एलज़ाइमर और कैंसर ड्रग्स: सामान्य विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न
परिचय: प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता के लिए सामान्य विज्ञान की गहरी समझ अत्यंत आवश्यक है। यह खंड आपको भौतिकी, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्नों का अभ्यास करने में मदद करेगा, जो अक्सर विभिन्न प्रतिस्पर्धी परीक्षाओं में पूछे जाते हैं। एलज़ाइमर रोग के उपचार में कैंसर दवाओं के अप्रत्याशित उपयोग जैसे हालिया वैज्ञानिक विकास हमें प्रकृति के रहस्यों को और करीब से समझने के लिए प्रेरित करते हैं। आइए, इन सिद्धांतों पर आधारित कुछ महत्वपूर्ण बहुविकल्पीय प्रश्नों का अभ्यास करें और अपनी तैयारी को और मजबूत बनाएं।
सामान्य विज्ञान अभ्यास प्रश्न (General Science Practice MCQs)
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कैंसर की दवाओं द्वारा अल्ज़ाइमर के नुकसान को उलटने की क्षमता किस जैविक प्रक्रिया से संबंधित हो सकती है?
- (a) कोशिका विभाजन का अवरोधन
- (b) एंजाइम गतिविधि का बढ़ाव
- (c) न्यूरोनल पुनरुत्थान को बढ़ावा देना
- (d) प्रोटीन एकत्रीकरण का फैलाव
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अल्ज़ाइमर रोग अक्सर मस्तिष्क में असामान्य प्रोटीन (जैसे बीटा-एमिलॉयड और टाऊ) के एकत्रीकरण से जुड़ा होता है, जो न्यूरोनल क्षति का कारण बनते हैं। कैंसर ड्रग्स, विशेष रूप से कुछ जो प्रोटीन तह और संकेत मार्गों को लक्षित करते हैं, इन एकत्रीकरणों को बाधित या फैला सकते हैं।
व्याख्या (Explanation): कैंसर कोशिकाएं अक्सर तेजी से विभाजित होती हैं और असामान्य प्रोटीन चयापचय से गुजरती हैं। कुछ कैंसर दवाओं को इस तरह से डिज़ाइन किया गया है कि वे प्रोटीन के तह और एकत्रीकरण में हस्तक्षेप कर सकें। अल्ज़ाइमर में, यह एकत्रीकरण न्यूरोटॉक्सिसिटी का एक प्रमुख कारण है। इसलिए, यदि कैंसर की दवाएं इन एकत्रीकृत प्रोटीनों को भंग करने या उनके निर्माण को रोकने में सक्षम हैं, तो वे अल्ज़ाइमर के नुकसान को उलट सकती हैं। विकल्प (a) सामान्य कैंसर उपचार से संबंधित है लेकिन अल्ज़ाइमर रिवर्सल के लिए प्रत्यक्ष तंत्र नहीं है। (b) एंजाइम गतिविधि का बढ़ाव रोग बढ़ा सकता है। (c) न्यूरोनल पुनरुत्थान संभव है, लेकिन प्राथमिक तंत्र प्रोटीन एकत्रीकरण का फैलाव है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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अल्ज़ाइमर रोग में स्मृति हानि का मुख्य कारण क्या है?
- (a) न्यूरॉन्स का अत्यधिक उत्तेजित होना
- (b) न्यूरॉन्स के बीच सिनैप्स का टूटना
- (c) न्यूरोट्रांसमीटर का अत्यधिक उत्पादन
- (d) रक्त-मस्तिष्क बाधा का मजबूत होना
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अल्ज़ाइमर रोग एक न्यूरोडीजेनेरेटिव विकार है जो मुख्य रूप से मस्तिष्क में न्यूरॉन्स के बीच संचार को बाधित करता है। यह अवरोध मुख्य रूप से सिनैप्स (न्यूरॉन्स के बीच जंक्शन) के नुकसान और टूटने से होता है।
व्याख्या (Explanation): स्मृति और संज्ञानात्मक कार्य सिनैप्टिक संचार पर निर्भर करते हैं। अल्ज़ाइमर में, बीटा-एमिलॉयड प्लेक्स और टाऊ टेंगल्स नामक असामान्य प्रोटीन का निर्माण सिनैप्स को नुकसान पहुंचाता है और अंततः न्यूरॉन्स को मार देता है, जिससे स्मृति हानि और अन्य संज्ञानात्मक गिरावट होती है। विकल्प (a) गलत है क्योंकि न्यूरॉन्स का अत्यधिक उत्तेजित होना सामान्यतः अल्ज़ाइमर में नहीं देखा जाता है। (c) न्यूरोट्रांसमीटर का उत्पादन अक्सर कम हो जाता है, बढ़ता नहीं। (d) रक्त-मस्तिष्क बाधा अल्ज़ाइमर में अधिक पारगम्य हो सकती है, मजबूत नहीं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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कैंसर के उपचार में प्रयुक्त होने वाली एक आम दवा जो कोशिका चक्र को बाधित करके कैंसर कोशिकाओं के विकास को रोकती है, वह किस प्रकार की दवा हो सकती है?
- (a) एंटीबायोटिक
- (b) एंटीवायरल
- (c) कीमोथेरेप्यूटिक एजेंट
- (d) एंटी-इंफ्लेमेटरी
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): कीमोथेरेप्यूटिक एजेंट कैंसर कोशिकाओं के प्रसार को लक्षित करके काम करते हैं, अक्सर डीएनए प्रतिकृति या कोशिका विभाजन (माइटोसिस) की प्रक्रिया में हस्तक्षेप करके।
व्याख्या (Explanation): कैंसर कोशिकाओं की विशेषता अनियंत्रित कोशिका विभाजन है। कीमोथेरेपी दवाएं, जैसे कि साइक्लोफॉस्फेमाइड या मेथोट्रेक्सेट, कोशिका चक्र के विभिन्न चरणों में हस्तक्षेप करती हैं, जिससे कोशिकाएं विभाजित नहीं हो पातीं और अंततः मर जाती हैं। एंटीबायोटिक्स बैक्टीरिया को लक्षित करते हैं, एंटीवायरल वायरस को, और एंटी-इंफ्लेमेटरी सूजन को कम करते हैं। ये कैंसर के सीधे उपचार के लिए उपयोग नहीं किए जाते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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अल्ज़ाइमर रोग में मस्तिष्क में बनने वाले बीटा-एमिलॉयड प्लेक्स मुख्य रूप से किस प्रकार के बायोमोलेक्यूल (biomolecule) के असामान्य जमाव हैं?
- (a) कार्बोहाइड्रेट
- (b) लिपिड
- (c) प्रोटीन
- (d) न्यूक्लिक एसिड
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अल्ज़ाइमर रोग का पैथोफिजियोलॉजी मस्तिष्क में असामान्य प्रोटीन फोल्डिंग और एकत्रीकरण से जुड़ा हुआ है।
व्याख्या (Explanation): बीटा-एमिलॉयड एक छोटा पेप्टाइड (प्रोटीन का एक छोटा खंड) है जो सामान्य रूप से मस्तिष्क में मौजूद होता है, लेकिन अल्ज़ाइमर में यह असामान्य रूप से एक साथ चिपक जाता है और प्लेक्स (पट्टिका) बनाता है। ये प्लेक्स न्यूरोनल कार्य को बाधित करते हैं और सूजन को ट्रिगर करते हैं। टाऊ प्रोटीन (tau protein) भी अल्ज़ाइमर में महत्वपूर्ण है, जो ताऊ टेंगल्स (neurofibrillary tangles) बनाता है। दोनों ही प्रोटीन प्रकृति के होते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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भौतिकी के किस सिद्धांत का उपयोग MRI (Magnetic Resonance Imaging) स्कैन में मस्तिष्क की छवियों को बनाने के लिए किया जाता है?
- (a) प्रकाश का अपवर्तन
- (b) परमाणु चुंबकीय अनुनाद (Nuclear Magnetic Resonance)
- (c) ध्वनि तरंगों का परावर्तन
- (d) विद्युत चुम्बकीय प्रेरण
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): MRI मशीन एक मजबूत चुंबकीय क्षेत्र और रेडियो तरंगों का उपयोग करती है ताकि शरीर के अंदर के परमाणुओं, विशेष रूप से पानी के अणुओं में हाइड्रोजन परमाणुओं के चुंबकीय गुणों के साथ परस्पर क्रिया की जा सके।
व्याख्या (Explanation): MRI का पूरा नाम ही ‘मैग्नेटिक रेजोनेंस इमेजिंग’ है। यह तकनीक ऊतकों के भीतर प्रोटॉन (हाइड्रोजन नाभिक) के चुंबकीय गुणों और रेडियो तरंगों के प्रति उनकी प्रतिक्रिया का लाभ उठाती है। जब एक मजबूत चुंबकीय क्षेत्र लगाया जाता है, तो प्रोटॉन खुद को संरेखित करते हैं। फिर रेडियो तरंगों के एक संक्षिप्त स्पंद से उन्हें उत्तेजित किया जाता है, और जब वे अपनी मूल स्थिति में लौटते हैं, तो वे एक संकेत उत्सर्जित करते हैं जिसे ऊतक की विस्तृत 3D छवियां बनाने के लिए पता लगाया जाता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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एक रोगी के रक्त में ग्लूकोज के स्तर को मापने के लिए उपयोग किए जाने वाले ऑक्सीमीटर (Pulse Oximeter) में किस प्रकार की प्रकाश तरंगदैर्ध्य (wavelength) का उपयोग किया जाता है?
- (a) केवल दृश्य प्रकाश
- (b) दृश्य प्रकाश और अवरक्त (infrared) प्रकाश
- (c) केवल पराबैंगनी (ultraviolet) प्रकाश
- (d) केवल रेडियो तरंगें
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): पल्स ऑक्सीमीटर रक्त में ऑक्सीजन संतृप्ति (SpO2) को मापता है, जो रक्त में ऑक्सीजन ले जाने वाले हीमोग्लोबिन की मात्रा का एक संकेतक है। यह इस सिद्धांत पर आधारित है कि ऑक्सीहेमोग्लोबिन (ऑक्सीजन-बाउंड) और डीऑक्सीहेमोग्लोबिन (ऑक्सीजन-मुक्त) प्रकाश को अलग-अलग अवशोषित करते हैं।
व्याख्या (Explanation): एक पल्स ऑक्सीमीटर में दो एलईडी (LEDs) होते हैं: एक लाल प्रकाश (लगभग 660 nm) और एक अवरक्त प्रकाश (लगभग 940 nm) उत्सर्जित करता है। डीऑक्सीहेमोग्लोबिन लाल प्रकाश को अधिक अवशोषित करता है और अवरक्त प्रकाश को कम, जबकि ऑक्सीहेमोग्लोबिन इसके विपरीत करता है। इन दोनों तरंगदैर्ध्यों पर अवशोषण के अंतर को मापकर, डिवाइस ऑक्सीजन संतृप्ति का अनुमान लगा सकता है। हालांकि प्रश्न में ग्लूकोज का उल्लेख है, “ऑक्सीमीटर” शब्द आमतौर पर पल्स ऑक्सीमीटर के लिए प्रयोग किया जाता है, जो SpO2 मापता है, ग्लूकोज नहीं। ग्लूकोज मीटर अलग होते हैं। प्रश्न की शब्दावली को ध्यान में रखते हुए, हम पल्स ऑक्सीमीटर के कार्य को मानते हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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कैंसर की दवाओं के विकास में ‘टारगेटेड थेरेपी’ (Targeted Therapy) का क्या अर्थ है?
- (a) एक ही दवा से सभी प्रकार के कैंसर का इलाज
- (b) कैंसर कोशिकाओं की विशिष्ट आणविक असामान्यताओं को लक्षित करना
- (c) प्रतिरक्षा प्रणाली को कैंसर से लड़ने के लिए उत्तेजित करना
- (d) कैंसर कोशिकाओं को ऑक्सीजन की आपूर्ति बंद करना
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): टारगेटेड थेरेपी पारंपरिक कीमोथेरेपी की तुलना में अधिक विशिष्ट दृष्टिकोण अपनाती है, जो तेजी से विभाजित होने वाली सभी कोशिकाओं (स्वस्थ और कैंसर दोनों) को प्रभावित करती है।
व्याख्या (Explanation): टारगेटेड थेरेपी उन विशिष्ट अणुओं (जैसे प्रोटीन या जीन) को लक्षित करती है जो कैंसर कोशिकाओं के विकास और प्रसार में भूमिका निभाते हैं, लेकिन सामान्य स्वस्थ कोशिकाओं में नहीं होते या कम होते हैं। उदाहरणों में रिसेप्टर टाइरोसिन किनेज अवरोधक (जैसे इमेटिनिब) या मोनोक्लोनल एंटीबॉडी (जैसे ट्रस्तुज़ुमाब) शामिल हैं। ये दवाएं कैंसर कोशिकाओं को पहचानने और नष्ट करने में मदद करती हैं या उनके विकास को रोकती हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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अल्ज़ाइमर रोग के प्रारंभिक चरणों में कौन सा न्यूरोट्रांसमीटर (neurotransmitter) स्तर में कमी देखी जाती है?
- (a) डोपामाइन
- (b) सेरोटोनिन
- (c) एसिटाइलकोलाइन
- (d) गामा-एमिनोब्यूट्रिक एसिड (GABA)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): एसिटाइलकोलाइन एक महत्वपूर्ण न्यूरोट्रांसमीटर है जो सीखने और स्मृति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। अल्ज़ाइमर रोग में, इस न्यूरोट्रांसमीटर के उत्पादन या रिलीज को प्रभावित करने वाले न्यूरॉन्स क्षतिग्रस्त हो जाते हैं।
व्याख्या (Explanation): अल्ज़ाइमर रोग में, कोलीनर्जिक न्यूरॉन्स (जो एसिटाइलकोलाइन का उत्पादन करते हैं) विशेष रूप से प्रभावित होते हैं। एसिटाइलकोलाइन की कमी से स्मृति, ध्यान और अन्य संज्ञानात्मक कार्यों में कमी आती है। अल्ज़ाइमर के कई उपचार एसिटाइलकोलाइन के टूटने को रोककर या उसके प्रभाव को बढ़ाकर काम करते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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रसायन विज्ञान में, pH स्केल किस चीज को मापता है?
- (a) घोल में हाइड्रोजन आयनों की सांद्रता
- (b) घोल में हाइड्रॉक्सिल आयनों की सांद्रता
- (c) घोल की विद्युत चालकता
- (d) घोल की चिपचिपाहट
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): pH की परिभाषा ऋणात्मक लघुगणक (negative logarithm) के रूप में दी गई है, जो किसी जलीय घोल में हाइड्रोजन आयनों ([H+]) की सांद्रता के व्युत्क्रम (reciprocal) के बराबर है।
व्याख्या (Explanation): pH = -log10[H+]। एक कम pH मान (0-7) अम्लता को इंगित करता है, जबकि एक उच्च pH मान (7-14) क्षारीयता को इंगित करता है। 7 एक तटस्थ pH है। यह घोल की अम्लता या क्षारीयता को समझने का एक मौलिक मापक है।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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धातुओं की सतह को साफ करने या ऑक्सीकरण हटाने के लिए किस रासायनिक प्रक्रिया का उपयोग किया जाता है?
- (a) संक्षारण (Corrosion)
- (b) ऑक्सीकरण (Oxidation)
- (c) अपचयन (Reduction)
- (d) जारण (Passivation)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): धातुओं की सतह से ऑक्साइड या जंग (जो धातु के ऑक्सीकृत रूप हैं) को हटाने के लिए एक अपचायक (reducing agent) का उपयोग किया जाता है।
व्याख्या (Explanation): जब धातुएं हवा या नमी के संपर्क में आती हैं, तो वे ऑक्सीकृत हो जाती हैं, जिससे ऑक्साइड या जंग बन जाता है। उदाहरण के लिए, लोहे का जंग आयरन (III) ऑक्साइड है। इन ऑक्साइडों को हटाने के लिए, एक अपचायक का उपयोग किया जाता है जो ऑक्सीजन परमाणुओं को हटाता है, धातु को उसके मूल रूप में वापस लाता है। यह अक्सर एसिड (जैसे साइट्रिक एसिड या हाइड्रोक्लोरिक एसिड) का उपयोग करके किया जाता है जो अपचायक के रूप में कार्य करते हैं। संक्षारण स्वयं ऑक्सीकरण की प्रक्रिया है। जारण एक ऐसी प्रक्रिया है जो धातु की सतह पर एक निष्क्रिय परत बनाती है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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जब कोई पदार्थ ऊष्मा को अवशोषित किए बिना अवस्था परिवर्तन से गुजरता है, तो उस ऊष्मा को क्या कहा जाता है?
- (a) विशिष्ट ऊष्मा
- (b) गुप्त ऊष्मा (Latent Heat)
- (c) संवहन ऊष्मा
- (d) चालन ऊष्मा
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): अवस्था परिवर्तन (जैसे ठोस से द्रव या द्रव से गैस) के दौरान, तापमान स्थिर रहता है क्योंकि अवशोषित या जारी की गई ऊष्मा अणु के बंधन को तोड़ने या बनाने में उपयोग होती है।
व्याख्या (Explanation): गुप्त ऊष्मा वह ऊर्जा है जो किसी पदार्थ के प्रति इकाई द्रव्यमान द्वारा अवशोषित या जारी की जाती है जब वह बिना तापमान परिवर्तन के अपनी अवस्था बदलता है। उदाहरण के लिए, पानी का गलनांक (0°C) या क्वथनांक (100°C) पर अवस्था परिवर्तन गुप्त ऊष्मा के कारण होता है। विशिष्ट ऊष्मा किसी पदार्थ के तापमान को 1°C बढ़ाने के लिए आवश्यक ऊष्मा की मात्रा है। संवहन और चालन ऊष्मा हस्तांतरण की विधियाँ हैं।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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विटामिन डी का सबसे अच्छा प्राकृतिक स्रोत क्या है, जो हड्डियों के स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है?
- (a) खट्टे फल
- (b) हरी पत्तेदार सब्जियां
- (c) सूर्य का प्रकाश
- (d) साबुत अनाज
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मानव त्वचा सूर्य की पराबैंगनी-बी (UVB) किरणों के संपर्क में आने पर विटामिन डी का संश्लेषण करती है।
व्याख्या (Explanation): जब सूर्य की UVB किरणें त्वचा पर पड़ती हैं, तो वे 7-डीहाइड्रोकोलेस्ट्रॉल को प्रीविटामिन D3 में परिवर्तित करती हैं, जिसे बाद में विटामिन D3 में और फिर यकृत और गुर्दे में सक्रिय रूप (कैल्सीट्रियोल) में परिवर्तित किया जाता है। विटामिन डी कैल्शियम और फास्फोरस के अवशोषण के लिए आवश्यक है, जो मजबूत हड्डियों के लिए महत्वपूर्ण हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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जब प्रकाश सघन माध्यम से विरल माध्यम में प्रवेश करता है, तो यह अभिलंब (normal) की ओर झुकता है या अभिलंब से दूर?
- (a) अभिलंब की ओर
- (b) अभिलंब से दूर
- (c) यह माध्यम पर निर्भर नहीं करता
- (d) प्रकाश का अपवर्तन नहीं होता
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रकाश के अपवर्तन का नियम (Snell’s Law) बताता है कि जब प्रकाश एक माध्यम से दूसरे माध्यम में जाता है, तो उसका पथ मुड़ जाता है। यह झुकाव माध्यमों के अपवर्तनांक (refractive index) पर निर्भर करता है।
व्याख्या (Explanation): सघन माध्यम (जैसे पानी या कांच) का अपवर्तनांक विरल माध्यम (जैसे हवा) से अधिक होता है। जब प्रकाश सघन से विरल माध्यम में जाता है, तो यह अभिलंब से दूर झुकता है। इसका कारण यह है कि प्रकाश विरल माध्यम में तेज़ी से यात्रा करता है, और इसकी गति में यह परिवर्तन इसके पथ को अभिलंब से दूर मोड़ देता है। इसके विपरीत, जब प्रकाश विरल से सघन माध्यम में जाता है, तो यह अभिलंब की ओर झुकता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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ऑक्सीजन का अणु (O2) बनाने के लिए ऑक्सीजन के दो परमाणु किस प्रकार के रासायनिक बंध (chemical bond) द्वारा जुड़े होते हैं?
- (a) आयनिक बंध
- (b) सहसंयोजक बंध (Covalent bond)
- (c) धात्विक बंध
- (d) हाइड्रोजन बंध
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): सहसंयोजक बंध तब बनते हैं जब दो परमाणु इलेक्ट्रॉनों को साझा करते हैं, जिससे दोनों परमाणुओं के बीच एक स्थिर अणु बनता है।
व्याख्या (Explanation): ऑक्सीजन परमाणु में 6 संयोजी इलेक्ट्रॉन होते हैं और एक स्थिर अष्टक (octet) प्राप्त करने के लिए उसे 2 और इलेक्ट्रॉनों की आवश्यकता होती है। ऑक्सीजन के दो परमाणु इलेक्ट्रॉनों के दो जोड़े साझा करते हैं, जिससे एक दोहरा सहसंयोजक बंध (double covalent bond) बनता है। इस प्रक्रिया में, प्रत्येक परमाणु को 8 संयोजी इलेक्ट्रॉन मिलते हैं। आयनिक बंध आमतौर पर धातु और अधातु के बीच बनते हैं, धात्विक बंध धातुओं के बीच, और हाइड्रोजन बंध तब बनते हैं जब हाइड्रोजन एक अत्यधिक विद्युत ऋणात्मक परमाणु (जैसे ऑक्सीजन या नाइट्रोजन) से जुड़ा होता है और दूसरे विद्युत ऋणात्मक परमाणु के करीब आता है।
अतः, सही उत्तर (b) है।
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जीव विज्ञान में, कोशिका का ‘ऊर्जा घर’ (Powerhouse of the cell) किसे कहा जाता है?
- (a) नाभिक (Nucleus)
- (b) राइबोसोम (Ribosome)
- (c) माइटोकॉन्ड्रिया (Mitochondrion)
- (d) गॉल्जी उपकरण (Golgi apparatus)
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): माइटोकॉन्ड्रिया वह कोशिकांग है जहां कोशिकीय श्वसन (cellular respiration) होता है, जो भोजन से ऊर्जा (ATP के रूप में) उत्पन्न करता है।
व्याख्या (Explanation): माइटोकॉन्ड्रिया एक विशिष्ट दोहरी-झिल्ली वाला कोशिकांग है जो कोशिकीय श्वसन की अधिकांश प्रक्रियाएं करता है। इस प्रक्रिया के माध्यम से, ग्लूकोज और ऑक्सीजन का उपयोग करके एडेनोसिन ट्राइफॉस्फेट (ATP) का उत्पादन किया जाता है, जो कोशिका की अधिकांश गतिविधियों के लिए ऊर्जा का मुख्य स्रोत है। इसलिए, इसे कोशिका का ‘ऊर्जा घर’ कहा जाता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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शरीर में एंजाइमों की भूमिका क्या है?
- (a) ये कोशिकाओं को संरचनात्मक सहायता प्रदान करते हैं
- (b) ये प्रोटीन संश्लेषण को नियंत्रित करते हैं
- (c) ये रासायनिक अभिक्रियाओं की दर को बढ़ाते हैं
- (d) ये कोशिका झिल्ली के पार पदार्थों के परिवहन को नियंत्रित करते हैं
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): एंजाइम जैव-उत्प्रेरक (biocatalysts) होते हैं जो जैविक प्रणालियों में विशिष्ट रासायनिक अभिक्रियाओं के लिए सक्रियण ऊर्जा (activation energy) को कम करके उनकी दर को बढ़ाते हैं।
व्याख्या (Explanation): एंजाइम, जो आमतौर पर प्रोटीन होते हैं, शरीर में अनगिनत जैव रासायनिक प्रक्रियाओं के लिए आवश्यक हैं, जैसे पाचन, चयापचय और डीएनए प्रतिकृति। वे अभिक्रियाओं को बहुत तेज़ी से होने में मदद करते हैं, जो अन्यथा बहुत धीमी गति से होंगी या बिल्कुल भी नहीं होंगी। वे स्वयं अभिक्रिया में उपभोग नहीं होते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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प्रकाश संश्लेषण (Photosynthesis) की प्रक्रिया में पौधे कौन सी गैस का उपयोग करते हैं?
- (a) ऑक्सीजन
- (b) नाइट्रोजन
- (c) कार्बन डाइऑक्साइड
- (d) मीथेन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): प्रकाश संश्लेषण एक प्रक्रिया है जिसमें हरे पौधे और कुछ अन्य जीव सूर्य के प्रकाश की ऊर्जा का उपयोग करके कार्बन डाइऑक्साइड और पानी को ग्लूकोज (एक शर्करा) और ऑक्सीजन में परिवर्तित करते हैं।
व्याख्या (Explanation): प्रकाश संश्लेषण का सामान्य समीकरण है: 6CO2 + 6H2O + प्रकाश ऊर्जा → C6H12O6 + 6O2। इस प्रक्रिया में, पौधे अपने पर्णहरित (chlorophyll) का उपयोग करके सूर्य के प्रकाश को अवशोषित करते हैं, वायुमंडल से कार्बन डाइऑक्साइड लेते हैं, और जड़ों से पानी लेते हैं। ये अभिकारक ग्लूकोज (भोजन) और ऑक्सीजन का उत्पादन करते हैं, जिसे वायुमंडल में छोड़ा जाता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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एक चालक (conductor) में, विद्युत धारा (electric current) मुख्य रूप से किसके प्रवाह के कारण होती है?
- (a) प्रोटॉन
- (b) न्यूट्रॉन
- (c) इलेक्ट्रॉन
- (d) आयन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): विद्युत धारा आवेश वाहकों (charge carriers) के प्रवाह को कहते हैं। धातुओं जैसे चालकों में, ये आवेश वाहक मुक्त इलेक्ट्रॉन होते हैं।
व्याख्या (Explanation): धातुओं की संरचना में, सबसे बाहरी इलेक्ट्रॉनों (संयोजी इलेक्ट्रॉन) को नाभिक द्वारा मजबूती से नहीं बांधा जाता है और वे पूरे क्रिस्टल जालक में स्वतंत्र रूप से घूमने के लिए स्वतंत्र होते हैं। जब एक वोल्टेज (विद्युत दाब) लगाया जाता है, तो ये मुक्त इलेक्ट्रॉन एक दिशा में गति करते हैं, जिससे विद्युत धारा उत्पन्न होती है। कुछ अन्य चालकों, जैसे इलेक्ट्रोलाइट समाधानों में, आयन विद्युत धारा के वाहक होते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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मनुष्य के शरीर में रक्त का pH मान सामान्यतः कितना होता है?
- (a) 6.5 – 7.0
- (b) 7.0 – 7.5
- (c) 7.35 – 7.45
- (d) 7.5 – 8.0
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): मानव शरीर के विभिन्न तरल पदार्थों का एक विशिष्ट pH होता है, और रक्त का pH अत्यधिक विनियमित होता है ताकि जैविक प्रक्रियाओं को इष्टतम तरीके से किया जा सके।
व्याख्या (Explanation): मानव रक्त का सामान्य pH रेंज 7.35 से 7.45 है, जो इसे थोड़ा क्षारीय बनाता है। शरीर में एसिड-बेस संतुलन बनाए रखने के लिए बफर सिस्टम (जैसे बाइकार्बोनेट बफर सिस्टम) मौजूद होते हैं। इस संकीर्ण सीमा से कोई भी महत्वपूर्ण विचलन गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं पैदा कर सकता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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रेडियोधर्मी क्षय (Radioactive decay) में, कौन सा कण उत्सर्जित नहीं होता है?
- (a) अल्फा कण
- (b) बीटा कण
- (c) गामा किरणें
- (d) न्यूट्रॉन
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): रेडियोधर्मी क्षय तब होता है जब एक अस्थिर परमाणु नाभिक अधिक स्थिर बनने के लिए कणों या ऊर्जा को उत्सर्जित करता है। मुख्य प्रकारों में अल्फा क्षय, बीटा क्षय और गामा उत्सर्जन शामिल हैं।
व्याख्या (Explanation):
* **अल्फा कण (α):** ये हीलियम नाभिक (2 प्रोटॉन और 2 न्यूट्रॉन) होते हैं।
* **बीटा कण (β):** ये उच्च-ऊर्जा इलेक्ट्रॉन या पॉज़िट्रॉन होते हैं।
* **गामा किरणें (γ):** ये उच्च-ऊर्जा फोटॉन (विद्युत चुम्बकीय विकिरण) होते हैं।
* **न्यूट्रॉन:** जबकि न्यूट्रॉन परमाणु नाभिक का हिस्सा होते हैं, वे स्वयं सीधे रेडियोधर्मी क्षय में उत्सर्जित प्राथमिक कण नहीं हैं, हालांकि वे कुछ विखंडन प्रतिक्रियाओं का हिस्सा हो सकते हैं। अल्फा, बीटा और गामा प्राथमिक उत्सर्जित कण/विकिरण हैं।अतः, सही उत्तर (d) है।
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मानव शरीर में पाचन में सहायता के लिए पेट में कौन सा अम्ल स्रावित होता है?
- (a) सल्फ्यूरिक एसिड
- (b) नाइट्रिक एसिड
- (c) हाइड्रोक्लोरिक एसिड
- (d) एसिटिक एसिड
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): पेट की परत में स्थित पार्श्विका कोशिकाओं (parietal cells) द्वारा हाइड्रोक्लोरिक एसिड (HCl) का उत्पादन किया जाता है।
व्याख्या (Explanation): पेट में HCl भोजन को पचाने में मदद करता है, विशेष रूप से प्रोटीन को। यह पेप्सिन नामक एंजाइम को सक्रिय करता है, जो प्रोटीन को छोटे पेप्टाइड्स में तोड़ता है। HCl भोजन में मौजूद बैक्टीरिया और अन्य रोगजनकों को मारने में भी मदद करता है, इस प्रकार पेट को संक्रमण से बचाता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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निम्नलिखित में से कौन सा ऊष्मा का सबसे अच्छा सुचालक (conductor) है?
- (a) हवा
- (b) पानी
- (c) लकड़ी
- (d) तांबा
उत्तर: (d)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): ऊष्मा का सुचालक वह पदार्थ है जो अपने माध्यम से ऊष्मा को आसानी से पारित करने देता है। मेटल्स (धातुएं) आम तौर पर सबसे अच्छे ऊष्मा के सुचालक होते हैं।
व्याख्या (Explanation): तांबा एक धातु है जिसमें मुक्त इलेक्ट्रॉन होते हैं जो ऊष्मा ऊर्जा को कुशलतापूर्वक स्थानांतरित करते हैं। हवा एक गैस है और ऊष्मा की एक बहुत खराब सुचालक (एक उत्कृष्ट ऊष्मारोधी – insulator) है। पानी भी हवा की तुलना में थोड़ा बेहतर सुचालक है, लेकिन धातुओं की तुलना में बहुत कम। लकड़ी एक कार्बनिक पदार्थ है जो ऊष्मा का खराब सुचालक है।
अतः, सही उत्तर (d) है।
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मानव रक्त में लाल रक्त कोशिकाओं (Red Blood Cells) का मुख्य कार्य क्या है?
- (a) संक्रमण से लड़ना
- (b) रक्त को जमाना
- (c) ऑक्सीजन का परिवहन
- (d) पोषक तत्वों का परिवहन
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): लाल रक्त कोशिकाओं में हीमोग्लोबिन नामक एक प्रोटीन होता है, जो ऑक्सीजन से बंध सकता है।
व्याख्या (Explanation): लाल रक्त कोशिकाएं (Erythrocytes) पूरे शरीर में ऑक्सीजन ले जाने के लिए जिम्मेदार हैं, जो फेफड़ों से ऊतकों तक जाती है और कार्बन डाइऑक्साइड को ऊतकों से फेफड़ों तक ले जाती है। वे शरीर के ऊतकों के लिए आवश्यक ऑक्सीजन की आपूर्ति सुनिश्चित करती हैं। संक्रमण से लड़ना श्वेत रक्त कोशिकाओं (White Blood Cells) का कार्य है, और रक्त का जमना प्लेटलेट्स (Platelets) का कार्य है। पोषक तत्वों का परिवहन प्लाज्मा (Plasma) और अन्य कोशिकाओं द्वारा भी किया जाता है।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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सौर ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करने के लिए किस उपकरण का उपयोग किया जाता है?
- (a) ट्रांसफार्मर
- (b) जनरेटर
- (c) सौर सेल (Solar cell)
- (d) मोटर
उत्तर: (c)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): सौर सेल (जिन्हें फोटोवोल्टिक सेल भी कहा जाता है) प्रकाश ऊर्जा को सीधे विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करने के लिए फोटोवोल्टिक प्रभाव का उपयोग करते हैं।
व्याख्या (Explanation): जब सूर्य का प्रकाश सौर सेल की सतह पर पड़ता है, तो यह अर्धचालक सामग्री (आमतौर पर सिलिकॉन) में इलेक्ट्रॉनों को मुक्त करता है, जिससे एक विद्युत प्रवाह उत्पन्न होता है। ट्रांसफार्मर विद्युत ऊर्जा के वोल्टेज को बदलते हैं, जनरेटर यांत्रिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करते हैं (जैसे टरबाइन द्वारा), और मोटर विद्युत ऊर्जा को यांत्रिक ऊर्जा में परिवर्तित करते हैं।
अतः, सही उत्तर (c) है।
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वनस्पति जगत में, पौधों में जल के परिवहन के लिए कौन सा ऊतक जिम्मेदार है?
- (a) जाइलम (Xylem)
- (b) फ्लोएम (Phloem)
- (c) एपिडर्मिस (Epidermis)
- (d) कॉर्टेक्स (Cortex)
उत्तर: (a)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): जाइलम विशेष ऊतक हैं जो पौधों की जड़ों से तने और पत्तियों तक पानी और कुछ घुले हुए खनिजों के परिवहन के लिए जिम्मेदार हैं।
व्याख्या (Explanation): जाइलम में जल-वाहक कोशिकाएं होती हैं, जैसे वाहिकाएं (vessels) और वाहिनिकाएं (tracheids), जो एक सतत पाइपलाइन बनाती हैं। यह जल परिवहन वाष्पोत्सर्जन (transpiration) द्वारा प्रेरित होता है, जो पत्तियों से पानी के वाष्पीकरण की प्रक्रिया है, जो जाइलम में एक सक्शन बल पैदा करता है। फ्लोएम प्रकाश संश्लेषण द्वारा उत्पादित शर्करा (खाद्य) को पत्तियों से पौधे के अन्य भागों तक ले जाता है।
अतः, सही उत्तर (a) है।
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मानव में ‘आधुनिक चिकित्सा का जनक’ (Father of Modern Medicine) किसे माना जाता है?
- (a) अरस्तू
- (b) हिप्पोक्रेट्स
- (c) गैलेन
- (d) आइज़ैक न्यूटन
उत्तर: (b)
हल (Solution):
सिद्धांत (Principle): हिप्पोक्रेट्स (लगभग 460-370 ईसा पूर्व) को अक्सर चिकित्सा में अवलोकन, तर्क और अनुभवजन्य साक्ष्य के उपयोग पर जोर देने के लिए चिकित्सा के इतिहास में एक परिवर्तनकारी व्यक्ति माना जाता है, जिससे चिकित्सा को अंधविश्वास और जादू से अलग किया गया।
व्याख्या (Explanation): हिप्पोक्रेट्स ने “हिप्पोक्रेट्स की शपथ” (Hippocratic Oath) के लिए भी जाना जाता है, जो चिकित्सकों के लिए एक नैतिक आचार संहिता है। उन्होंने बीमारियों के प्राकृतिक कारणों की जांच करने पर जोर दिया और रोग निदान और उपचार में व्यवस्थित दृष्टिकोण विकसित किया।
अतः, सही उत्तर (b) है।