ज्ञान का महासंग्राम: इतिहास का दैनिक अग्निपरीक्षा
तैयार हो जाइए, इतिहास के जिज्ञासुओं! आज हम समय के गलियारों में एक रोमांचक यात्रा पर निकल रहे हैं, जहाँ प्राचीन सभ्यताओं से लेकर आधुनिक युग की उथल-पुथल तक, आपके ज्ञान की कसौटी होगी। क्या आप अपनी तैयारी को परखने और इतिहास के हर कालखंड में अपनी पकड़ मजबूत करने के लिए तैयार हैं? चलिए, इस ज्ञान के महासंग्राम में अपनी विजय पताका फहराते हैं!
इतिहास अभ्यास प्रश्न
निर्देश: निम्नलिखित 25 प्रश्नों का प्रयास करें और प्रदान किए गए विस्तृत स्पष्टीकरणों के साथ अपनी समझ का विश्लेषण करें।
प्रश्न 1: हड़प्पा सभ्यता का कौन सा स्थल ‘सिंधु घाटी का मैनचेस्टर’ कहा जाता था?
- मोहनजोदड़ो
- लोथल
- हड़प्पा
- चन्हुदड़ो
उत्तर: (d)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: चन्हुदड़ो को ‘सिंधु घाटी का मैनचेस्टर’ कहा जाता है, क्योंकि यह स्थल अपने विशिष्ट रूप से विकसित वस्त्र निर्माण उद्योग के लिए जाना जाता था। यहाँ से प्राप्त साक्ष्य बताते हैं कि यहाँ बड़े पैमाने पर सूत कातने और कपड़े बुनने का काम होता था।
- संदर्भ और विस्तार: चन्हुदड़ो, जो आधुनिक पाकिस्तान में स्थित है, एक अत्यंत महत्वपूर्ण शिल्प केंद्र था। यहाँ से मनके बनाने, मुहरें बनाने और प्रसाधन सामग्री के निर्माण के भी प्रमाण मिले हैं। यह स्थल विशेष रूप से सीपियों (beads) के निर्माण के लिए प्रसिद्ध था।
- गलत विकल्प: मोहनजोदड़ो एक विशाल नगरीय केंद्र था, जो अपने महान स्नानागार के लिए प्रसिद्ध है। लोथल एक बंदरगाह शहर था और इसमें एक डॉकयार्ड पाया गया था। हड़प्पा इस सभ्यता का पहला खोजा गया स्थल था, जिसके नाम पर पूरी सभ्यता का नाम पड़ा।
प्रश्न 2: प्रसिद्ध गायत्री मंत्र, जो ऋग्वेद के तीसरे मंडल में पाया जाता है, किस देवता को समर्पित है?
- इंद्र
- वरुण
- सूर्य (सावित्री)
- अग्नि
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: गायत्री मंत्र, ऋग्वेद के तीसरे मंडल का एक प्रमुख श्लोक है, जिसे अत्यंत पवित्र माना जाता है और यह सूर्य देवता के एक रूप ‘सावित्री’ को समर्पित है। यह मंत्र प्रकाश और ज्ञान के प्रतीक के रूप में सूर्य की उपासना करता है।
- संदर्भ और विस्तार: ऋग्वेद के तीसरे मंडल की रचना विश्वामित्र ने की थी। गायत्री मंत्र का जाप मन को शांति और ज्ञान की ओर ले जाने के लिए किया जाता है। इसे वेदों का सार भी माना जाता है।
- गलत विकल्प: इंद्र ऋग्वेद में एक प्रमुख देवता हैं, जिन्हें युद्ध और वर्षा का देवता माना जाता है। वरुण को ब्रह्मांडीय व्यवस्था और नैतिकता का देवता माना जाता है। अग्नि को यज्ञों का देवता और देवताओं व मनुष्यों के बीच मध्यस्थ माना जाता है।
प्रश्न 3: निम्नलिखित में से कौन सा शासक ‘विक्रमादित्य’ की उपाधि से प्रसिद्ध हुआ?
- चंद्रगुप्त प्रथम
- समुद्रगुप्त
- चंद्रगुप्त द्वितीय
- कुमारगुप्त
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: चंद्रगुप्त द्वितीय, गुप्त वंश का एक प्रतापी शासक था, जिसने ‘विक्रमादित्य’ की उपाधि धारण की थी। इस उपाधि का अर्थ है ‘सूर्य जैसा पराक्रमी’।
- संदर्भ और विस्तार: चंद्रगुप्त द्वितीय ने शकों पर विजय प्राप्त करने के उपलक्ष्य में यह उपाधि धारण की थी। उसके शासनकाल को गुप्त साम्राज्य का स्वर्ण युग माना जाता है, क्योंकि इस दौरान कला, साहित्य और विज्ञान का अभूतपूर्व विकास हुआ। कालिदास जैसे महान कवि उसके दरबार की शोभा बढ़ाते थे।
- गलत विकल्प: चंद्रगुप्त प्रथम गुप्त वंश का संस्थापक था। समुद्रगुप्त को ‘भारत का नेपोलियन’ कहा जाता है और वह एक महान विजेता था। कुमारगुप्त ने नालंदा विश्वविद्यालय की स्थापना में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
प्रश्न 4: ‘दीन-ए-इलाही’ की स्थापना किस मुगल बादशाह ने की थी?
- अकबर
- जहांगीर
- शाहजहां
- औरंगजेब
उत्तर: (a)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: ‘दीन-ए-इलाही’ की स्थापना मुगल बादशाह अकबर ने 1582 ईस्वी में की थी। यह एक पंथनिरपेक्ष और सार्वभौमिक धर्म था, जिसका उद्देश्य विभिन्न धर्मों के अनुयायियों को एक सूत्र में पिरोना था।
- संदर्भ और विस्तार: अकबर ने सभी प्रमुख धर्मों के विद्वानों से चर्चा के बाद यह नई विचारधारा प्रस्तुत की। इसमें एकेश्वरवाद, सदाचार, दया और ईश्वर में विश्वास जैसे सिद्धांत शामिल थे। हालांकि, इसे व्यापक जनसमर्थन नहीं मिला और यह केवल कुछ चुनिंदा लोगों द्वारा ही अपनाया गया।
- गलत विकल्प: जहांगीर, अकबर का पुत्र था, जिसने कला और चित्रकला को संरक्षण दिया। शाहजहां अपनी वास्तुकला के लिए प्रसिद्ध है, जैसे ताजमहल। औरंगजेब एक कट्टर सुन्नी मुस्लिम था जिसने धार्मिक नीतियों में कठोरता बरती।
प्रश्न 5: विजयनगर साम्राज्य की स्थापना किस वर्ष हुई थी?
- 1326 ईस्वी
- 1336 ईस्वी
- 1346 ईस्वी
- 1356 ईस्वी
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: विजयनगर साम्राज्य की स्थापना 1336 ईस्वी में हरिहर और बुक्का नामक दो भाइयों ने की थी।
- संदर्भ और विस्तार: इन भाइयों ने तुंगभद्रा नदी के किनारे इस साम्राज्य की नींव रखी थी। विजयनगर साम्राज्य दक्षिण भारत के इतिहास में एक महत्वपूर्ण कालखंड था, जिसने कला, साहित्य, संस्कृति और वास्तुकला को अभूतपूर्व बढ़ावा दिया। इसका सबसे प्रसिद्ध शासक कृष्णदेव राय था।
- गलत विकल्प: अन्य विकल्प गलत हैं क्योंकि वे वास्तविक स्थापना वर्ष से मेल नहीं खाते।
प्रश्न 6: ‘ट्रेन टू पाकिस्तान’ (Train to Pakistan) पुस्तक के लेखक कौन हैं?
- रस्किन बॉन्ड
- खुशवंत सिंह
- विक्रम सेठ
- अरुंधति रॉय
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: ‘ट्रेन टू पाकिस्तान’ के लेखक प्रसिद्ध भारतीय लेखक खुशवंत सिंह हैं।
- संदर्भ और विस्तार: यह उपन्यास 1947 के भारत-पाकिस्तान विभाजन के दौरान हुई भयावह घटनाओं का एक मार्मिक चित्रण है। यह सीमावर्ती शहर मनोमजरा की पृष्ठभूमि पर आधारित है और विभाजन के मानवीय त्रासदी को गहराई से दर्शाता है।
- गलत विकल्प: रस्किन बॉन्ड अपनी पहाड़ी इलाकों पर आधारित कहानियों के लिए जाने जाते हैं। विक्रम सेठ ने ‘ए सूटेबल बॉय’ जैसी रचनाएं की हैं। अरुंधति रॉय ‘द गॉड ऑफ स्मॉल थिंग्स’ के लिए जानी जाती हैं।
प्रश्न 7: भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के किस अधिवेशन में ‘पूर्ण स्वराज्य’ का प्रस्ताव पारित किया गया था?
- कलकत्ता अधिवेशन, 1928
- लाहौर अधिवेशन, 1929
- कराची अधिवेशन, 1931
- लखनऊ अधिवेशन, 1936
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: पूर्ण स्वराज का प्रस्ताव भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के लाहौर अधिवेशन में 1929 में पारित किया गया था।
- संदर्भ और विस्तार: इस अधिवेशन की अध्यक्षता जवाहरलाल नेहरू ने की थी। इस प्रस्ताव ने ब्रिटिश शासन से पूर्ण स्वतंत्रता की मांग को कांग्रेस के मुख्य लक्ष्य के रूप में स्थापित किया। इसी अधिवेशन में 26 जनवरी 1930 को ‘स्वतंत्रता दिवस’ के रूप में मनाने का निर्णय लिया गया, जिस दिन भारत का संविधान लागू हुआ।
- गलत विकल्प: कलकत्ता अधिवेशन (1928) में नेहरू रिपोर्ट पर विचार हुआ था। कराची अधिवेशन (1931) में मौलिक अधिकारों और राष्ट्रीय आर्थिक कार्यक्रमों का प्रस्ताव पारित किया गया था, जिसकी अध्यक्षता सरदार पटेल ने की थी। लखनऊ अधिवेशन (1936) में समाजवाद का प्रभाव बढ़ा।
प्रश्न 8: 1857 के विद्रोह को ‘भारत का प्रथम स्वतंत्रता संग्राम’ किसने कहा था?
- कार्ल मार्क्स
- सर जॉन लॉरेंस
- अजीमुल्ला खान
- रणजीत सिंह
उत्तर: (a)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: कार्ल मार्क्स ने 1857 के विद्रोह को ‘भारत का प्रथम स्वतंत्रता संग्राम’ कहकर संबोधित किया था।
- संदर्भ और विस्तार: मार्क्स ने अपने लेखों में इस विद्रोह के महत्व को रेखांकित किया था और इसे ब्रिटिश शासन के विरुद्ध एक राष्ट्रीय क्रांति के रूप में देखा था। उन्होंने इसे केवल एक सैनिक विद्रोह मानने से इनकार कर दिया था।
- गलत विकल्प: सर जॉन लॉरेंस ने इस विद्रोह को केवल ‘सिपाही विद्रोह’ कहा था। अजीमुल्ला खान 1857 के विद्रोह के एक प्रमुख नेता और नाना साहब के सलाहकार थे। रणजीत सिंह सिख साम्राज्य के संस्थापक थे और उनका 1857 के विद्रोह से कोई सीधा संबंध नहीं है।
प्रश्न 9: भारत छोड़ो आंदोलन (Quit India Movement) के दौरान महात्मा गांधी ने कौन सा प्रसिद्ध नारा दिया था?
- सारे जहाँ से अच्छा
- तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा
- करो या मरो
- आराम हराम है
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान, 8 अगस्त 1942 को बंबई में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के अधिवेशन में महात्मा गांधी ने ‘करो या मरो’ (Do or Die) का नारा दिया था।
- संदर्भ और विस्तार: यह नारा भारतीयों को ब्रिटिश शासन के खिलाफ अंतिम संघर्ष के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से दिया गया था। इसका अर्थ था कि या तो स्वतंत्रता प्राप्त करो या इस प्रयास में अपने प्राण न्यौछावर कर दो। इस आंदोलन ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम को एक नई दिशा दी।
- गलत विकल्प: ‘सारे जहाँ से अच्छा’ इकबाल द्वारा लिखा गया है। ‘तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा’ सुभाष चंद्र बोस का नारा था। ‘आराम हराम है’ जवाहरलाल नेहरू का नारा था।
प्रश्न 10: निम्नलिखित में से कौन साGraphQL का एक लाभ है?
- डेटा ओवर-फेचिंग (Data Over-fetching)
- डेटा अंडर-फेचिंग (Data Under-fetching)
- कुशल डेटा लाना (Efficient Data Fetching)
- क्लाइंट-साइड पर अधिक जटिलता (Increased Client-Side Complexity)
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: GraphQL का एक प्रमुख लाभ कुशल डेटा लाना (Efficient Data Fetching) है।
- संदर्भ और विस्तार: REST API के विपरीत, GraphQL क्लाइंट को केवल वही डेटा मांगने की अनुमति देता है जिसकी उसे आवश्यकता है, जिससे डेटा ओवर-फेचिंग (जब सर्वर अधिक डेटा भेजता है जिसकी आवश्यकता नहीं होती) और डेटा अंडर-फेचिंग (जब क्लाइंट को कई अनुरोध करने पड़ते हैं) जैसी समस्याएं कम हो जाती हैं। यह नेटवर्क बैंडविड्थ को बचाता है और एप्लिकेशन के प्रदर्शन को बेहतर बनाता है।
- गलत विकल्प: डेटा ओवर-फेचिंग और अंडर-फेचिंग GraphQL द्वारा हल की जाने वाली प्रमुख समस्याएं हैं, न कि लाभ। क्लाइंट-साइड पर जटिलता सामान्यतः कम हो जाती है, क्योंकि API की क्वेरी भाषा सुसंगत होती है।
प्रश्न 11: सिंधु घाटी सभ्यता में कालीबंगा का क्या महत्व है?
- यह एक बंदरगाह शहर था।
- यहाँ ईंटों के स्थान पर पक्की ईंटों का प्रयोग हुआ।
- यहाँ जुते हुए खेत के प्राचीनतम प्रमाण मिले हैं।
- यह मेसोपोटामिया के साथ व्यापार का प्रमुख केंद्र था।
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: राजस्थान में स्थित कालीबंगा, सिंधु घाटी सभ्यता का एक महत्वपूर्ण स्थल है, जहाँ से जुते हुए खेत के प्राचीनतम प्रमाण मिले हैं।
- संदर्भ और विस्तार: कालीबंगा से प्राप्त पुरातत्विक साक्ष्यों में हल से जुती हुई जमीन के प्रमाण (ploughed field) मिले हैं, जो इस बात की पुष्टि करते हैं कि यहाँ कृषि कार्य किया जाता था। इसके अलावा, यहाँ से अलंकृत ईंटें, मिट्टी के खिलौने, बैलगाड़ी के मॉडल और चूड़ियाँ भी मिली हैं।
- गलत विकल्प: लोथल एक बंदरगाह शहर था। हड़प्पा और मोहनजोदड़ो जैसे शहरों में पक्की ईंटों का व्यापक प्रयोग हुआ। मेसोपोटामिया के साथ व्यापार के प्रमाण लोथल और सुतकागेंडोर जैसे बंदरगाहों से अधिक मिलते हैं।
प्रश्न 12: किस गुप्त शासक को ‘भारत का नेपोलियन’ कहा जाता है?
- चंद्रगुप्त प्रथम
- समुद्रगुप्त
- चंद्रगुप्त द्वितीय
- स्कंदगुप्त
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: गुप्त वंश के शासक समुद्रगुप्त को ‘भारत का नेपोलियन’ कहा जाता है।
- संदर्भ और विस्तार: इतिहासकार वी. ए. स्मिथ ने समुद्रगुप्त की विजयों और सैन्य कौशल के कारण उसे यह उपाधि दी थी। उसके प्रयाग प्रशस्ति अभिलेख में उसकी अनेक विजयों का वर्णन है, जिसने उसे उत्तर भारत के अधिकांश हिस्सों और दक्षिण के कई राज्यों पर प्रभुत्व स्थापित करने में मदद की।
- गलत विकल्प: चंद्रगुप्त प्रथम गुप्त वंश का संस्थापक था। चंद्रगुप्त द्वितीय ने ‘विक्रमादित्य’ की उपाधि धारण की थी। स्कंदगुप्त ने हूणों के आक्रमण को सफलतापूर्वक विफल किया था।
प्रश्न 13: चोल साम्राज्य की राजधानी कहाँ थी?
- कांचीपुरम
- तंजौर
- मदुरई
- कांची
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: चोल साम्राज्य की प्रारंभिक राजधानी तंजौर (Thanjavur) थी, जिसे ‘चोलमंडलम’ के नाम से भी जाना जाता था।
- संदर्भ और विस्तार: तंजौर को चोल शासकों ने अपनी सत्ता का केंद्र बनाया और इसे कला, वास्तुकला और संस्कृति का एक प्रमुख केंद्र बनाया। तंजौर का भव्य बृहदेश्वर मंदिर, जो राजाराज प्रथम द्वारा निर्मित है, चोल वास्तुकला का एक उत्कृष्ट उदाहरण है। बाद में, कुछ समय के लिए गंगाईकोंड चोलपुरम भी राजधानी बनी।
- गलत विकल्प: कांचीपुरम पल्लवों की राजधानी थी। मदुरई पांड्य साम्राज्य का प्रमुख शहर था। कांची एक महत्वपूर्ण शहर था, लेकिन मुख्य राजधानी तंजौर थी।
प्रश्न 14: ‘अष्टप्रधान’ किस मराठा शासक के प्रशासन से संबंधित था?
- शिवाजी
- बाजीराव प्रथम
- शंभाजी
- शाहू
उत्तर: (a)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: ‘अष्टप्रधान’ शिवाजी महाराज के प्रशासन की एक महत्वपूर्ण व्यवस्था थी, जिसमें आठ मंत्रियों का एक परिषद शामिल थी।
- संदर्भ और विस्तार: ये आठ मंत्री राज्य के विभिन्न विभागों के प्रमुख होते थे और शिवाजी को शासन चलाने में सहायता करते थे। इनमें पेशवा (प्रधानमंत्री), अमात्य (वित्त मंत्री), सचिव (राजकीय पत्र व्यवहार), सुमंत (विदेश मंत्री), सेनापति (सैन्य प्रमुख), पंडितराव (धार्मिक कार्य), न्यायाधीश (न्याय प्रमुख) और मंत्री (आंतरिक सुरक्षा) शामिल थे।
- गलत विकल्प: बाजीराव प्रथम और शाहू पेशवाओं के अधीन शासक थे, हालांकि उन्होंने प्रशासनिक व्यवस्था को बनाए रखा। शंभाजी शिवाजी के पुत्र थे और उन्होंने भी अष्टप्रधान व्यवस्था को जारी रखा, लेकिन इसकी शुरुआत शिवाजी ने की थी।
प्रश्न 15: साइमन कमीशन का गठन क्यों किया गया था?
- भारत में रेलवे के विकास का अध्ययन करने के लिए
- भारत में संवैधानिक सुधारों की संभावनाओं का अध्ययन करने के लिए
- भारत में अकाल राहत कार्यों की समीक्षा करने के लिए
- भारतीय सेना के पुनर्गठन का अध्ययन करने के लिए
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: साइमन कमीशन का गठन 1919 के भारत सरकार अधिनियम (मोंटेग्यू-चेम्सफोर्ड सुधार) के कामकाज की समीक्षा करने और भारत में भविष्य के संवैधानिक सुधारों की संभावनाओं का अध्ययन करने के लिए किया गया था।
- संदर्भ और विस्तार: यह आयोग 1927 में नियुक्त किया गया था और 1928 में भारत आया। आयोग का सबसे विवादास्पद पहलू यह था कि इसमें एक भी भारतीय सदस्य नहीं था, जिसके कारण भारत में इसका व्यापक विरोध हुआ। आयोग ने 1930 में अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की।
- गलत विकल्प: यह आयोग राजनीतिक और संवैधानिक सुधारों से संबंधित था, न कि रेलवे, अकाल राहत या सैन्य पुनर्गठन से।
प्रश्न 16: निम्नलिखित में से कौन सी बौद्ध संगीति पाटलिपुत्र में आयोजित हुई थी?
- प्रथम बौद्ध संगीति
- द्वितीय बौद्ध संगीति
- तृतीय बौद्ध संगीति
- चतुर्थ बौद्ध संगीति
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: तृतीय बौद्ध संगीति पाटलिपुत्र में 250 ईसा पूर्व के आसपास सम्राट अशोक के संरक्षण में आयोजित हुई थी।
- संदर्भ और विस्तार: इस संगीति की अध्यक्षता मोग्गलिपुत्र तिस्स (Moggaliputta Tissa) ने की थी। इसका मुख्य उद्देश्य बौद्ध धर्म को शुद्ध करना और भिक्षुओं के बीच फैली हुई भ्रष्ट प्रथाओं को समाप्त करना था। इसी संगीति में ‘कथावस्तु’ नामक ग्रंथ की रचना की गई थी।
- गलत विकल्प: प्रथम बौद्ध संगीति राजगृह में (अजातशत्रु के संरक्षण में) हुई थी। द्वितीय बौद्ध संगीति वैशाली में (कालशोक के संरक्षण में) हुई थी। चतुर्थ बौद्ध संगीति कुंडलवन (कश्मीर) में (कनिष्क के संरक्षण में) हुई थी।
प्रश्न 17: ‘तारीख-ए-फिरोजशाही’ का लेखक कौन है?
- अमीर खुसरो
- ज़ियाउद्दीन बरनी
- इब्न बतूता
- मिन्हाज-उस-सिराज
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: ‘तारीख-ए-फिरोजशाही’ के लेखक जियाउद्दीन बरनी हैं।
- संदर्भ और विस्तार: यह पुस्तक दिल्ली सल्तनत के खिलजी और तुगलक वंशों के शासनकाल का एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक स्रोत है। बरनी ने फिरोज शाह तुगलक के शासनकाल तक के इतिहास का वर्णन किया है। इसमें उस समय की सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक परिस्थितियों का भी उल्लेख है।
- गलत विकल्प: अमीर खुसरो ने ‘किताब-उल-हिंद’ (हालांकि यह अल-बिरूनी की रचना है, अमीर खुसरो की ‘तुगलकनामा’ महत्वपूर्ण है) और अन्य ग्रंथ लिखे। इब्न बतूता ने ‘रेहला’ लिखी, जिसमें भारत यात्रा का वर्णन है। मिन्हाज-उस-सिराज ने ‘तबकात-ए-नासिरी’ लिखी।
प्रश्न 18: पानीपत का प्रथम युद्ध कब हुआ था?
- 1526 ईस्वी
- 1556 ईस्वी
- 1761 ईस्वी
- 1576 ईस्वी
उत्तर: (a)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: पानीपत का प्रथम युद्ध 1526 ईस्वी में हुआ था।
- संदर्भ और विस्तार: यह युद्ध बाबर और इब्राहिम लोदी (दिल्ली सल्तनत के अंतिम सुल्तान) के बीच लड़ा गया था। इस युद्ध में बाबर की विजय हुई और भारत में मुगल साम्राज्य की नींव पड़ी। बाबर ने इस युद्ध में तोपखाने (artillery) का प्रभावी ढंग से उपयोग किया था।
- गलत विकल्प: 1556 में पानीपत का द्वितीय युद्ध (अकबर और हेमू के बीच) और 1761 में पानीपत का तृतीय युद्ध (मराठा और अहमद शाह अब्दाली के बीच) हुआ था। 1576 हल्दीघाटी का युद्ध था।
प्रश्न 19: ‘इनाम’ का क्या अर्थ था, जो मुगल प्रशासन में इस्तेमाल होता था?
- एक प्रकार का कर
- सैन्य टुकड़ी
- धार्मिक या दान के लिए दी गई भूमि
- शाही आदेश
उत्तर: (c)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: मुगल प्रशासन में, ‘इनाम’ शब्द का प्रयोग उन भूमियों के लिए किया जाता था जो धार्मिक, दान या सेवा के बदले में कर-मुक्त या कम कर पर दी जाती थीं।
- संदर्भ और विस्तार: ये भूमि अनुदान अक्सर विद्वानों, धार्मिक व्यक्तियों, या कुछ सार्वजनिक संस्थानों को दिए जाते थे। इसका उद्देश्य धार्मिक कार्यों को बढ़ावा देना या सेवा प्रदाताओं को आर्थिक सहायता प्रदान करना था।
- गलत विकल्प: ‘इनाम’ कोई कर नहीं था, बल्कि भूमि का एक प्रकार का अनुदान था। यह कोई सैन्य टुकड़ी या शाही आदेश भी नहीं था।
प्रश्न 20: 1905 में लॉर्ड कर्जन द्वारा किए गए बंगाल विभाजन के पीछे मुख्य कारण क्या था?
- क्षेत्रीय प्रशासन में सुविधा
- बंगाल में राष्ट्रवाद को दबाना
- सांप्रदायिक सद्भाव बढ़ाना
- पूर्वी बंगाल के मुसलमानों को अल्पसंख्यक बनाना
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: लॉर्ड कर्जन ने 1905 में बंगाल का विभाजन प्रशासनिक सुविधा के बहाने किया था, लेकिन इसका वास्तविक उद्देश्य बंगाल में बढ़ती राष्ट्रवादी भावना को दबाना और हिंदू-मुस्लिम समुदायों के बीच फूट डालना था।
- संदर्भ और विस्तार: सरकार का कहना था कि बंगाल एक विशाल प्रांत है और इसका प्रशासन चलाना कठिन है। लेकिन विभाजन ने पूर्वी बंगाल (जो मुस्लिम बहुसंख्यक था) और पश्चिमी बंगाल (जो हिंदू बहुसंख्यक था) को अलग कर दिया, जिससे राष्ट्रवादी आंदोलनों को कमजोर करने की कोशिश की गई। इस विभाजन के विरोध में स्वदेशी आंदोलन चलाया गया।
- गलत विकल्प: प्रशासनिक सुविधा एक बहाना मात्र थी। सांप्रदायिक सद्भाव बढ़ाना या पूर्वी बंगाल के मुसलमानों को अल्पसंख्यक बनाना विभाजन का मुख्य उद्देश्य नहीं था, बल्कि एक परिणाम या रणनीति हो सकती थी।
प्रश्न 21: द्वितीय विश्व युद्ध में धुरी राष्ट्रों (Axis Powers) में कौन से प्रमुख देश शामिल थे?
- जर्मनी, इटली, जापान
- अमेरिका, ब्रिटेन, सोवियत संघ
- फ्रांस, पोलैंड, चीन
- कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड
उत्तर: (a)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: द्वितीय विश्व युद्ध में धुरी राष्ट्रों (Axis Powers) में प्रमुख रूप से जर्मनी, इटली और जापान शामिल थे।
- संदर्भ और विस्तार: इन देशों ने मिलकर मित्र राष्ट्रों (Allied Powers) के खिलाफ युद्ध लड़ा। जर्मनी के नेतृत्व में नाजी पार्टी, इटली में फासीवादी शासन और जापान में सैन्यवादी सरकारें इस गठबंधन का हिस्सा थीं।
- गलत विकल्प: अमेरिका, ब्रिटेन और सोवियत संघ मित्र राष्ट्रों के प्रमुख सदस्य थे। फ्रांस, पोलैंड और चीन भी मित्र राष्ट्रों का हिस्सा थे। कनाडा, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड भी मित्र राष्ट्रों के सहयोगी थे।
प्रश्न 22: किस वायसराय के कार्यकाल में भारत में ईस्ट इंडिया कंपनी के शासन का अंत हुआ और ब्रिटिश ताज का शासन सीधे स्थापित हुआ?
- लॉर्ड डलहौजी
- लॉर्ड कैनिंग
- लॉर्ड लिटन
- लॉर्ड कर्जन
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: लॉर्ड कैनिंग वायसराय थे जब 1857 के विद्रोह के बाद 1858 में भारत सरकार अधिनियम पारित हुआ, जिसने ईस्ट इंडिया कंपनी के शासन को समाप्त कर दिया और भारत को सीधे ब्रिटिश क्राउन के शासन के अधीन ला दिया।
- संदर्भ और विस्तार: 1857 के विद्रोह ने कंपनी के शासन की अक्षमता और अप्रियता को उजागर कर दिया था। इसके परिणामस्वरूप, ब्रिटिश संसद ने भारत के शासन को अपने हाथों में लेने का निर्णय लिया। लॉर्ड कैनिंग भारत के अंतिम गवर्नर-जनरल और प्रथम वायसराय बने।
- गलत विकल्प: लॉर्ड डलहौजी की ‘व्यपगत का सिद्धांत’ (Doctrine of Lapse) 1857 के विद्रोह के कारणों में से एक था। लॉर्ड लिटन के कार्यकाल में वर्नाक्युलर प्रेस एक्ट पारित हुआ। लॉर्ड कर्जन ने बंगाल का विभाजन किया।
प्रश्न 23: ‘भारतीय पुनर्जागरण का अग्रदूत’ किसे कहा जाता है?
- स्वामी विवेकानंद
- राजा राममोहन राय
- दयानंद सरस्वती
- ईश्वर चंद्र विद्यासागर
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: राजा राममोहन राय को ‘भारतीय पुनर्जागरण का अग्रदूत’ और ‘आधुनिक भारत का जनक’ कहा जाता है।
- संदर्भ और विस्तार: उन्होंने 19वीं शताब्दी में सामाजिक, धार्मिक और राजनीतिक सुधारों की शुरुआत की। उन्होंने सती प्रथा के उन्मूलन, विधवा पुनर्विवाह और महिलाओं की शिक्षा जैसे मुद्दों पर जोर दिया। उन्होंने ब्रह्म समाज की स्थापना भी की, जो भारतीय समाज में सुधारवादी विचारों का एक प्रमुख केंद्र बना।
- गलत विकल्प: स्वामी विवेकानंद ने रामकृष्ण मिशन की स्थापना की और भारत की आध्यात्मिक पहचान को बढ़ावा दिया। दयानंद सरस्वती ने आर्य समाज की स्थापना की और वेदों की ओर लौटो का नारा दिया। ईश्वर चंद्र विद्यासागर ने विधवा पुनर्विवाह के लिए महत्वपूर्ण प्रयास किए।
प्रश्न 24: भारतीय संविधान के निर्माण में कितना समय लगा?
- 2 साल, 11 महीने, 18 दिन
- 3 साल, 7 महीने, 10 दिन
- 1 साल, 11 महीने, 18 दिन
- 2 साल, 5 महीने, 15 दिन
उत्तर: (a)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: भारतीय संविधान के निर्माण में कुल 2 साल, 11 महीने और 18 दिन का समय लगा।
- संदर्भ और विस्तार: संविधान सभा की पहली बैठक 9 दिसंबर 1946 को हुई थी और संविधान 26 नवंबर 1949 को बनकर तैयार हो गया था। इसे 26 जनवरी 1950 को लागू किया गया। इस दौरान संविधान सभा ने विभिन्न देशों के संविधानों का अध्ययन किया और भारतीय परिस्थितियों के अनुसार महत्वपूर्ण प्रावधानों को शामिल किया।
- गलत विकल्प: अन्य विकल्प संविधान निर्माण में लगे वास्तविक समय से भिन्न हैं।
प्रश्न 25: ‘फ्रांसीसी क्रांति’ किस वर्ष हुई थी?
- 1776 ईस्वी
- 1789 ईस्वी
- 1815 ईस्वी
- 1848 ईस्वी
उत्तर: (b)
विस्तृत व्याख्या:
- सटीकता: फ्रांसीसी क्रांति 1789 ईस्वी में हुई थी।
- संदर्भ और विस्तार: इस क्रांति ने फ्रांस में राजशाही को समाप्त कर दिया और गणतंत्र की स्थापना की। इसने ‘स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व’ (Liberté, égalité, fraternité) जैसे विचारों को जन्म दिया, जिनका दुनिया भर के राजनीतिक आंदोलनों पर गहरा प्रभाव पड़ा। बास्तील के पतन (14 जुलाई 1789) को क्रांति की शुरुआत माना जाता है।
- गलत विकल्प: 1776 अमेरिकी क्रांति का वर्ष है। 1815 में वाटरलू का युद्ध हुआ, जिसने नेपोलियन की हार और यूरोपीय व्यवस्था में बदलाव को चिन्हित किया। 1848 यूरोप में क्रांतियों का वर्ष था।
सफलता सिर्फ कड़ी मेहनत से नहीं, सही मार्गदर्शन से मिलती है। हमारे सभी विषयों के कम्पलीट नोट्स, G.K. बेसिक कोर्स, और करियर गाइडेंस बुक के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें।
[कोर्स और फ्री नोट्स के लिए यहाँ क्लिक करें]