पृथ्वी की घूर्णन गति में बदलाव: क्या यह हमारे लिए खतरा है?

पृथ्वी की घूर्णन गति में बदलाव: क्या यह हमारे लिए खतरा है?

चर्चा में क्यों? (Why in News?): हाल ही में हुए अवलोकनों से पता चला है कि पृथ्वी अपनी धुरी पर सामान्य से तेज़ी से घूम रही है। 9 जुलाई 2022 को, पृथ्वी ने अपनी सामान्य अवधि से 1.59 मिलीसेकंड कम समय में एक चक्कर पूरा किया, जिससे यह इतिहास का सबसे छोटा दिन बन गया। इस परिवर्तन के कारण और इसके संभावित प्रभावों पर वैज्ञानिकों द्वारा शोध किया जा रहा है।

पृथ्वी की घूर्णन गति में ये छोटे-छोटे परिवर्तन, हालांकि मिलीसेकंड में मापे जाते हैं, हमारे ग्रह के लिए महत्वपूर्ण हैं। यह परिवर्तन कई कारकों के कारण हो सकता है और इसके व्यापक प्रभाव हो सकते हैं। आइए, इस घटना को विस्तार से समझने का प्रयास करते हैं।

पृथ्वी की घूर्णन गति: एक संक्षिप्त विवरण

पृथ्वी अपनी धुरी पर लगभग 24 घंटे में एक चक्कर पूरा करती है। यह घूर्णन गति स्थिर नहीं है, बल्कि विभिन्न कारकों से प्रभावित होती है। इन कारकों में शामिल हैं:

  • चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण बल: चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण बल पृथ्वी के महासागरों और ध्रुवीय बर्फ पर प्रभाव डालता है, जिससे उसकी घूर्णन गति पर प्रभाव पड़ता है।
  • भूकंप और ज्वालामुखी गतिविधि: बड़े भूकंप और ज्वालामुखी विस्फोट पृथ्वी के द्रव्यमान वितरण को बदल सकते हैं, जिससे इसकी घूर्णन गति प्रभावित होती है।
  • जलवायु परिवर्तन: जलवायु परिवर्तन के कारण होने वाले बर्फ के पिघलने और समुद्र के जलस्तर में परिवर्तन भी पृथ्वी की घूर्णन गति को प्रभावित करते हैं।
  • चंद्रमा और सूर्य के गुरुत्वाकर्षण बल का अंतर: यह बल पृथ्वी की घूर्णन गति को धीमा करने का काम करता है।
  • कोर-मेंटल इंटरैक्शन: पृथ्वी के कोर और मेंटल के बीच पारस्परिक क्रिया भी घूर्णन गति को प्रभावित करती है।

तेज़ घूर्णन के कारण और प्रभाव

हाल के वर्षों में पृथ्वी की घूर्णन गति में वृद्धि के पीछे का सटीक कारण अभी भी शोध का विषय है। हालांकि, वैज्ञानिकों का मानना ​​है कि ऊपर बताए गए कारक, विशेष रूप से चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण बल और जलवायु परिवर्तन, इस परिवर्तन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

इस तेजी से घूर्णन के संभावित प्रभावों में शामिल हैं:

  • समय में परिवर्तन: यदि यह प्रवृत्ति जारी रहती है, तो भविष्य में हमें एक लीप सेकंड को हटाना पड़ सकता है। यह एक लीप सेकंड को जोड़ने के विपरीत है जो पहले किया गया था।
  • GPS और उपग्रह प्रणालियों पर प्रभाव: पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन GPS और उपग्रह प्रणालियों की सटीकता को प्रभावित कर सकता है।
  • जलवायु प्रणाली पर प्रभाव: हालांकि अभी तक पूरी तरह से स्पष्ट नहीं है, लेकिन पृथ्वी की घूर्णन गति में बदलाव जलवायु प्रणाली पर भी प्रभाव डाल सकता है।
  • भूकंप और ज्वालामुखी गतिविधि में परिवर्तन: हालांकि यह एक कमजोर संबंध है, लेकिन कुछ शोधकर्ता मानते हैं कि पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन से भूकंप और ज्वालामुखी गतिविधि प्रभावित हो सकती है।

चुनौतियाँ और भविष्य की राह

पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन से निपटने के लिए, वैज्ञानिकों को इस घटना के कारणों और प्रभावों को और अधिक गहराई से समझने की आवश्यकता है। इसके लिए अधिक सटीक माप और उन्नत मॉडलिंग की आवश्यकता होगी।

भविष्य में, हमें समय के मानकों को समायोजित करने के लिए अधिक बार लीप सेकंड को जोड़ने या घटाने की आवश्यकता हो सकती है। यह एक जटिल प्रक्रिया है और इसके दूरगामी प्रभाव हो सकते हैं।

पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन एक जटिल घटना है जिसके कई कारण और प्रभाव हैं। इस घटना पर निरंतर निगरानी और शोध करना आवश्यक है ताकि हम इसके संभावित प्रभावों को समझ सकें और उसके अनुसार अपनी प्रौद्योगिकी और बुनियादी ढाँचे को तैयार कर सकें।

UPSC परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न (Practice Questions for UPSC Exam)

प्रारंभिक परीक्षा (Prelims) – 10 MCQs

1. **कथन 1:** पृथ्वी की घूर्णन गति स्थिर रहती है।
**कथन 2:** चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण बल पृथ्वी की घूर्णन गति को प्रभावित करता है।
a) केवल कथन 1 सही है।
b) केवल कथन 2 सही है।
c) दोनों कथन सही हैं।
d) दोनों कथन गलत हैं।
**(उत्तर: b)**

2. 9 जुलाई 2022 को पृथ्वी ने अपना किस प्रकार का दिन पूरा किया?
a) सबसे लंबा दिन
b) सबसे छोटा दिन
c) सामान्य दिन
d) इनमें से कोई नहीं
**(उत्तर: b)**

3. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन किस पर प्रभाव डाल सकता है?
a) GPS प्रणाली
b) उपग्रह प्रणाली
c) जलवायु प्रणाली
d) उपरोक्त सभी
**(उत्तर: d)**

4. पृथ्वी की घूर्णन गति को प्रभावित करने वाले कारकों में से कौन सा नहीं है?
a) चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण
b) सूर्य का गुरुत्वाकर्षण
c) पृथ्वी का चुंबकीय क्षेत्र
d) भूकंप
**(उत्तर: c)**

5. लीप सेकंड को जोड़ने या घटाने का क्या उद्देश्य है?
a) पृथ्वी की कक्षा को समायोजित करना
b) परमाणु घड़ियों को समायोजित करना
c) पृथ्वी की घूर्णन गति के साथ समय को सिंक्रोनाइज़ करना
d) मौसम के परिवर्तन के साथ समायोजन करना
**(उत्तर: c)**

6. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन से किस प्रकार का खतरा हो सकता है?
a) समुद्र का स्तर बढ़ना
b) GPS सटीकता में कमी
c) मौसम के पैटर्न में परिवर्तन
d) उपरोक्त सभी
**(उत्तर: d)**

7. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन किसके कारण हो सकता है?
a) जलवायु परिवर्तन
b) भूकंप
c) ज्वालामुखी गतिविधि
d) उपरोक्त सभी
**(उत्तर: d)**

8. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन का अध्ययन किसके द्वारा किया जाता है?
a) भूगर्भशास्त्री
b) खगोलविद
c) भौतिकविद
d) उपरोक्त सभी
**(उत्तर: d)**

9. लीप सेकंड क्या है?
a) एक अतिरिक्त मिनट
b) एक अतिरिक्त घंटा
c) एक अतिरिक्त सेकंड
d) एक कम सेकंड
**(उत्तर: c)**

10. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन का मानव जीवन पर क्या प्रभाव पड़ सकता है?
a) कोई प्रभाव नहीं
b) संचार प्रणाली में व्यवधान
c) बिजली आपूर्ति में व्यवधान
d) उपरोक्त सभी
**(उत्तर: d)**

मुख्य परीक्षा (Mains)

1. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन के कारणों और प्रभावों पर विस्तृत चर्चा करें। क्या इस परिवर्तन को नियंत्रित करने के कोई उपाय हैं?

2. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन के परिणामस्वरूप GPS और उपग्रह प्रणालियों पर पड़ने वाले प्रभावों का विश्लेषण करें। इन प्रणालियों की सटीकता बनाए रखने के लिए क्या कदम उठाए जा सकते हैं?

3. जलवायु परिवर्तन और पृथ्वी की घूर्णन गति के बीच संबंध की जांच करें। क्या जलवायु परिवर्तन घूर्णन गति में परिवर्तन का एक महत्वपूर्ण कारक है? अपने उत्तर का समर्थन करने के लिए उपयुक्त उदाहरण दें।

4. पृथ्वी की घूर्णन गति में परिवर्तन के भविष्य के प्रभावों का आकलन करें और इनसे निपटने के लिए वैज्ञानिक समुदाय और सरकारों द्वारा क्या उपाय किए जाने चाहिए।

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