calciferol)
- (d) टोकोफेरॉल (Tocopherol)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विटामिन विभिन्न प्रकार के कार्बनिक यौगिक होते हैं जो शरीर के सामान्य कामकाज के लिए आवश्यक होते हैं, और उनके विशिष्ट रासायनिक नाम होते हैं।
व्याख्या (Explanation): विटामिन सी का रासायनिक नाम एस्कॉर्बिक एसिड है। रेटिनॉल विटामिन ए है, कैल्सीफेरॉल विटामिन डी है, और टोकोफेरॉल विटामिन ई है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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मानव शरीर में लाल रक्त कोशिकाओं (Red Blood Cells) का मुख्य कार्य क्या है?
- (a) संक्रमण से लड़ना
- (b) रक्त का स्कंदन (clotting) करना
- (c) ऑक्सीजन का परिवहन
- (d) कार्बन डाइऑक्साइड का परिवहन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): रक्त मानव शरीर में विभिन्न महत्वपूर्ण कार्य करता है, जिसमें गैसों, पोषक तत्वों और अपशिष्ट उत्पादों का परिवहन शामिल है।
व्याख्या (Explanation): लाल रक्त कोशिकाओं (Erythrocytes) में हीमोग्लोबिन नामक एक प्रोटीन होता है, जो फेफड़ों से ऑक्सीजन को अवशोषित करता है और उसे शरीर के ऊतकों तक पहुंचाता है। वे कार्बन डाइऑक्साइड के परिवहन में भी थोड़ी भूमिका निभाते हैं, लेकिन यह मुख्य रूप से प्लाज्मा और श्वेत रक्त कोशिकाओं द्वारा किया जाता है। संक्रमण से लड़ने का कार्य श्वेत रक्त कोशिकाओं (Leukocytes) का है, और रक्त स्कंदन प्लेटलेट्स (Thrombocytes) द्वारा किया जाता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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प्रकाश संश्लेषण की प्रक्रिया में, ऑक्सीजन (O₂) किस यौगिक के विभाजन से उत्पन्न होती है?
- (a) कार्बन डाइऑक्साइड (CO₂)
- (b) क्लोरोफिल (Chlorophyll)
- (c) पानी (H₂O)
- (d) ग्लूकोज (C₆H₁₂O₆)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रकाश संश्लेषण एक प्रकाश-निर्भर प्रक्रिया है जिसमें प्रकाश ऊर्जा का उपयोग करके अकार्बनिक पदार्थों से कार्बनिक पदार्थ (शर्करा) बनाया जाता है।
व्याख्या (Explanation): प्रकाश संश्लेषण की समग्र रासायनिक समीकरण है: 6CO₂ + 6H₂O + प्रकाश ऊर्जा → C₆H₁₂O₆ + 6O₂। इस प्रक्रिया के ‘प्रकाश अभिक्रिया’ (light-dependent reactions) चरण के दौरान, पानी (H₂O) के अणु प्रकाश ऊर्जा का उपयोग करके हाइड्रोजन आयनों (H⁺), इलेक्ट्रॉनों और ऑक्सीजन गैस (O₂) में विभाजित हो जाते हैं। यह ऑक्सीजन ही है जो वायुमंडल में छोड़ी जाती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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एक लेंस की शक्ति (power) को किस इकाई में मापा जाता है?
- (a) वाट (Watt)
- (b) जूल (Joule)
- (c) डायोप्टर (Diopter)
- (d) मीटर (Meter)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): लेंस की शक्ति (Power) उसकी फोकस दूरी (focal length) का व्युत्क्रम (reciprocal) होती है। यह निर्धारित करता है कि लेंस प्रकाश किरणों को कितना मोड़ता है।
व्याख्या (Explanation): लेंस की शक्ति की SI इकाई डायोप्टर (Diopter, D) है। यदि किसी लेंस की फोकस दूरी मीटर में 1 मीटर है, तो उसकी शक्ति 1 डायोप्टर होती है। लेंस की शक्ति P = 1/f (जहाँ f मीटर में फोकस दूरी है)। वाट शक्ति का एक इकाई है जो दर (जैसे बिजली) को मापता है। जूल ऊर्जा की इकाई है। मीटर दूरी की इकाई है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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कृत्रिम रेशम (Artificial Silk) के रूप में किस पदार्थ को जाना जाता है?
- (a) पॉलिएस्टर (Polyester)
- (b) नायलॉन (Nylon)
- (c) रेयॉन (Rayon)
- (d) ऐक्रेलिक (Acrylic)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): सिंथेटिक फाइबर (Synthetic fibers) विभिन्न रासायनिक प्रक्रियाओं द्वारा बनाए जाते हैं और उनके विशेष गुण होते हैं।
व्याख्या (Explanation): रेयॉन एक कृत्रिम रेशम के रूप में जाना जाता है क्योंकि यह सेल्युलोज से प्राप्त होता है और रेशम के समान चमक और अनुभव प्रदान करता है। हालांकि यह रासायनिक रूप से बनाया गया है, यह प्राकृतिक स्रोत (लकड़ी के गूदे) से उत्पन्न होता है। पॉलिएस्टर, नायलॉन और ऐक्रेलिक पूरी तरह से सिंथेटिक पॉलिमर हैं जो पेट्रोलियम से प्राप्त होते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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मानव शरीर में सबसे लंबी हड्डी कौन सी है?
- (a) ह्यूमरस (Humerus)
- (b) फीमर (Femur)
- (c) टिबिया (Tibia)
- (d) रेडियस (Radius)
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कंकाल प्रणाली शरीर को संरचनात्मक समर्थन प्रदान करती है और इसमें कई हड्डियाँ होती हैं।
व्याख्या (Explanation): फीमर (जांघ की हड्डी) मानव शरीर की सबसे लंबी और सबसे मजबूत हड्डी है। ह्यूमरस ऊपरी बांह की हड्डी है, टिबिया निचली टांग की दो हड्डियों में से एक (शिनबोन) है, और रेडियस कलाई के पास निचली बांह की हड्डी है।
अतः, सही उत्तर (b) है।