इतिहास के रण में महारत: 25 प्रश्न, 25 समाधान!
आइए, ज्ञान की मशाल जलाएं और बीते युगों की गलियों में एक रोमांचक यात्रा पर निकल पड़ें! आज का यह विशेष प्रश्नोत्तरी आपको भारतीय और विश्व इतिहास के महत्वपूर्ण पड़ावों से रूबरू कराएगी। अपने ऐतिहासिक ज्ञान को परखने और उसे और निखारने का यह बेहतरीन अवसर न चूकें। चलिए, इतिहास के इन रहस्यों को सुलझाते हैं!
इतिहास अभ्यास प्रश्न
निर्देश: निम्नलिखित 25 प्रश्नों का प्रयास करें और प्रदान किए गए विस्तृत स्पष्टीकरणों के साथ अपनी समझ का विश्लेषण करें।
प्रश्न 1: हड़प्पा सभ्यता का कौन सा स्थल अफगानिस्तान में स्थित है?
- लोथल
- हड़प्पा
- शोर्टुघाई
- कालीबंगा
उत्तर: (c)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: शोर्टुघाई (या शोरतुगाई) आधुनिक अफगानिस्तान में स्थित एक महत्वपूर्ण हड़प्पा स्थल है। यह सिंधु घाटी सभ्यता के विस्तार को दर्शाता है।
- संदर्भ और विस्तार: यह स्थल मेसोपोटामिया के साथ व्यापारिक संबंधों के लिए एक महत्वपूर्ण चौकी के रूप में कार्य करता था। यहाँ से मिली मुहरें और अन्य वस्तुएं इस बात की पुष्टि करती हैं।
- गलत विकल्प: लोथल गुजरात में स्थित एक बंदरगाह शहर था, जो व्यापार और शिल्प के लिए महत्वपूर्ण था। हड़प्पा पाकिस्तान में स्थित है, जहाँ से सभ्यता का नाम पड़ा। कालीबंगा राजस्थान में स्थित एक और महत्वपूर्ण हड़प्पा स्थल है।
प्रश्न 2: निम्नलिखित में से कौन सा कथन बुद्ध के जीवन से संबंधित नहीं है?
- महाभिनिष्क्रमण
- धर्मचक्रप्रवर्तन
- महापरिनिर्वाण
- पवित्रिकरण
उत्तर: (d)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘पवित्रिकरण’ (Purification) बुद्ध के जीवन की किसी विशेष घटना से संबंधित शब्द नहीं है।
- संदर्भ और विस्तार: ‘महाभिनिष्क्रमण’ बुद्ध के गृह त्याग की घटना है। ‘धर्मचक्रप्रवर्तन’ सारनाथ में उनके पहले उपदेश को दर्शाता है। ‘महापरिनिर्वाण’ उनके निधन की घटना है।
- गलत विकल्प: अन्य विकल्प बुद्ध के जीवन के अत्यंत महत्वपूर्ण और प्रसिद्ध क्षणों को दर्शाते हैं।
प्रश्न 3: ‘इक्ता’ प्रणाली का प्रारम्भ किस सुल्तान द्वारा किया गया था?
- कुतुबुद्दीन ऐबक
- इल्तुतमिश
- बलबन
- अलाउद्दीन खिलजी
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: इक्ता प्रणाली का संगठित रूप से प्रारम्भ दिल्ली सल्तनत के सुल्तान इल्तुतमिश ने किया था।
- संदर्भ और विस्तार: इक्ता एक भूमि अनुदान था, जो सुल्तान द्वारा अधिकारियों को उनकी सेवाओं के बदले दिया जाता था। इक्तादार उस भूमि से राजस्व एकत्र करता था और उसका एक हिस्सा अपनी सेवाओं के बदले रखता था, जबकि शेष भाग सल्तनत को देता था। इल्तुतमिश ने इसे एक व्यवस्थित प्रशासनिक व सैन्य ढाँचे के रूप में स्थापित किया।
- गलत विकल्प: कुतुबुद्दीन ऐबक ने सल्तनत की नींव रखी। बलबन ने शक्ति के केंद्रीकरण पर बल दिया। अलाउद्दीन खिलजी ने इक्ता प्रणाली में सुधार किए और उन्हें अधिक नियंत्रित किया।
प्रश्न 4: विजयनगर साम्राज्य की स्थापना किस वर्ष हुई थी?
- 1336 ई.
- 1347 ई.
- 1350 ई.
- 1400 ई.
उत्तर: (a)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: विजयनगर साम्राज्य की स्थापना 1336 ईस्वी में हरिहर प्रथम और बुक्का प्रथम (जिन्हें संगम वंश के रूप में जाना जाता है) ने की थी।
- संदर्भ और विस्तार: इस साम्राज्य की स्थापना का उद्देश्य उत्तर भारत की तुर्की सल्तनत के विस्तार को दक्षिण भारत में रोकना था। यह साम्राज्य अपनी समृद्ध संस्कृति, कला, वास्तुकला और व्यापार के लिए विख्यात रहा।
- गलत विकल्प: 1347 ई. में बहमनी सल्तनत की स्थापना हुई थी, जो विजयनगर साम्राज्य की प्रमुख प्रतिद्वंद्वी थी।
प्रश्न 5: ‘अष्टप्रधान’ नामक आठ मंत्रियों की परिषद किस साम्राज्य से संबंधित थी?
- मौर्य साम्राज्य
- गुप्त साम्राज्य
- चोल साम्राज्य
- मराठा साम्राज्य
उत्तर: (d)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘अष्टप्रधान’ परिषद छत्रपति शिवाजी महाराज के मराठा साम्राज्य से संबंधित थी।
- संदर्भ और विस्तार: इस परिषद में आठ मंत्री होते थे, जिनमें पेशवा (प्रधानमंत्री), अमात्य (वित्त मंत्री), सचिव (गृह मंत्री), सुमंत (विदेश मंत्री), सेनापति (सेना प्रमुख), पंडितराव (धार्मिक मामले), न्यायाधीश (न्याय प्रमुख) और प्रतिनिधि (राजा का सलाहकार) शामिल थे। यह शिवाजी के सुव्यवस्थित प्रशासन का महत्वपूर्ण अंग था।
- गलत विकल्प: मौर्य और गुप्त साम्राज्यों में भी मंत्री परिषदें होती थीं, लेकिन ‘अष्टप्रधान’ नाम और उसका ढाँचा मराठा साम्राज्य की विशिष्टता है।
प्रश्न 6: 1857 के विद्रोह के दौरान लखनऊ का नेतृत्व किसने किया था?
- रानी लक्ष्मीबाई
- बेगम हजरत महल
- तात्या टोपे
- बहादुर शाह जफर
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: 1857 के विद्रोह के दौरान लखनऊ में प्रतिरोध का नेतृत्व अवध की बेगम हजरत महल ने किया था।
- संदर्भ और विस्तार: उन्होंने अपने नाबालिग बेटे बिरजिस कद्र को अवध का नवाब घोषित कर ब्रिटिश शासन के खिलाफ संघर्ष का नेतृत्व किया। लखनऊ इस विद्रोह के प्रमुख केंद्रों में से एक था।
- गलत विकल्प: रानी लक्ष्मीबाई ने झांसी से, तात्या टोपे ने ग्वालियर और आसपास के क्षेत्रों से, और बहादुर शाह जफर दिल्ली से विद्रोह के प्रतीक थे।
प्रश्न 7: ‘गदर पार्टी’ की स्थापना कहाँ हुई थी?
- लंदन
- बर्लिन
- टोक्यो
- सैन फ्रांसिस्को
उत्तर: (d)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: गदर पार्टी की स्थापना 1913 में सैन फ्रांसिस्को, अमेरिका में लाला हरदयाल और अन्य भारतीय देशभक्तों द्वारा की गई थी।
- संदर्भ और विस्तार: इस पार्टी का मुख्य उद्देश्य भारत में ब्रिटिश शासन के खिलाफ एक सशस्त्र क्रांति को संगठित करना था। इसके सदस्य मुख्य रूप से वे भारतीय थे जो अमेरिका और कनाडा में काम कर रहे थे।
- गलत विकल्प: लंदन, बर्लिन और टोक्यो में भी भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन से संबंधित महत्वपूर्ण गतिविधियाँ हुईं, लेकिन गदर पार्टी का केंद्र सैन फ्रांसिस्को था।
प्रश्न 8: मोहनजोदड़ो से प्राप्त प्रमुख सार्वजनिक भवन कौन सा है?
- राजमहल
- विशाल अन्नागार
- धर्मशाला
- मेगालिथिक मकबरा
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: मोहनजोदड़ो से प्राप्त सबसे महत्वपूर्ण सार्वजनिक भवनों में से एक ‘विशाल अन्नागार’ (Great Granary) है।
- संदर्भ और विस्तार: इसके अलावा, ‘विशाल स्नानागार’ (Great Bath) भी मोहनजोदड़ो की एक प्रमुख विशेषता है, जिसे संभवतः अनुष्ठानिक उद्देश्यों के लिए इस्तेमाल किया जाता था। ये संरचनाएं हड़प्पावासियों की संगठनात्मक क्षमताओं और शहरी नियोजन को दर्शाती हैं।
- गलत विकल्प: राजमहल, धर्मशाला या मेगालिथिक मकबरे जैसी संरचनाएं हड़प्पा स्थलों से इस रूप में प्राप्त नहीं हुई हैं।
प्रश्न 9: ऋग्वेद में ‘अघन्य’ शब्द किसके लिए प्रयोग किया गया है?
- घोड़ा
- गाय
- बैल
- शेर
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ऋग्वेद में ‘अघन्य’ शब्द गाय के लिए प्रयोग किया गया है, जिसका अर्थ है ‘जिसे मारा न जाए’।
- संदर्भ और विस्तार: वैदिक काल में गाय को अत्यंत पवित्र और महत्वपूर्ण माना जाता था, यह धन का प्रतीक थी और इसका वध वर्जित था।
- गलत विकल्प: अन्य विकल्प ऋग्वेद में महत्वपूर्ण थे, लेकिन ‘अघन्य’ विशेष रूप से गाय के लिए ही प्रयुक्त हुआ।
प्रश्न 10: किस गुप्त शासक को ‘भारत का नेपोलियन’ कहा जाता है?
- चंद्रगुप्त प्रथम
- समुद्रगुप्त
- चंद्रगुप्त द्वितीय
- स्कंदगुप्त
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: समुद्रगुप्त को ‘भारत का नेपोलियन’ कहा जाता है।
- संदर्भ और विस्तार: यह उपाधि इतिहासकार वी. ए. स्मिथ द्वारा दी गई थी। समुद्रगुप्त एक महान विजेता था जिसने अपने शासनकाल में कई विजय अभियान चलाए और अपने साम्राज्य का विस्तार किया। उसकी वीरता और सैन्य सफलताओं को ‘प्रयाग प्रशस्ति’ (इलाहाबाद स्तंभ शिलालेख) में दर्शाया गया है।
- गलत विकल्प: अन्य गुप्त शासक भी महत्वपूर्ण थे, लेकिन समुद्रगुप्त की विजयों की तुलना नेपोलियन से की गई है।
प्रश्न 11: ‘दीन-ए-इलाही’ की शुरुआत किस मुगल बादशाह ने की थी?
- अकबर
- जहाँगीर
- शाहजहाँ
- औरंगजेब
उत्तर: (a)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘दीन-ए-इलाही’ (ईश्वरीय धर्म) की शुरुआत मुगल बादशाह अकबर ने 1582 ईस्वी में की थी।
- संदर्भ और विस्तार: यह एक संश्लेषित धर्म था जिसका उद्देश्य विभिन्न धार्मिक मान्यताओं के बीच सामंजस्य स्थापित करना था। इसमें हिंदू, इस्लाम, ईसाई, पारसी और अन्य धर्मों के तत्वों को शामिल किया गया था। हालांकि, यह ज्यादा लोकप्रिय नहीं हो सका।
- गलत विकल्प: अन्य मुगल बादशाहों की अपनी-अपनी धार्मिक नीतियां और प्राथमिकताएं थीं।
प्रश्न 12: भारत छोड़ो आंदोलन का प्रस्ताव कांग्रेस के किस अधिवेशन में पारित हुआ?
- लाहौर अधिवेशन
- कलकत्ता अधिवेशन
- फैजपुर अधिवेशन
- बम्बई अधिवेशन
उत्तर: (d)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: भारत छोड़ो आंदोलन का प्रस्ताव 8 अगस्त 1942 को बम्बई (अब मुंबई) में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अधिवेशन में पारित हुआ था।
- संदर्भ और विस्तार: इस अधिवेशन में महात्मा गांधी ने ‘करो या मरो’ का नारा दिया था। यह आंदोलन भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के अंतिम और सबसे तीव्र आंदोलनों में से एक था।
- गलत विकल्प: लाहौर अधिवेशन (1929) में पूर्ण स्वराज का प्रस्ताव पारित हुआ था।
प्रश्न 13: ‘The Spirit of Laws’ (कानून की आत्मा) नामक प्रसिद्ध पुस्तक का लेखक कौन है?
- रूसो
- वोल्टेयर
- मोंटेस्क्यू
- जॉन लॉक
उत्तर: (c)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘The Spirit of Laws’ (De l’esprit des lois) नामक पुस्तक के लेखक फ्रांसीसी दार्शनिक बैरन डी मोंटेस्क्यू हैं।
- संदर्भ और विस्तार: यह पुस्तक 1748 में प्रकाशित हुई थी और इसमें शक्ति पृथक्करण (separation of powers) के सिद्धांत का विस्तार से वर्णन किया गया है। इस सिद्धांत ने दुनिया भर के कई संविधानों को प्रभावित किया है, जिसमें संयुक्त राज्य अमेरिका का संविधान भी शामिल है।
- गलत विकल्प: रूसो ‘The Social Contract’ के लेखक थे, वोल्टेयर एक प्रमुख प्रबुद्ध विचारक थे, और जॉन लॉक ने ‘Two Treatises of Government’ लिखी थी।
प्रश्न 14: फ्रांसीसी क्रांति कब प्रारंभ हुई?
- 1776
- 1789
- 1799
- 1815
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: फ्रांसीसी क्रांति 1789 में शुरू हुई।
- संदर्भ और विस्तार: क्रांति की शुरुआत 14 जुलाई 1789 को बैस्टिल के पतन से मानी जाती है। यह क्रांति राजशाही, अभिजात वर्ग और कैथोलिक चर्च की शक्ति को समाप्त करने और समानता, स्वतंत्रता व बंधुत्व के सिद्धांतों पर आधारित एक नए समाज की स्थापना के लिए लड़ी गई थी।
- गलत विकल्प: 1776 में अमेरिकी क्रांति हुई। 1799 में नेपोलियन बोनापार्ट सत्ता में आया, जिसने क्रांति के कुछ पहलुओं को समाप्त कर दिया। 1815 में वाटरलू के युद्ध के बाद नेपोलियन का पतन हुआ।
प्रश्न 15: तैमूरलंग ने भारत पर कब आक्रमण किया?
- 1398 ई.
- 1303 ई.
- 1299 ई.
- 1401 ई.
उत्तर: (a)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: तैमूरलंग (Tamerlane) ने 1398 ईस्वी में दिल्ली सल्तनत पर आक्रमण किया था।
- संदर्भ और विस्तार: इस आक्रमण के कारण दिल्ली सल्तनत अत्यंत कमजोर हो गई थी और इसने तुगलक वंश के पतन की प्रक्रिया को तेज कर दिया। तैमूर के आक्रमण से दिल्ली में व्यापक नरसंहार और लूटपाट हुई।
- गलत विकल्प: 1303 ई. में अलाउद्दीन खिलजी ने रणथंभौर पर आक्रमण किया था, और 1299 ई. में उसने गुजरात पर आक्रमण किया था।
प्रश्न 16: ‘पुनर्जागरण’ (Renaissance) शब्द का संबंध किस भाषा से है?
- लैटिन
- ग्रीक
- फ्रेंच
- इतालवी
उत्तर: (d)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘Renaissance’ शब्द फ्रेंच भाषा का है, जिसका अर्थ है ‘पुनर्जन्म’ या ‘पुनरुत्थान’।
- संदर्भ और विस्तार: हालांकि यह शब्द फ्रेंच है, पुनर्जागरण आंदोलन की शुरुआत 14वीं शताब्दी में इटली में हुई थी और यह प्राचीन यूनानी और रोमन सभ्यताओं के विचारों, कला और साहित्य के अध्ययन का पुनरुद्धार था। इसने यूरोपीय संस्कृति, कला, विज्ञान और दर्शन पर गहरा प्रभाव डाला।
- गलत विकल्प: जबकि लैटिन और ग्रीक प्राचीन ज्ञान के स्रोत थे, पुनर्जागरण आंदोलन की शुरुआत और इसका नामकरण क्रमशः इटली और फ्रांस से जुड़ा है।
प्रश्न 17: किस वायसराय के कार्यकाल में असहयोग आंदोलन चलाया गया?
- लॉर्ड कर्जन
- लॉर्ड मिंटो
- लॉर्ड चैम्सफोर्ड
- लॉर्ड रीडिंग
उत्तर: (c)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: असहयोग आंदोलन (1920-22) के समय भारत के वायसराय लॉर्ड चैम्सफोर्ड थे।
- संदर्भ और विस्तार: गांधीजी के नेतृत्व में यह आंदोलन जलियांवाला बाग हत्याकांड और खिलाफत आंदोलन के बाद शुरू किया गया था। इस आंदोलन ने भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन को जन-आंदोलन का रूप दिया।
- गलत विकल्प: लॉर्ड कर्जन के समय बंगाल का विभाजन हुआ था। लॉर्ड मिंटो मार्ले-मिंटो सुधार से जुड़े थे। लॉर्ड रीडिंग के समय चौरी-चौरा कांड हुआ, जिसके बाद असहयोग आंदोलन समाप्त हुआ।
प्रश्न 18: ‘नवरत्न’ मंडली किस राजा के दरबार की शोभा बढ़ाती थी?
- हर्षवर्धन
- चंद्रगुप्त द्वितीय
- कृष्णदेव राय
- राजेंद्र चोल
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘नवरत्न’ मंडली गुप्त सम्राट चंद्रगुप्त द्वितीय (विक्रमादित्य) के दरबार से जुड़ी थी।
- संदर्भ और विस्तार: इन नवरत्नों में प्रसिद्ध विद्वान, कवि और कलाकार शामिल थे, जैसे कालिदास, धनवंतरी, वराहमिहिर, अमरसिंह आदि। यह गुप्त काल को भारतीय इतिहास का स्वर्ण युग बनाने में सहायक थे।
- गलत विकल्प: हर्षवर्धन का दरबार भी विद्वानों से सुशोभित था, जिसमें बाणभट्ट प्रमुख थे। कृष्णदेव राय के दरबार में ‘अष्टदिग्गज’ थे।
प्रश्न 19: मंगल पांडे ने किस सैन्य छावनी से 1857 के विद्रोह की शुरुआत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई?
- मेरठ
- बैरकपुर
- झांसी
- कानपुर
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: मंगल पांडे 34वीं बंगाल नेटिव इन्फैंट्री के सैनिक थे और उन्होंने बैरकपुर छावनी से 1857 के विद्रोह की पहली चिंगारी जलाई थी।
- संदर्भ और विस्तार: 29 मार्च 1857 को, मंगल पांडे ने नए एनफील्ड राइफलों के कारतूसों के खिलाफ विद्रोह कर दिया, जिनमें गाय और सुअर की चर्बी का प्रयोग हुआ माना जाता था। उन्होंने अपने अधिकारियों पर हमला किया और बाद में उन्हें फांसी दे दी गई।
- गलत विकल्प: मेरठ से विद्रोह का व्यापक प्रसार हुआ, झांसी रानी लक्ष्मीबाई के नेतृत्व में था, और कानपुर नाना साहब के नेतृत्व में।
प्रश्न 20: ‘सप्तवर्षीय युद्ध’ (Seven Years’ War) किन दो यूरोपीय शक्तियों के बीच लड़ा गया था?
- फ्रांस और स्पेन
- ब्रिटेन और फ्रांस
- ऑस्ट्रिया और प्रशिया
- नीदरलैंड और पुर्तगाल
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: सप्तवर्षीय युद्ध (1756-1763) मुख्य रूप से ग्रेट ब्रिटेन और फ्रांस के बीच लड़ा गया था, हालांकि इसमें अन्य यूरोपीय शक्तियां भी शामिल थीं।
- संदर्भ और विस्तार: इस युद्ध का एक प्रमुख रंगमंच उत्तरी अमेरिका (फ्रेंच और इंडियन वॉर) और भारत था, जहाँ इसने ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी की स्थिति को मजबूत किया और फ्रांस की औपनिवेशिक शक्ति को कमजोर किया। भारत में यह युद्ध कर्नाटक युद्धों का ही एक विस्तारित रूप था।
- गलत विकल्प: अन्य जोड़े यूरोपीय शक्तियों के बीच भी संघर्ष हुए, लेकिन सप्तवर्षीय युद्ध का मुख्य द्वंद्व ब्रिटेन और फ्रांस के बीच था।
प्रश्न 21: किस प्राचीन भारतीय ग्रंथ में ‘यवनिका’ (पर्दा) का उल्लेख मिलता है?
- अर्थशास्त्र
- रामायण
- महाभारत
- भगवद गीता
उत्तर: (a)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: कौटिल्य के ‘अर्थशास्त्र’ में ‘यवनिका’ शब्द का उल्लेख मिलता है, जो उस समय के नाट्यकला के संदर्भ में प्रयुक्त होता था।
- संदर्भ और विस्तार: अर्थशास्त्र, जो तीसरी शताब्दी ईसा पूर्व का ग्रंथ है, मौर्यकालीन भारत के राजनीतिक, आर्थिक और सामाजिक जीवन का विस्तृत विवरण देता है। इसमें ‘यवनिका’ का प्रयोग रंगमंच पर पर्दे के लिए किया गया था, जो संभवतः यूनानी प्रभाव का भी सूचक हो सकता है।
- गलत विकल्प: रामायण, महाभारत और भगवद गीता प्रमुख महाकाव्य और दार्शनिक ग्रंथ हैं, जिनमें ‘यवनिका’ का प्रयोग नाट्य संदर्भ में नहीं मिलता।
प्रश्न 22: ‘दार-उल-हरब’ (काफिरों की भूमि) से ‘दार-उल-इस्लाम’ (इस्लाम की भूमि) में परिवर्तित करने का क्या अर्थ था?
- इस्लामी न्याय व्यवस्था को स्थापित करना
- इस्लामी शिक्षा का प्रसार करना
- मुसलमानों को अपने धर्म का पालन करने की अनुमति देना
- गैर-मुसलमानों को इस्लाम में परिवर्तित करने के लिए दबाव डालना
उत्तर: (a)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: ‘दार-उल-हरब’ से ‘दार-उल-इस्लाम’ में परिवर्तित करने का अर्थ था कि वह क्षेत्र अब इस्लामी कानून (शरीयत) के अधीन आ गया है और वहाँ मुस्लिम शासन स्थापित हो गया है।
- संदर्भ और विस्तार: इस्लामी विधिशास्त्र (Jurisprudence) के अनुसार, ‘दार-उल-इस्लाम’ वह क्षेत्र है जहाँ इस्लामी कानून लागू होता है और जहाँ मुस्लिम अपनी धार्मिक स्वतंत्रता के साथ रह सकते हैं। ‘दार-उल-हरब’ वह क्षेत्र है जहाँ यह लागू नहीं होता। इसका अर्थ यह नहीं था कि गैर-मुसलमानों को जबरन परिवर्तित किया जाए, बल्कि यह राजनीतिक और कानूनी स्थिति का वर्णन था।
- गलत विकल्प: हालांकि इस्लाम के प्रसार के अपने तरीके थे, लेकिन ‘दार-उल-इस्लाम’ में परिवर्तन का मुख्य अर्थ इस्लामी शासन और कानून की स्थापना था।
प्रश्न 23: भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के किस अधिवेशन में ‘पूर्ण स्वराज’ का लक्ष्य घोषित किया गया?
- लाहौर अधिवेशन, 1929
- कलकत्ता अधिवेशन, 1906
- फैजपुर अधिवेशन, 1936
- त्रिपुरी अधिवेशन, 1939
उत्तर: (a)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने 31 दिसंबर 1929 को लाहौर अधिवेशन में ‘पूर्ण स्वराज’ (पूर्ण स्वतंत्रता) के लक्ष्य को घोषित किया था।
- संदर्भ और विस्तार: इस अधिवेशन की अध्यक्षता जवाहरलाल नेहरू ने की थी। इसी अधिवेशन में 26 जनवरी 1930 को ‘पूर्ण स्वराज दिवस’ मनाने का निर्णय लिया गया, जो बाद में भारत के गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाने लगा।
- गलत विकल्प: कलकत्ता अधिवेशन (1906) में स्वदेशी और स्वराज का नारा दिया गया था, लेकिन पूर्ण स्वराज को लक्ष्य के रूप में लाहौर अधिवेशन में ही अपनाया गया।
प्रश्न 24: ‘वांडीवाश का युद्ध’ (Battle of Wandiwash) कब हुआ था, जिसने भारत में फ्रांसीसी प्रभुत्व को लगभग समाप्त कर दिया?
- 1757
- 1760
- 1764
- 1775
उत्तर: (b)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: वांडीवाश का युद्ध 22 जनवरी 1760 को हुआ था।
- संदर्भ और विस्तार: यह तृतीय कर्नाटक युद्ध (1756-1763) का एक महत्वपूर्ण निर्णायक युद्ध था। इस युद्ध में ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी की सेना का नेतृत्व आयर कूट (Sir Eyre Coote) ने किया था, जबकि फ्रांसीसी सेना का नेतृत्व काउंट डी लैली (Comte de Lally) ने किया था। इस युद्ध में फ्रांसीसी सेना की करारी हार हुई, जिसने भारत में ब्रिटिश प्रभुत्व के मार्ग को प्रशस्त किया और फ्रांसीसी शक्ति को काफी हद तक समाप्त कर दिया।
- गलत विकल्प: 1757 में प्लासी का युद्ध हुआ, जिसने ब्रिटिश सत्ता की नींव रखी। 1764 में बक्सर का युद्ध हुआ, जिसने ब्रिटिश प्रभुत्व को और मजबूत किया।
प्रश्न 25: निम्नलिखित में से कौन सी पुस्तक मैकियावेली द्वारा लिखी गई है?
- Utopia
- The Social Contract
- The Prince
- Leviathan
उत्तर: (c)
विस्तृत स्पष्टीकरण:
- सत्यता: निकोलो मैकियावेली द्वारा लिखी गई प्रसिद्ध पुस्तक ‘The Prince’ (Il Principe) है।
- संदर्भ और विस्तार: यह पुस्तक 1532 में मरणोपरांत प्रकाशित हुई थी। इसमें मैकियावेली ने शासकों के लिए सत्ता को बनाए रखने और उसे बढ़ाने के व्यावहारिक, और कभी-कभी क्रूर, तरीकों पर चर्चा की है। यह राजनीतिक दर्शन के इतिहास में एक मील का पत्थर मानी जाती है।
- गलत विकल्प: ‘Utopia’ थॉमस मूर ने लिखी, ‘The Social Contract’ रूसो ने लिखी, और ‘Leviathan’ थॉमस हॉब्स ने लिखी।